एक ही दिन में उत्तर प्रदेश के शहर तसवीरों में चमकने लगे! यूपी के शहरों की तसवीरें बताकर सोशल मीडिया पर यूज़र जिनको शेयर कर रहे हैं, वे अविश्वसनीय हैं! ये चमचमाती तसवीरें तो हैं सिंगापुर, दुबई जैसे शहरों की, लेकिन यूज़र उन्हें उत्तर प्रदेश के शहरों का बताकर योगी सरकार को निशाने पर ले रहे हैं। दरअसल, इस बहाने सोशल मीडिया यूज़र योगी सरकार के उस विज्ञापन पर तंज कस रहे हैं जिसमें पश्चिम बंगाल के एक फ्लाईओवर का इस्तेमाल किया गया था।
यूपी में योगी आदित्यनाथ सरकार के पूरे पेज के एक विज्ञापन में कोलकाता के एक फ्लाईओवर की तसवीर होने पर रविवार से ही बवाल हो रहा है। वह विज्ञापन 'द इंडियन एक्सप्रेस' में प्रकाशित हुआ था। तृणमूल कांग्रेस ने आरोप लगाया कि उत्तर प्रदेश में कुछ काम नहीं हुआ है इसलिए बंगाल की तृणमूल सरकार की उपलब्धियों को चुराया जा रहा है।
कुछ महीने बाद यूपी में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले योगी सरकार अपनी 'उपलब्धियों' पर विज्ञापन प्रकाशित करवा रही है। इसी के तहत द इंडियन एक्सप्रेस के रविवार के अंक में एडवरटोरियल यानी विज्ञापन छपा। इस विज्ञापन को उत्तर प्रदेश सरकार ने जारी किया।
विज्ञापन के निचले हिस्से में कई तसवीरों के कोलाज में एक तसवीर कोलकाता के फ्लाईओवर की है। कई सोशल मीडिया यूजरों ने फ्लाईओवर की पहचान ममता बनर्जी की सरकार द्वारा बनाए गए फ्लाईओवर के रूप में की है।
जब इस पर विवाद हुआ तो सोशल मीडिया यूज़रों ने योगी सरकार पर कटाक्ष करना शुरू कर दिया। रोफल गांधी 2.0 नाम के यूज़र ने सिंगापुर के मर्लियोन पार्क की तसवीर को शेयर करते हुए लिखा है, "उत्तर प्रदेश के 'एटा' शहर का भव्य नजारा है।"
मिमिक्री करने वाले श्याम रंगीला ने एक ऐसी ही तसवीर साझा कर लिखा है कि 'उत्तर प्रदेश की यह कौन सी जगह है बताइए?'
नवाब आर नाम के एक ट्विटर यूज़र ने लाइन में खड़े विदेशी नागरिकों की तसवीर को साझा करते हुए लिखा है, 'उत्तर प्रदेश में रोज़गार के लिए लाइन में खड़े अमेरिका और इंग्लैंड के बेरोज़गार नागरिक'
भरत सुथार जालोर नाम के यूज़र ने एक चमचमाते फ्लाईओवर की तसवीर साझा करते हुए लिखा है, 'क्या ये फ्लाईओवर उत्तर प्रदेश मुख्यमंत्री शहरी सड़क योजना से बना है?'
दुबई के बुर्ज पार्क की तसवीर को शेयर करते हुए राज नाम के यूज़र ने लिखा है, 'प्रधानमंत्री आवास योजना- उत्तर प्रदेश'
छाया सिंह नाम के ट्विटर यूज़र ने लिखा है, 'नोएडा स्मार्ट सिटी में हमारी उत्तर प्रदेश सरकार ने हमें नया फ्लैट मुख्यमंत्री योजना से दिया। रेड गोले के अंदर।'
रमेश कुमार चौधरी नाम के यूज़र ने बंगाल के फ्लाईओवर वाले उस विज्ञापन और गोरखपुर-वाराणसी रोड की बदहाल सड़क की तसवीरें लगाकर लिखा है 'पोस्टर - सच्चाई'
बता दें कि सोशल मीडिया पर ऐसी प्रतिक्रियाओं के बीच ही उत्तर प्रदेश के सूचना विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव नवनीत सहगल ने प्रकाशक अख़बार द्वारा ट्वीट की गई 'ग़लती की स्वीकारोक्ति' को रीट्वीट किया।
इस मामले में विवाद पर 'द इंडियन एक्सप्रेस' ने ट्वीट कर अपने मार्केटिंग विभाग की ग़लती की बात मानी है। इसने ट्वीट किया, 'समाचार पत्र के मार्केटिंग डिपार्टमेंट द्वारा उत्तर प्रदेश पर बनाए गए विज्ञापन के कवर कोलाज में अनजाने में एक ग़लत तसवीर शामिल कर ली गई थी। त्रुटि के लिए बेहद खेद है और अख़बार के सभी डिजिटल संस्करणों से तसवीर को हटा दिया गया है।'
विज्ञापन का यह पूरा विवाद तब आया है जब कुछ महीनों में उत्तर प्रदेश में चुनाव होने हैं। लोगों को लुभाने के लिए योगी सरकार विज्ञापनों के ज़रिए पाँच साल के दौरान किए गए कामों को गिना रही है। समझा जाता है कि योगी सरकार को इस बार कई मुद्दों पर लोगों की नाराज़गी का सामना करना पड़ सकता है।