रिपब्लिक टीवी के प्रबंध निदेशक और मशहूर पत्रकार अर्णब गोस्वामी को क्या बालाकोट हमले की पूर्व जानकारी थी? यदि उन्हें यह जानकारी थी तो सवाल उठता है कि यह गोपनीय जानकारी 'क्लासीफ़ाइड इनफॉर्मेशन' उन तक कैसे पहुँची?
इन सवालों का जवाब पाने के लिए विपक्षी दलों ने अर्णब गोस्वामी के लीक हुए वॉट्सऐप चैट की जाँच संयुक्त संसदीय समिति से कराने की माँग केंद्र सरकार से की है। इन दलों का कहना है कि यह क्लासीफ़ाइड इनफॉर्मेशन के लीक होने और मिलीभगत का मामला बन सकता है, लिहाज़ा पूर मामले की जाँच होनी चाहिए। सत्तारूढ़ बीजेपी इस पर अब तक चुप है, पर यह मामला तूल पकड़ेगा, यह लगभग तय है।
कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने कहा है,
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"मीडिया के एक वर्ग ने जो कुछ रिपोर्ट किया है, वह यदि सच है तो बालाकोट हमले और 2019 के आम चुनावों के बीच सीधा तार जुड़ता है। क्या राजनीतिक फ़ायदे के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा का दोहन किया गया है, इस मुद्दे पर संयुक्त जाँच समिति की जाँच होनी चाहिए।"
मनीष तिवारी, कांग्रेस सांसद
हमलावर कांग्रेस
तिवारी ने हिन्दुस्तान टाइम्स से कहा, "हालांकि वॉट्सऐप चैट निजी मामला है, पर गोस्वामी का यह चैट अदालत के रिकॉर्ड में है, लिहाज़ा इसकी जाँच होनी चाहिए।"
कांग्रेस नेता व पूर्व रक्षा मंत्री पी चिदंबरम ने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह को टैग करते हुए पूछा है, "क्या एक पत्रकार (और उसके मित्र) को बालाकोट हमले के तीन दिन पहले ही इसकी जानकारी थी?"
चिदंबरम ने इसके आगे कहा, "यदि यह सच है तो क्या इन लोगों ने इस जानकारी को कुछ लोगों के साथ जिसमें पाकिस्तान के जासूस भी हो सकते हैं, यह जानकारी साझा नहीं की?"
तृणमूल : नेशन वांट्स टू नो
तृणमूल कांग्रेस की सांसद महुआ मोइत्रा ने भी यह सवाल उठाया है। उन्होंने कहा है, "देश जानना चाहता है- क्या बालाकोट हमले और अनुच्छेद 370 हटाने की पूर्व जानकारी एक एंकर को पहले से ही थी?"
महुआ मोइत्रा, सांसद, तृणमूल कांग्रेस
बता दें कि मुंबई पुलिस ने टीआरपी स्कैम की सप्लीमेंट्री चार्जशीट यानी पूरक आरोप पत्र दाखिल कर दी है। इसमें 500 से ज़्यादा पन्नों की कथित तौर पर अर्णब गोस्वामी की वाट्सऐप चैट को सबूत के तौर पर पेश किया गया है। वही वाट्सऐप चैट अब लीक हुई है और उसमें कई राज खुले हैं!
वह वाट्सऐप चैट टीआरपी तैयार करने वाली एजेंसी के तत्कालीन प्रमुख पार्थो दासगुप्ता और रिपब्लिक टीवी के मुख्य संपादक अर्णब गोस्वामी के बीच बतायी जा रही है। मुंबई पुलिस ने सप्लीमेंट्री चार्जशीट तीन दिन पहले ही दाखिल की है।