निकोबार से वोट नहीं मिला, अब आपके दिन बुरे होंगे: बीजेपी सांसद

12:07 pm Jun 21, 2024 | सत्य ब्यूरो

'वोट नहीं दिया तो काम नहीं करूंगा'! लगता है कि कुछ सांसदों ने अगला चुनाव जीतने का मंत्र बना लिया है। एक के बाद एक सांसद वोट नहीं देने वालों का काम नहीं करने की बात क्यों कह रहे हैं? बिहार के जेडीयू सांसद देवेश चंद्र ठाकुर की विवादास्पद टिप्पणी के बाद अब अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के नवनिर्वाचित भाजपा सांसद बिष्णु पद रे ने भी ऐसा ही विवादित बयान दे दिया है।

बीजेपी सांसद ने उनको वोट नहीं देने वालों को गंभीर परिणाम भुगतने की चेतावनी दी है। सोशल मीडिया पर विष्णु पद रे का एक वीडियो वायरल हो रहा है जिसमें वह निकोबार द्वीप समूह के मतदाताओं को उन्हें वोट न देने पर गंभीर परिणाम भुगतने की धमकी दे रहे हैं। द इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार यह वीडियो लोकसभा चुनाव के नतीजों के एक दिन बाद 5 जून को आया था, लेकिन हाल ही में सामने आया है। वीडियो में दिखता है कि सांसद रे केंद्र शासित प्रदेश में एक जनसभा को संबोधित कर रहे हैं।

रिपोर्ट के अनुसार बीजेपी सांसद ने कहा, 'हम लोगों के काम करवाएंगे। लेकिन जिन्होंने हमें वोट नहीं दिया, उन्हें सोचना चाहिए। निकोबार द्वीप समूह ने मुझे कोई वोट नहीं दिया। कार निकोबार, सोचो अब तुम्हारा क्या होने वाला है।'

वीडियो में उनको यह कहते सुना जा सकता है, 'निकोबार के नाम पर तुम पैसे लोगे, शराब पिओगे, लेकिन वोट नहीं दोगे। सचेत हो जाओ, सचेत हो जाओ, सचेत हो जाओ। अब तुम्हारे दिन खराब हैं। तुम अब अंडमान और निकोबार द्वीप समूह को मूर्ख नहीं बना पाओगे। तुम्हारे दिन अब अच्छे नहीं रहेंगे।' जब इस पर प्रतिक्रिया के लिए संपर्क किया गया तो इंडियन एक्सप्रेस के सवालों को सुनने के बाद रे ने फोन काट दिया। जब उनसे दोबारा संपर्क किया गया तो उन्होंने बिना जवाब दिए बार-बार फोन काट दिया।

रिपोर्ट के अनुसार हालाँकि बाद में उन्होंने इस घटना के संबंध में एक प्रेस नोट भेजा। नोट में बताया गया कि घटना के बाद कार निकोबार के मुख्य आदिवासी कप्तान के नेतृत्व में निकोबारी बुजुर्गों ने पोर्ट ब्लेयर में उनसे मुलाकात की और चुनाव जीतने पर उन्हें बधाई दी। 

सांसद द्वारा भेजे गए नोट में कहा गया है, 'उन्होंने उन्हें कुछ घटनाओं के कारण समुदाय के विभिन्न वर्गों में होने वाली पीड़ा और चिंता से भी अवगत कराया। माननीय निर्वाचित सांसद ने निकोबार के लोगों के प्रति अपने गहरे लगाव और अपने पिछले कार्यकालों के दौरान समुदाय के लिए किए गए कार्यों के बारे में बात की। उन्होंने बुजुर्गों से अतीत को भूलने के लिए भी कहा और उन्हें आश्वासन दिया कि जब भी जरूरत होगी, वे आदिवासी समुदाय के मुद्दों को हल करने के लिए और भी अधिक प्रतिबद्धता के साथ काम करेंगे।'

अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के सांसद का यह मामला तब सामने आया है जब हाल ही में बिहार में जेडीयू सांसद ने भी ऐसा ही विवादित बयान दे दिया था कि वह वोट नहीं देने वालों का काम नहीं करेंगे।

जेडीयू सांसद देवेश चंद्र ठाकुर कम वोटों के अंतर से जीत से नाराज़ हैं। उनका भी एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था जिसमें उन्होंने कहा कि उन्होंने सबसे ज्यादा काम यादव और मुस्लिम समाज का किया, लेकिन चुनाव में इन लोगों ने बिना किसी कारण के उन्हें वोट नहीं किया। उन्होंने कहा, 'अगर आगे इस समाज के लोग काम करने आते हैं तो चाय-नाश्ता ज़रूर कराएंगे लेकिन उनका काम नहीं करेंगे।'

उन्होंने कहा, "एक मुस्लिम व्यक्ति उनके पास आया था। वो कोई काम करवाना चाहता था। उससे पूछा- 'लगता है आप पहली बार आये हैं? उसने कहा-' हां सर, पहली बार आया हूँ।' मैंने कहा- 'आपने तो लालटेन को वोट दिया होगा।' उसने कहा, 'हां सर, वोट दिया था।' मैंने कहा- 'फिर भी आप मेरे पास आये हैं? आप पहली बार आये हैं इसलिए मैं आपको कम बोल रहा हूं। वरना मैं किसी को छोड़ता नहीं हूँ। आप पहली बार आये हैं, चाय पीजिये, मिठाई खाइए। इसके बाद आपको दुआ सलाम करके मैं नमस्कार करूँगा। लेकिन आपका काम नहीं करूँगा'।"

सीतामढ़ी से जेडीयू सांसद के विवादित बयान के बाद केंद्रीय मंत्री और भाजपा के बेगुसराय सांसद गिरिराज सिंह ने कहा कि मुसलमान भी उन्हें वोट नहीं देते। उन्होंने यह भी कहा कि मुसलमानों द्वारा किसी विशेष पार्टी को वोट न देने के सामूहिक निर्णय का मकसद ही 'सनातन को कमजोर करना' है। जेडीयू सांसद को लेकर गिरिराज सिंह ने कहा कि 'ठाकुर ने अपने दिल की बात की है। उन्हें दुख है क्योंकि उनके वह कई वर्षों तक एमएलसी थे। उनके घर में हर धर्म का प्रतीक लगा हुआ है, जिसका मतलब है कि वह सबके लिए काम करेंगे। लेकिन उनका दिल टूट गया।'