उत्तर प्रदेश के गोंडा जिले में गुरुवार दोपहर चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस हादसे में कम से कम 2 लोगों की मौत हो गई है। उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने पत्रकारों से कहा कि गोंडा रेल हादसे में दो लोगों की मौत हो गई है और 29 लोग घायल हैं। उन्होंने कहा कि घायलों का जिला अस्पताल में इलाज चल रहा है। इससे पहले उन्होंने पीटीआई से कहा था कि दुर्घटना में 4 लोगों की मौत हुई थी। पीटीआई के अनुसार रेलवे अधिकारियों ने बताया कि चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस दोपहर करीब 2.35 बजे उत्तर प्रदेश के गोंडा के पास पटरी से उतर गई।
यह ट्रेन बुधवार रात 11.35 बजे चंडीगढ़ स्टेशन से रवाना हुई थी। ट्रेन असम के डिब्रूगढ़ जा रही थी। उत्तर प्रदेश के गोंडा जिले में मोतीगंज-झिलाही रेलवे स्टेशनों के बीच यह हादसा हुआ। रेलवे विभाग के शीर्ष अधिकारी मौके पर मौजूद हैं।
रेलवे विभाग के आला अधिकारी मौके पर मौजूद हैं। कम से कम 15 एंबुलेंस और मेडिकल टीम के 40 सदस्य मौके पर हैं। और भी मदद आने वाली है। गोंडा के जिला मजिस्ट्रेट और पुलिस अधीक्षक घटनास्थल पर हैं और राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल की चार टीमें तैनात की गई हैं।
ट्रेन के पटरी से उतरने के कारण दो ट्रेनें रद्द कर दी गई हैं और 11 के मार्ग में परिवर्तन किया गया है। कटिहार-अमृतसर एक्सप्रेस और गुवाहाटी-श्रीमाता वैष्णोदेवी कटरा एक्सप्रेस का मार्ग परिवर्तित कर दिया गया है।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को तत्काल मौके पर पहुंचकर राहत कार्य में तेजी लाने के निर्देश दिए हैं। राज्य आपदा मोचन बल की टीम को भी मौके पर पहुंचकर राहत कार्य में तेजी लाने के निर्देश दिए गए हैं।
रेलवे मेडिकल घटनास्थल पर पहुंच गया है और पूर्वोत्तर रेलवे ने हेल्पलाइन नंबर जारी किए हैं:
- वाणिज्यिक नियंत्रण: 9957555984
- फुरकेटिंग : 9957555966
- मरियानी : 6001882410
- सिमलगुरी : 8789543798
- तिनसुकिया : 9957555959
- डिब्रूगढ़ : 9957555960
पूर्वोत्तर रेलवे के बाराबंकी-गोरखपुर रेल खंड पर मोतीगंज-झिलाही स्टेशनों के बीच डाउन लाइन पर 15904 चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस के पटरी से उतरने के परिणामस्वरूप रेल यात्रियों की सहायता के लिए एक हेल्पलाइन नंबर जारी किया गया है-
लखनऊ - 8957409292
गोंडा - 8957400965
कंचनजंगा एक्सप्रेस हादसे में 10 मौतें
पिछले महीने पश्चिम बंगाल के सिलीगुड़ी में कंचनजंगा एक्सप्रेस ट्रेन दुर्घटनाग्रस्त हो गई थी। इसमें कम से कम 10 लोगों की मौत हो गई थी और दर्जनों लोग घयाल हुए थे। ट्रेन कोलकाता के सियालदह स्टेशन जा रही थी और सिलीगुड़ी के रंगापानी क्षेत्र में एक मालगाड़ी ने पीछे से उसे टक्कर मार दी।
बता दें कि इस घटना को लेकर रेलवे सुरक्षा आयुक्त का दो दिन पहले ही बयान आया है। उन्होंने बताया है सिग्नल क्षेत्रों में ट्रेन संचालन के प्रबंधन में कई स्तरों पर खामियां देखी गई हैं। लोको पायलटों और स्टेशन मास्टरों के बीच में ठीक से बातचीत न होने के कारण मालगाड़ी से जुड़ी कंचनजंघा एक्सप्रेस की ये घटना घटी है।
रेलवे सुरक्षा आयुक्त (सीआरएस) ने सर्वोच्च प्राथमिकता पर स्वचालित ट्रेन-सुरक्षा प्रणाली के कार्य की भी सिफारिश की। सीआरएस ने कहा कि केवल कंचनजंघा एक्सप्रेस ने 15 किमी प्रति घंटे की अधिकतम गति से चलने और प्रत्येक सिग्नल पर एक मिनट के लिए रुकने के मानदंड का पालन किया, जबकि दुर्घटना में शामिल मालगाड़ी सहित बाकी छह ट्रेनों ने इसका पालन नहीं किया।