उत्तराखंड के उत्तरकाशी ज़िले में एक निर्माणाधीन सुरंग ढहने से कम से कम 36 श्रमिकों के अंदर फंसे होने की आशंका है। ब्रह्मखाल-यमुनोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग पर सिल्क्यारा में रविवार सुबह भूस्खलन के बाद यह हादसा हुआ। यह सुरंग सिल्क्यारा को डंडालगांव से जोड़ती है।
राष्ट्रीय और राज्य आपदा प्रतिक्रिया कोष यानी एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमों और पुलिस कर्मियों को घटनास्थल पर भेजा गया है। मजदूरों को बचाने के लिए मौके पर पांच एंबुलेंस भी तैनात की गई हैं।
घटना सुबह करीब चार बजे हुई जब साढ़े चार किलोमीटर लंबी सुरंग का 150 मीटर लंबा हिस्सा ढह गया। मीडिया रिपोर्यों के अनुसार शुरुआती जानकारी मिली है कि भूस्खलन सुरंग के प्रवेश द्वार से 200 मीटर की दूरी पर हुआ है, जबकि श्रमिक प्रवेश द्वार से 2,800 मीटर दूर थे। हालाँकि अंदर श्रमिकों के लिए ऑक्सीजन सिलेंडर उपलब्ध हैं, लेकिन सुरंग के अंदर एक अतिरिक्त ऑक्सीजन पाइप भी पहुंचाया गया है। अधिकारियों ने कहा है कि कर्मचारी सुरक्षित हैं।
एसडीआरएफ़ ने एक बयान में कहा है, 'आज जिला नियंत्रण कक्ष उत्तरकाशी से सूचना प्राप्त हुई कि उत्तरकाशी में ब्रह्मखाल बड़कोट के बीच सुरंग ढहने से 36 लोगों के फंसे होने की आशंका है। एसडीआरएफ़ की टीमों की मौके पर ज़रूरत थी।'
बचाव राहत टीम ने कहा है कि घटना की सूचना मिलने पर एसडीआरएफ की बचाव टीमों को ज़रूरी बचाव उपकरणों के साथ घटनास्थल के लिए रवाना होने का निर्देश दिया। मौके पर पहुंचने के बाद एसडीआरएफ अन्य बचाव यूनिटों के साथ समन्वय में युद्ध स्तर पर राहत और बचाव कार्य कर रही है।
घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए, उत्तराखंड के सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कहा, 'जब से मुझे घटना के बारे में पता चला है तब से मैं अधिकारियों के संपर्क में हूं… एनडीआरएफ और एसडीआरएफ मौके पर हैं। हम ईश्वर से सभी की सुरक्षित वापसी के लिए प्रार्थना कर रहे हैं।'
ऑल वेदर रोड परियोजना के तहत योजनाबद्ध, 4.5 किमी लंबी सुरंग का निर्माण राष्ट्रीय राजमार्ग और बुनियादी ढांचा विकास निगम लिमिटेड की देखरेख में नवयुग इंजीनियरिंग कंपनी लिमिटेड द्वारा किया जा रहा है। कंपनी की ओर से मलबा हटाने का काम किया जा रहा है।