प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तृणमूल कांग्रेस पर तुष्टीकरण का आरोप लगाते हुए कहा कि अनुसूचित जाति के लोगों का हक़ छीन कर दूसरों को दे दिया गया। हालांकि उन्होंने किसी का नाम नहीं लिया, पर उनके कहने का मतलब साफ़ है कि उनके निशाने पर कौन हैं।
पश्चिम बंगाल के पुरुलिया में जनसभा को संबोधित करते हुए नरेंद्र मोदी ने कहा,
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"जो आपका हक़ था, वह छीन कर किसी और को दे दिया गया। यदि दीदी को अनुसूचित जाति के लोगों की परवाह रहती तो वे ऐसा नहीं करती, पर उन्हें सिर्फ तुष्टीकरण की राजनीति करनी है।"
नरेंद्र मोदी, प्रधानमंत्री
पुरुलिया में भाषण देते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने निशाने पर एक ख़ास समुदाय को रखा, यह उनकी बातों से ही साफ़ हो जाता है। उन्होंने कहा,
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"दिल्ली की अदालत ने हाल ही में बड़ा फ़ैसला सुनाया है। बाटला हाउस एनकाउंटर पर ये लोग आतंकवादियों के साथ खड़े थे। तुष्टिकरण के लिए ये लोग कहाँ तक जा सकते हैं ये इसका ही उदाहरण है।"
नरेंद्र मोदी, प्रधानमंत्री
बता दें कि दिल्ली की एक अदालत ने बाटला हाउस मुठभेड़ के मामले में आरिज़ ख़ान को मौत की सज़ा सुनाई है। आतंकवादी संगठन इंडियन मुजाहिदीन के सदस्य माने जाने वाले ख़ान को दिल्ली पुलिस की विशेष सेल के इंस्पेक्टर मोहन चंद शर्मा की हत्या का दोषी पाया गया।
पुरुलिया में पानी नहीं!
नरेंद्र मोदी ने पुरुलिया में पानी का संकट होने की बात कही और आरोप लगाया कि पहले वाम मोर्चा और उसके बाद तृणमूल कांग्रेस की सरकारों ने इस समस्या को दूर करने के लिए कुछ नहीं किया। उन्होंने यह भी कहा कि पानी की कमी के कारण इस इलाक़े में खेती-बाड़ी नहीं हो पाती है।
उन्होंने कहा,
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"कम पानी की वजह से पुरुलिया में पशुओं को पालने में जो दिक्क़त होती है वह मैं भी जानता हूँ। खेती- किसानी की दिक्क़तों को छोड़कर टीएमसी सरकार अपने ही खेल में लगी रही। लेफ्ट और टीएमसी ने पुरुलिया को दिया जलसंकट, पलायन और भेदभाव से भरा शासन।"
नरेंद्र मोदी, प्रधानमंत्री
'बंगाल में भी डबल इंजन की सरकार'
उन्होंने कहा, "मैं पुरुलिया के लोगों को विश्वास दिलाने के लिए आया हूँ कि बंगाल में बीजेपी की सरकार बनने के बाद आपकी दिक्क़तों को प्राथमिकता के आधार पर दूर किया जाएगा। जब बंगाल में डबल इंजन की सरकार बनेगी, एक दिल्ली का इंजन और दूसरा बंगाल का इंजन, तो यहाँ का विकास भी होगा और आपका जीवन भी आसान बनेगा।"प्रधानमंत्री ने कहा कि इस बार चुनाव के बाद जो बीजेपी सरकार बनेगी, वह पुरुलिया सहित इस पूरे क्षेत्र में ऐसी व्यवस्था बनाएगी कि लोगों को पलायन के लिए मजबूर न होना पड़े। उन्होंने कृषि आधारित उद्योग लगाने का आश्वासन देते हुए कहा कि ज़्यादा से ज़्यादा युवाओं को यहीं रोज़गार मिल सके, यह व्यवस्था की जाएगी।
माँ दुर्गा का आशीर्वाद!
यह दिलचस्प बात रही कि प्रधानमंत्री ने मंच से एक बार भी 'जय श्री राम' का नारा नहीं दिया। उन्होंने पश्चिम बंगाल की प्रतीक माने जाने वाली देवी दुर्गा का नाम ज़रूर लिया। उन्होंने कहा, "आज बंगाल की जनता कह रही है कि अत्याचार बर्दाश्त नहीं करेंगे और माँ दुर्गा के आशीर्वाद से टीएमसी की पराजय होगी।"
इसके पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत पूरा बीजेपी नेतृत्व 'जय श्री राम' के नाम पर ममता बनर्जी और तृणमूल कांग्रेस को घेरता रहा है और सवाल उठाता रहा है कि उन्हें इससे क्या दिक्क़त है। इसकी काट में टीएमसी ने 'जय माँ दुर्गा' का नारा दिया था। दुर्गा पर आपत्तिजनक बयान देकर पश्चिम बंगाल बीजेपी के प्रमुख दिलीप घोष विवादों में फँस चुके हैं। उन्होंने कह दिया था, "किसी को दुर्गा के माँ-बाप के बारे में पता है?"
लेकिन बुधवार की सभा में नरेंद्र मोदी ने उसी माँ दुर्गा का नाम लिया।
'खेला ख़त्म, विकास शुरू'
इसके साथ ही नरेंद्र मोदी ने विकास का भरोसा दिलाया और कहा कि टीएसमी कहती है कि खेला होगा, लेकिन बीजेपी का कहना है कि अब खेला ख़त्म होगा और विकास होगा। उन्होंने कहा, "दीदी कहती हैं, खेला होबे... बीजेपी कहती है विकास होबे, बीजेपी कहती है, स्कूल, अस्पताल होबे। दीदी, आपने 10 साल खेल लिया, अब खेला खत्म होगा, विकास शुरू होगा।"
पश्चिम बंगाल बीजेपी ने रणनीति बदली
प्रधानमंत्री की इस रैली की यह भी खूबी रही कि प्रधानमंत्री ने मुख्यमंत्री पर निजी हमला नहीं किया। मेदिनीपुर के नंदीग्राम में चोट लगने के बाद ममता बनर्जी को मिल रही सहानुभूति को देखते हुए बीजेपी ने अपनी रणनीति में यह बदलाव किया है। नरेंद्र मोदी ने पश्चिम बंगाल सरकार की नीतियों की आलोचना की, सिंडीकेट और भ्रष्टाचार की बात भी कही, लेकिन ममता बनर्जी पर निजी हमले से बचते रहे।
इसके पहले पश्चिम बंगाल बीजेपी ममता बनर्जी के घायल होने के बाद उन पर नाटक करने का आरोप लगा चुकी है। पश्चिम बंगाल बीजेपी के उपाध्यक्ष अर्जुन सिंह ने ममता पर हमले के बाद सवाल पूछा था कि क्या उन पर तालिबान ने हमला कर दिया है।
ममता के घायल होने के बाद प्रधानमंत्री ने उन पर निजी हमला नहीं किया। पर मुख्यमंत्री के घायल होने का क्या असर होगा पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव पर? देखें वरिष्ठ पत्रकार आशुतोष का क्या कहना है।