छत्तीसगढ़ में कांग्रेस ने भूपेश बघेल को मुख्यमंत्री बनाया है। बघेल पाटन सीट से विधायक हैं और छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष भी हैं। बघेल ने ज़मीन पर सगंठन को मजबूत किया है। पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष रहते हुए उन्होंने रमन सिंह की अगुवाई वाली बीजेपी को सत्ता से बाहर करने में अहम भूमिका निभाई। कांग्रेस ने 90 सदस्यीय विधानसभा में 68 सीटों पर जीत दर्ज की है। पिछले 15 साल से राज्य में बीजेपी की सरकार थी। रायपुर में कांग्रेस संसदीय दल के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने बघेल के नाम की घोषणा की।
छत्तीसगढ़ में अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) की आबादी अधिक है और बघेल को ओबीसी समुदाय का बड़ा नेता माना जाता है। बघेल अविभाजित मध्य प्रदेश में दिग्विजय सरकार में मंत्री भी रह चुके हैं। सीएम के लिए वरिष्ठ नेता टीएस सिंहदेव, लोकसभा सांसद ताम्रध्वज साहू, वरिष्ठ नेता चरणदास महंत दौड़ में थे। छत्तीसगढ़ में 15 साल बाद कांग्रेस ने जोरदार वापसी की है। राजस्थान की तर्ज़ पर पार्टी ने यहाँ कोई डिप्टी सीएम नहीं बनाया है। पहले चर्चा थी कि बघेल और सिंहदेव को ढाई-ढाई साल के लिए सीएम की कुर्सी दी जाएगी। यदि यह डील हुई भी हो तो फ़िलहाल ऐसी कोई घोषणा नहीं की गई है।
मुख्यमंत्री पद पर चयन से पहले रायपुर में कांग्रेस विधायकों की बैठक हुई। बैठक में लोकसभा में कांग्रेस संसदीय दल के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे, प्रदेश प्रभारी पीएल पूनिया भी मौजूद रहे।
इससे पहले कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गाँधी ने शनिवार को छत्तीसगढ़ में सीएम पद के चार दावेदारों के साथ ट्विटर पर फ़ोटो शेयर की थी। इससे पहले भी उन्होंने मध्य प्रदेश और राजस्थान में सीएम के एलान से पहले दावेदारों के साथ फ़ोटो ट्विटर पर शेयर की थी।
बघेल का नाम विवादों में भी रहा है। अक्टूबर, 2017 में एक कथित सेक्स टेप वायरल हुआ था। इस मामले में बीजेपी ने कांग्रेस नेताओं पर कथित सेक्स सीडी बाँटने का आरोप लगाया था। सीडी कांड में बघेल के ख़िलाफ़ रायपुर में प्राथमिकी दर्ज़ हुई थी।