तमिलनाडु के कुन्नूर में सेना का हेलीकॉप्टर आख़िर किन वजहों से दुर्घटनाग्रस्त हुआ, इसका राज अब खुलेगा! हेलीकॉप्टर के पायलट की बातचीत को रिकॉर्ड कर रखने वाला ब्लैक बॉक्स मिल गया है। हादसे के बाद से ही इसकी तलाश की जा रही थी।
जो हेलीकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त हुआ था उसमें सीडीएस बिपिन रावत, उनकी पत्नी और रक्षा बल के दूसरे कर्मी सवार थे। जनरल रावत, उनकी पत्नी और 11 अन्य कर्मियों की उस हादसे में मृत्यु हो गई। जीवित बचे अकेले शख़्स ग्रुप कैप्टन वरूण सिंह का इलाज चल रहा है। वायु सेना ने हादसे की जांच के आदेश दे दिए हैं।
हादसे के बाद हेलीकॉप्टर में लगे ब्लैक बॉक्स की तलाश में अधिकारियों को लगाया गया था लेकिन बुधवार तक वह नहीं मिल पाया था।
विमान में किसी दुर्घटना से पहले कॉकपिट में क्या बातचीत होती है, पायलट को उस विमान में क्या खराबी नज़र आती है, कंट्रोल रूम से संपर्क करने के दौरान वह किन तरह की समस्याओं का ज़िक्र करता है, इसकी ब्लैक बॉक्स में रिकॉर्डिंग होती है।
इसी का पता लगाने के लिए ब्लैक बॉक्स का उपयोग किया जाता है। यह हवाई जहाज की उड़ान के दौरान उड़ान की सारी गतिविधियों को रिकॉर्ड करता है। इसी वजह से इसे फ्लाइट डाटा रिकॉर्डर यानी एफडीआर भी कहा जाता है। यह बॉक्स इतना सुरक्षित बनाया जाता है कि कितना भी भीषण हादसा होने पर इसको नुक़सान नहीं पहुँचता है।
इसी वजह से कुन्नूर में हुए हादसे के बाद सेना के उस हेलीकॉप्टर के ब्लैक बॉक्स को ढूंढने का प्रयास गुरुवार को तेज़ किया गया था। पहले 300 मीटर के दायरे में उसको ढूंढा जा रहा था जिसे बढ़ाकर 1 किलोमीटर कर दिया गया था। सेना के अधिकारियों को आज इसमें सफलता मिली और वह ब्लैक बॉक्स बरामद हो गया।
एक आशंका यह जताई जा रही है कि क्या मौसम हादसे का कारण बना? क्या पहाड़ियों पर छाया धुंध और उसकी वजह से कम दूरी तक दिखना हादसे का कारण बना?
इस आशंका से इनकार नहीं किया जा सकता है। भारतीय मौसम विभाग, चेन्नई ने क्षेत्र में धुंध और कुहासे की आशंका जताई थी।
टीओआई की रिपोर्ट के अनुसार, कुन्नूर में छोटे से गांव बर्लियार निवासी प्रकाश ने हेलीकॉप्टर को 100 फीट दूर से दुर्घटनाग्रस्त होते देखा। उन्होंने कहा, 'मैंने इसे अपने घर से सिर्फ़ 200 मीटर ऊपर उड़ते हुए देखा। सुबह धुंध थी। अचानक, यह एक पेड़ से टकराया और एक धमाके के साथ दुर्घटनाग्रस्त हो गया। आस-पास रहने वाले लोग आग लगने की आशंका से अपने घरों से भाग गए।'
कुछ जानकार भी धुंध को लेकर आशंका जता रहे हैं, लेकिन हादसे का वास्तविक कारण तभी साफ़ पता चल पाएगा जब ब्लैक बॉक्स से हादसे की असल वजह सामने आएगी।