लेबनान स्थित लड़ाका समूह हिजबुल्लाह और इजरायल दोनों ने रविवार को एक-दूसरे के खिलाफ बड़े पैमाने पर सैन्य हमले किए। ईरान समर्थित समूह हिजबुल्लाह के एक बयान के अनुसार, प्रमुख इजरायली सैन्य स्थलों को निशाना बनाते हुए "320 से अधिक" कत्युशा रॉकेट लॉन्च किए गए।
इजरायली सेना ने रविवार को लेबनान में हिजबुल्लाह के टारगेट पर पहले हमले किए। आईडीएफ ने रविवार तड़के इन हमलों की घोषणा की, जिसमें कहा गया कि उन्होंने हिजबुल्लाह द्वारा इजरायली क्षेत्र पर "बड़े पैमाने पर" हमलों की तैयारी का पता लगाया है। इन खतरों को बेअसर करने के लिए इजरायली वायु सेना के लड़ाकू विमानों से कार्रवाई की गई है। हिजबुल्लाह की स्थिति पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है। क्योंकि इससे इजरायली नागरिकों को तत्काल खतरा है। इज़रायल ने कहा कि उसके लड़ाकू विमानों ने दक्षिण लेबनान में हजारों हिजबुल्लाह रॉकेट लॉन्चरों पर हमला किया, जिनका लक्ष्य उत्तरी और मध्य इज़रायल था।
इजराइल हिजबुल्लाह संघर्ष के पीछे हमास और इजरायल का पिछले साल से चल रहा युद्ध सबसे बड़ा कारण है। इजरायल ने फिलिस्तीन के अधिकांश भूभाग पर कब्जा कर रखा है। इस कब्जे को अवैध बताते हुए हमास ने 7 अक्टूबर 2023 को दक्षिणी इज़रायल पर अचानक हमला किया था। जिसमें लगभग 1,200 लोगों की मौत हो गई थी, जिनमें से अधिकांश नागरिक इजरायली थे।
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गजा स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार, गजा में इजरायल के बाद के सैन्य अभियान में करीब 40,000 से अधिक फिलिस्तीनियों की हत्या की जा चुकी है। जिसमें बच्चों और महिलाओं की संख्या सबसे ज्यादा है। दुनिया के तमाम देश इस जनसंहार पर चुप हैं। ईरान और हिजबुल्लाह खुलकर फिलिस्तीन के साथ खड़े हैं। इसलिए इजरायल का अब हिजबुल्लाह के साथ संघर्ष शुरू हुआ है।
इज़रायली सेना के एक बयान में कहा गया है, "लगभग 100 इजरायली लड़ाकू विमानों ने दक्षिणी लेबनान में स्थित और एम्बेडेड हजारों हिजबुल्लाह रॉकेट लॉन्चर बैरल पर हमला किया और उन्हें नष्ट कर दिया। इनमें से अधिकांश लॉन्चरों का लक्ष्य उत्तरी इज़राइल की ओर था और कुछ का लक्ष्य मध्य इज़राइल की ओर था।"
यह घटनाक्रम हफ्तों से बढ़ते तनाव के बाद आया है, जिसमें हिजबुल्लाह और उसके क्षेत्रीय सहयोगी ईरान ने पिछले महीने अपने सैन्य कमांडर की हत्या का बदला लेने की कसम खाई है। समूह ने अपने कमांडर पर हमले को सीधे तौर पर उकसावे की कार्रवाई और युद्ध की कार्रवाई बताया है। इजरायल ने सीधे हमले में कमांडर की हत्या कर दी थी।
कमांडर की हत्या पर "प्रारंभिक प्रतिक्रिया के संदर्भ में", हिज़बुल्लाह ने कहा कि उसने "बड़ी संख्या में ड्रोन के साथ हवाई हमला किया" जिसने इज़रायल के अंदरूनी हिस्सों को निशाना बनाया। हिजबुल्लाह ने "बड़ी संख्या में रॉकेटों से दुश्मन के कई ठिकानों और बैरकों और आयरन डोम प्लेटफार्मों को भी निशाना बनाया।" हिजबुल्लाह ने कहा कि "सैन्य अभियानों को पूरा होने में कुछ समय लगेगा।"
इज़रायली प्रधान मंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने रविवार को सुरक्षा कैबिनेट बैठक बुलाई है। नेतन्याहू के कार्यालय के एक बयान के अनुसार, इजरायली रक्षा मंत्री योव गैलेंट ने अगले 48 घंटों के लिए पूरे देश में आपातकाल की घोषणा की है। यह "घरेलू मोर्चे पर विशेष स्थिति" के लिए होता है। इससे आईडीएफ होम फ्रंट कमांड को नागरिक आबादी पर प्रतिबंध लगाने के लिए विस्तारित अधिकार मिल जाता है।
इजरायली सेना ने एक बयान में कहा, "इजरायली रक्षा बल (आईडीएफ) ने हिजबुल्लाह इजरायली क्षेत्र की ओर मिसाइल और रॉकेट दागने की तैयारी कर रहा है। इन खतरों के जवाब में, आईडीएफ लेबनान में आतंकी ठिकानों पर हमला कर रहा है। इजरायली वायु सेना (आईएएफ) के लड़ाकू विमान वर्तमान में हिजबुल्लाह आतंकवादी संगठन से संबंधित ठिकानों पर हमला कर रहे हैं जो इजरायल राज्य के नागरिकों के लिए एक खतरा हैं।'
एहतियात के तौर पर, इज़रायल के बेन गुरियन अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे ने रविवार तड़के उड़ानों में देरी और बदलाव की घोषणा की। हिजबुल्लाह की ओर से बड़े पैमाने पर संभावित हमलों की आशंका को देखते हुए आपातकालीन सेवाओं ने भी अपनी तत्परता का स्तर बढ़ा दिया है।
हालात पर अमेरिका की नजर
अमेरिका का कहना है कि हालात पर उसकी नजर है। क्षेत्र में बढ़े तनाव पर प्रतिक्रिया देते हुए, यूएसए ने कहा कि वह इजरायल के अपनी रक्षा के अधिकार का समर्थन करना जारी रखेगा। हम क्षेत्रीय स्थिरता के लिए काम करते रहेंगे। अमेरिका इससे पहले भी इजरायल की मदद करता रहा है। इजरायल से किसी भी देश का युद्ध होने पर अमेरिका उसकी मदद करता है।