ट्रम्प-ज़ेलेंस्की की तीखी बहस के बाद क्या हुआ, यूएस अधिकारी तक हैरान

11:26 am Mar 01, 2025 | सत्य ब्यूरो

शुक्रवार को व्हाइट हाउस में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प और यूक्रेन के राष्ट्रपति व्लादिमीर ज़ेलेंस्की के बीच हुई तीखी नोकझोंक ने पूरी दुनिया को चौंका दिया। लेकिन इस घटनाक्रम के बाद जो हुआ, उससे अमेरिका की छवि और खराब हो गई है।

दोनों नेताओं ने खनिज समझौते के अलावा मूल रूप से यूक्रेन में रूस की आक्रामकता को खत्म करने के मकसद से एक शांति योजना पर चर्चा करने की योजना बनाई थी। लेकिन तनाव बढ़ता गया और उसने अप्रत्याशित मोड़ ले लिया। आगे पढ़ियेः

सीएनएन की मुख्य व्हाइट हाउस संवाददाता कैटलन कोलिन्स ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर ओवल ऑफिस टकराव के बाद की प्रमुख जानकारी साझा की। कोलिन्स ने लिखा, "ओवल ऑफिस में हुई झड़प के बाद व्हाइट हाउस के अंदर क्या हुआ। ट्रम्प ने तुरंत बाद ओवल के अंदर अपने प्रमुख सलाहकारों के साथ बैठक की।

व्हाइट हाउस के एक अधिकारी के हवाले से कोलिन्स ने बताया कि यूक्रेनी राष्ट्रपति के साथ तीखी नोकझोंक के ठीक बाद ट्रम्प ने स्थिति का आकलन करने के लिए अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार माइक वाल्ट्ज सहित अपनी टीम के प्रमुख सदस्यों से सलाह ली। इस बैठक के दौरान ट्रम्प ने निष्कर्ष निकाला कि ज़ेलेंस्की "बातचीत करने की स्थिति में नहीं हैं।"

  • इसके बाद ट्रम्प ने रुबियो और वाल्ट्ज को यह संदेश देने का निर्देश दिया कि "ज़ेलेंस्की के लिए व्हाइट हाउस छोड़ने का समय आ गया है। उसके बाद संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस भी रद्द कर दी गई।

लेकिन तभी एक और कांड हुआ

ज़ेलेंस्की के साथ आया यूक्रेनी प्रतिनिधिमंडल बगल के कमरे में इंतजार कर रहा था, जो विदेशी नेताओं के लिए एक प्रोटोकॉल है। परंपरा के अनुसार आमतौर पर दो देशों के राष्ट्राध्यक्ष और प्रतिनिधिमंडल लंच एकसाथ करते हैं। कोलिन्स ने लिखा है- जैसे ही तैयार लंच लगाया गया। यूक्रेनियन अधिकारियों को वहां से जाने का निर्देश दिया गया।"  उसी व्हाइट हाउस अधिकारी का हवाला देते हुए, कोलिन्स ने कहा कि यूक्रेनियन बातचीत जारी रखना चाहते थे, लेकिन उनके अनुरोध को अस्वीकार कर दिया गया। संदेश प्राप्त करने के बाद ज़ेलेंस्की ने भी कुछ ही समय बाद परिसर छोड़ दिया। यानी न तो ज़ेलेंस्की और न ही उनके देश के अन्य अधिकारियों को वहां लंच करने दिया गया।

सूत्रों का कहना है कि इस घटनाक्रम को यूएस के अधिकारियों तक ने पसंद नहीं किया।

टकराव के नतीजों ने यूक्रेन के लिए अमेरिकी समर्थन के भविष्य के बारे में गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं, खासकर रूस के साथ चल रहे संघर्ष के इस महत्वपूर्ण चरण के दौरान यूक्रेन कमजोर पड़ता जा रहा है।

इस सार्वजनिक टकराव ने संघर्ष में अमेरिका की भागीदारी के भविष्य पर सवालिया निशान लगा दिये हैं। कई लोग रूस के आक्रमण के खिलाफ खुद का बचाव करने की यूक्रेन की क्षमता के लंबे समय तक टिके रहने को शक की नजर से देख रहे हैं।

(रिपोर्ट और संपादनः यूसुफ किरमानी)