भारत में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर मई में आ सकती है। स्वास्थ्य विभाग यह तो मानता है, पर इससे निपटने की क्या तैयारियाँ की गई हैं, इस पर वह चुप है।
संक्रमण की रफ़्तार!
इंडियन एक्सप्रेस ने एक ख़बर में कहा है कि भारत में कोरोना संक्रमित लोगों के दूने होने की दर सबसे बुरी स्थिति में 3.4 दिनों की हो सकती है। यानी आज जितने लोग कोरोना संक्रमित हैं, कितने दिन में उनकी तादाद बढ़ कर दुगनी हो जाएगी।सरकार को उम्मीद है कि इसमें सुधार होगा और अप्रैल के अंत तक यह 12 दिन तक पहुँच जाएगी। फिलहाल यह 7.5 दिन है।
सरकार को इसकी आशंका है कि मई के दूसरे हिस्से में कोरोना एक बार फिर तेज़ी से फैल सकता है। इसे संक्रमण की दूसरी लहर (सेकंड वेब) कहते हैं। चीन में अभी दूसरी लहर का दौर है।
संक्रमण की दूसरी लहर
उस समय तक भारत में लॉकडाउन ख़त्म हो चुका रहेगा, उस स्थिति में संक्रमण का दूसरा दौर अधिक ख़तरनाक हो सकता है। पर लोगों का मानना है कि चूंकि आम जनता में जागरुकता आ चुकी है, लोग सोशल डिस्टैंसिंग करने लगे हैं, इसलिए संक्रमण बहुत तेज़ नहीं फैलेगा। सरकार में मौजूद लोगों का आकलन है कि संक्रमण के दूसरे दौर में भी दुगना होने की रफ़्तार 5 दिन से अधिक नहीं होनी चाहिए।
स्वास्थ्य विभाग के लोगों का यह भी मानना है कि कोरोना संक्रमण शहरों-कस्बों तक सीमित रहेगा और इसलिए इसे संभालना बहुत मुश्किल नहीं होगा।
लेकिन सरकार मुंबई, इंदौर और चंडीगढ़ जैसी जगहों से शिक्षा लेते हुए किसी तरह का जोखिम उठाना नहीं चाहती, लिहाज़ा पूरी तैयारी के साथ मुस्तैद रहना चाहती है।
फ़िलहाल, 321 ज़िलों में एक भी नया मामला नहीं है, 77 जिलों में बीते 7 दिनों में एक भी नया मामला नहीं आया है। इसी तरह 62 ज़िलों में 14 दिनों से तो 17 ज़िलों में 21 दिनों से नया मामला सामने नहीं आया है। इसके अलावा माही, कोडागू और पौड़ी गढ़वाल, इन तीन ज़िलों में 28 दिनों कोरोना का कोई मामला सामने नहीं आया है।
इससे स्वास्थ्य विभाग के लोगों को लगता है कि वे संक्रमण के दूसरे दौर को भी संभाल लेंगे।