ओडिशा में बीजेपी और बीजेडी में गठबंधन नहीं होगा। राज्य भाजपा प्रमुख मनमोहन सामल ने खुद इसकी घोषणा की है। उन्होंने कहा कि भाजपा ने लोकसभा चुनाव के लिए ओडिशा में मुख्यमंत्री नवीन पटनायक की बीजू जनता दल यानी बीजेडी के साथ गठबंधन नहीं करने का फैसला किया है क्योंकि केंद्र ने पाया है कि मोदी सरकार की कई योजनाएं आम लोगों तक नहीं पहुंच रही हैं।
मनमोहन सामल ने शुक्रवार को एक्स पर इसकी घोषणा की। उन्होंने साफ़-साफ़ कहा कि भाजपा ओडिशा में आगामी लोकसभा और विधानसभा चुनाव अकेले लड़ेगी। पहले ऐसी अटकलें थीं कि चुनाव के लिए भाजपा और बीजेडी के बीच गठबंधन हो सकता है।
उन्होंने पोस्ट में कहा है कि 'पिछले 10 वर्षों से नवीन पटनायक जी के नेतृत्व में ओडिशा का बीजू जनता दल केंद्र की माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी की सरकार के अनेक राष्ट्रीय महत्व के प्रसंगों में समर्थन देती आई है, इसके लिए हम उनका आभार व्यक्त करते हैं।'
लेकिन इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा, 'अनुभव में आया है कि देशभर में जहाँ भी डबल इंजन की सरकार रही है, वहां विकास व गरीब कल्याण के कार्यों में तेजी आई है और राज्य हर क्षेत्र में आगे बढ़े हैं।'
राज्य में बीजेपी के प्रमुख ने आगे कहा है, 'लेकिन आज ओडिशा में मोदी सरकार की अनेक कल्याणकारी योजनाएं जमीन पर नहीं पहुँच पा रही हैं, जिससे ओडिशा के गरीब बहनों-भाइयों को उनका लाभ नहीं मिल पा रहा है। ओडिशा-अस्मिता, ओडिशा-गौरव और ओडिशा के लोगों के हित से जुड़े अनेकों विषयों पर हमारी चिंताएं हैं।
उन्होंने यह भी कहा, '4.5 करोड़ ओडिशावासियों की आशा, अभिलाषा और आकाँक्षाओं को पूरा करने के लिए माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के दूरदर्शी नेतृत्व में विकसित भारत तथा विकसित ओडिशा बनाने के लिए भाजपा इस बार लोकसभा की सभी 21 सीटों और विधानसभा की सभी 147 सीटों पर अकेले चुनाव लड़ेगी।'
उनकी यह घोषणा बीजेपी की दिल्ली में एक बड़ी बैठक के बाद आयी है। समझा जाता है कि ओडिशा भाजपा नेताओं ने केंद्रीय नेताओं को आश्वस्त किया कि पटनायक की पार्टी के साथ गठबंधन भाजपा के हित के खिलाफ होगा।
बीजेपी और बीजेडी के बीच 1998 से 2009 के बीच एक दशक से अधिक समय तक गठबंधन रहा था। दोनों दलों ने 2009 तक तीन लोकसभा और दो विधानसभा चुनाव एक साथ लड़े थे। ओडिशा में 21 लोकसभा सीटों और 147 सदस्यीय विधानसभा के लिए 13 मई से चार चरणों में एक साथ मतदान होगा।
फ़िलहाल भाजपा के पास वर्तमान में ओडिशा से आठ लोकसभा सांसद और विधानसभा में 23 विधायक हैं। इस बीच राज्य में सत्तारूढ़ बीजेडी के पास 112 विधायक और 12 लोकसभा सांसद हैं।