कोरोना: महाराष्ट्र में फिर सख्ती, आधी क्षमता में खुलेंगे निजी कार्यालय

06:28 pm Mar 19, 2021 | सत्य ब्यूरो - सत्य हिन्दी

कोरोना को लेकर महाराष्ट्र में फिर से सख़्ती लौट आई है। सभी कार्यालय, थिएयर, ऑडिटोरियम में अब क्षमता के आधा ही काम करने की इजाजत होगी। यह सख्ती 31 मार्च तक लागू होगी। सख्ती इसलिए कि कोरोना राज्य में बेकाबू हो गया लगता है। राज्य में कोरोना संक्रमण के मामलों में अनपेक्षित उछाल दिखा है।

महाराष्ट्र में एक दिन में संक्रमण के 25,833 नए मामले सामने आए हैं। इससे पहले राज्य में सबसे ज़्यादा संक्रमण के मामले पिछले साल 11 सितंबर को 24 हज़ार 886 केस आए थे। महाराष्ट्र बड़ी मुश्किल से कोरोना संक्रमण पर क़ाबू पा सका था लेकिन यहां कोरोना फिर से बेकाबू होता दिख रहा है। मुंबई में 24 घंटे में 2,877 नए मामले सामने आए और 8 लोगों की मौत हुई। पूरे राज्य में एक दिन में 58 लोगों की मौत हुई है। 

इससे पहले मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे कई बार लोगों को सख्ती करने की चेतावनी दे चुके थे। उन्होंने पिछले शनिवार को राज्य में होटल और रेस्तरां को आदेश दिया था कि वे अपने परिसर में कोरोना प्रोटोकॉल का कड़ाई से पालन सुनिश्चित करें और राज्य को लॉकडाउन जैसे कठोर उपायों को लागू करने के लिए मजबूर न करें।

इसी बीच अब महाराष्ट्र सरकार का कोरोना को लेकर आदेश आया है। इसमें कहा गया है कि स्वास्थ्य और अन्य आवश्यक सेवाओं को छोड़कर अन्य सभी निजी कार्यालय में क्षमता का आधा ही कार्य किया जा सकेगा। 

इसने यह भी कहा है कि सरकारी और अर्ध-सरकारी कार्यालयों को कर्मचारियों की उपस्थिति पर ख़ुद से निर्णय लेने की अनुमति दी गई है। हालाँकि, विनिर्माण क्षेत्र से जुड़े कार्यालयों को अभी भी कम कर्मचारियों के साथ काम करना होगा।

सरकार ने कहा है कि उत्पादन ईकाइयों में सोशल डिस्टेंसिंग बनाए रखने के उद्देश्य से विनिर्माण ईकाइयों को ज़्यादा शिफ़्ट में काम करने की अनुमति दी जा सकती है।

सरकार ने कहा कि सुरक्षा नियमों का उल्लंघन करते हुए पाए गए किसी भी इकाई को तब तक बंद करना होगा जब तक कि सरकार उसे खोलने की अनुमति नहीं दे।

बता दें कि केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा है कि देश भर में कोरोना के कुल एक्टिव मामलों में से 60 फ़ीसदी महाराष्ट्र से ही हैं। केंद्र सरकार कह चुकी है कि महाराष्ट्र में इस महामारी की दूसरी लहर आ चुकी है। महाराष्ट्र में अभी कुल एक्टिव केस 1,66,353 हैं। राज्य में 53,138 लोग इस महामारी के कारण जान गँवा चुके हैं। 

इस वजह से महाराष्ट्र सरकार ने बीते कुछ दिनों में कई इलाक़ों में फिर से लॉकडाउन लगाया है और कुछ जगहों पर प्रतिबंध बढ़ाए हैं। इन शहरों में नागपुर, पुणे, यवतमाम, अकोला आदि शामिल हैं। 

पुणे में सभी स्कूलों को 31 मार्च तक के लिए बंद कर दिया गया है। इसके अलावा परभणी जिले के प्रशासन ने परभणी से दूसरे शहरों जैसे- मुंबई, औरंगाबाद, पुणे और नांदेड़ में जाने वाली बसों की सेवा बंद कर दी है।

देश में कोरोना संक्रमण के मामले शुक्रवार को फिर से काफ़ी ज़्यादा बढ़ गए। स्वास्थ्य विभाग के अनुसार देश में 24 घंटे में 39 हज़ार 726 मामले रिकॉर्ड किए गए। एक दिन पहले ही एक दिन में 35 हज़ार 871 मामले आए थे।

संक्रमण के नये मामले आने के बाद देश में अब तक 1 करोड़ 15 लाख से ज़्यादा मामले आ चुके हैं। 24 घंटे में 154 लोगों की मौत हुई और अब तक कुल मरने वालों की संख्या 1 लाख 59 हज़ार से ज़्यादा हो चुकी है। देश में अब कुल सक्रिय मामले 2 लाख 71 हज़ार से ज़्यादा हो गए हैं। 

देश में तेज़ी से बढ़ते कोरोना के प्रकोप के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को ही कहा है कि 'उभरते कोरोना की सेकंड पीक' को रोकना ही होगा।

कोरोना संक्रमण को लेकर बुधवार को मुख्यमंत्रियों के साथ बैठक में प्रधानमंत्री ने कहा कि छोटे स्तर पर कंटेनमेंट ज़ोन बनाने, प्रतिबंधों को लागू करने जैसे क़दमों को उठाने को कहा। उन्होंने मुख्यमंत्रियों से कहा कि यदि महामारी को अभी नहीं रोका गया तो यह पूरे देश में फिर से फैल जाएगा। 

प्रधानमंत्री ने जोर देकर कहा कि लोगों में दहशत की स्थिति पैदा किए बिना पहल किए जाने की ज़रूरत है। बैठक में एक प्रस्तुति के दौरान कहा गया है कि 70 ज़िलों में कोरोना के मामलों में 150% की वृद्धि हुई। सबसे ज़्यादा प्रभावित राज्य महाराष्ट्र में 60 फ़ीसदी सक्रिय कोरोनो के मामले हैं। पंजाब में कोरोना संक्रमण की बढ़ती संख्या को रोकने के लिए पूरे राज्य में RTPCR टेस्ट को बढ़ाने का प्रस्ताव किया गया।