कैबिनेट विस्तार के बाद हुई मंत्रिमंडल की पहली बैठक में ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नए कोरोना आर्थिक पैकेज का एलान किया। इस कोरोना पैकेज के तहत आपातकालीन स्वास्थ्य सेवा स्थितियों से निपटने के लिए 23,123 करोड़ रुपए का इंतजाम किया जाएगा। इस पैकेज का नाम होगा कोरोना रिस्पॉन्स पैकेज।
मंत्रिपरिषद की बैठक के बाद नव-नियुक्त स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने कहा कि इस पैसे का इस्तेमाल कोरोना से जुड़ी आपात सेवाओं में होगा और इसका इस्तेमाल केंद्र व राज्य सरकारें कर सकेंगी।
यह कोरोना पैकेज पहले के कोरोना आर्थिक पैकेज से बिल्कुल अलग होगा।
मंडाविया ने यह भी कहा कि इस पैकेज से 15,000 करोड़ केंद्र और 8000 करोड़ राज्य आवंटित करेंगे। उन्होंने कहा,
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736 ज़िलों में शिशु रोग विभाग बनाया जाएगा। इसके अलावा 20,000 आईसीयू बेड तैयार किए जाएंगे। इसके साथ ही बच्चों के लिए विशेष व्यवस्था होगी। इस पैकेज से दवाओं का बफर स्टॉक भी तैयार किया जाएगा।
मनसुख मंडाविया, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री
बता दें कि मनसुख मंडाविया ने गुरुवार को ही कार्यभार संभाला और यह उनकी पहली कैबिनेट बैठक थी।
बुधवर को राष्ट्रपति भवन के अशोक हाल में बुधवार को हुए कैबिनेट विस्तार में 15 कैबिनेट और 28 राज्य मंत्रियों ने शपथ ली।
क़र्ज़ गारंटी
कुछ दिन पहले ही वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कोरोना से प्रभावित सेक्टरों के लिए 1.1 लाख करोड़ रुपए की क़र्ज़ गारंटी स्कीम का एलान किया था। इसके तहत वे उद्योग जो कोरोना से प्रभावित हुए हैं, बैंकों या दूसरे वित्तीय संस्थाओं से कर्ज लेगें तो केंद्र सरकार उसकी गारंटी देगी।
इसके अलावा 'आत्मनिर्भर भारत' कार्यक्रम के तहत आपातकाल स्थितियों में उद्योगों को क़र्ज़ लेने पर भी केंद्र सरकार उसकी गारंटी देगी। इस योजना के तहत 1.5 लाख करोड़ रुपए का इंतजाम किया गया था।
क़र्ज़ गारंटी स्कीम के तहत स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए 50,000 करोड़ और दूसरे क्षेत्रों के लिए 60,000 करोड़ रुपए की व्यवस्था की गई है।
स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए जो पैसे रखे गए हैं, उसके तहत अधिकतम 100 करोड़ रुपए का क़र्ज़ लिया जा सकेगा। इस स्कीम के तहत ब्याज की अधिकतम दर 7.95 प्रतिशत है।