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टमाटर महंगे हैं तो घर में उपजाएँ, खाना छोड़ दें, सस्ते हो जाएँगे: मंत्री

टमाटर महंगे हैं तो घर में उपजाएँ, खाना छोड़ दें, सस्ते हो जाएँगे: मंत्री

टमाटर महंगे हैं तो आम लोगों को क्या करना चाहिए? यानी महंगाई से बचने या फिर टमाटर को सस्ता करने का क्या तरीक़ा हो सकता है? जानिए, यूपी के मंत्री की सलाह।

टमाटर की महंगाई से बचने के क्या तरीक़े हो सकते हैं? घर में ही टमाटर उपजाना शुरू कर दें। या फिर टमाटर को खाना ही छोड़ दें। यह सलाह कोई गली-चौराहे पर बैठा आदमी नहीं दे रहा है, बल्कि उत्तर प्रदेश की महिला विकास और बाल पोषण राज्य मंत्री प्रतिभा शुक्ला दे रही हैं।

मंत्री उत्तर प्रदेश सरकार के वृहद वृक्षारोपण कार्यक्रम के तहत वृक्षारोपण अभियान कार्यक्रम में बोल रही थीं। कार्यक्रम में उन्होंने कहा, 'अगर टमाटर महंगे हैं तो लोगों को उन्हें घर पर उगाना चाहिए। यदि आप टमाटर खाना बंद कर देंगे, तो कीमतें अनिवार्य रूप से कम हो जाएंगी। आप टमाटर की जगह नींबू भी खा सकते हैं। अगर कोई टमाटर नहीं खा रहा है, तो कीमतें कम हो जाएंगी।'

यूपी की मंत्री के इस बयान ने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का प्याज-लहसुन पर दिये उनके बयान को ताज़ा कर दिया जब दिसंबर 2019 में प्याज की क़ीमतें आसमान छू रही थीं। लोकसभा में प्याज़ की बढ़ी क़ीमतों पर एनसीपी सांसद सुप्रिया सुले ने सवाल पूछा था कि 'आख़िर प्याज़ की पैदावार कम क्यों हुई? हम भारतीय मिस्र का प्याज़ क्यों खाएं? प्याज़ का किसान बेहद छोटा किसान होता है, उसे बचाने की ज़रूरत है।' इसी बीच कोई सांसद बोल पड़ते हैं 'आप मिस्र का प्याज़ खाती हैं?' इस पर निर्मला जवाब देती हैं, 'मैं इतना लहसुन प्याज़ नहीं खाती हूं। आप फ़िक्र मत कीजिए। मैं ऐसे परिवार से आती हूं, जहां ज़्यादा प्याज़ लहसुन का मतलब नहीं है।'

निर्मला सीतारमण के इस बयान के बाद उनको निशाने पर लिया गया था। पिछले साल ही उनको एक ऐसे ही बयान के लिए फिर से निशाना बनाया गया था। रुपये का मूल्य गिरने पर निर्मला ने कहा था कि भारतीय रुपया नहीं गिर रहा है, बल्कि डॉलर लगातार मज़बूत हो रहा है।

बहरहाल, अब टमाटर पर यूपी की मंत्री का बयान आया है। उन्होंने असाही गांव में पोषण वाटिका का उदाहरण देते हुए कहा कि इस महंगाई का समाधान है, घर में टमाटर लगाएं। एनडीटीवी की रिपोर्ट के अनुसार मंत्री शुक्ला ने कहा, 'हमने असाही गांव में पोषण वाटिका बनाई है, गांव की महिलाओं ने पोषण वाटिका बनाई है, इसमें टमाटर भी लगाए जा सकते हैं। इस महंगाई का समाधान है, यह कोई नई बात नहीं है, टमाटर हमेशा महंगे रहते हैं। अगर आप टमाटर नहीं खाते हैं तो नींबू का उपयोग करें, जो भी अधिक महंगा है उसे त्याग दें, वह अपने आप सस्ता हो जाएगा।'

इस बीच, उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण राज्य मंत्री अश्विनी कुमार चौबे ने शुक्रवार को कहा था कि उपभोक्ता मामले विभाग टमाटर सहित 22 आवश्यक खाद्य वस्तुओं की दैनिक कीमतों की निगरानी करता है।

मंत्री ने कहा कि टमाटर की कीमतों में मौजूदा वृद्धि को रोकने और उपभोक्ताओं को सस्ती कीमतों पर उपलब्ध कराने के लिए सरकार ने मूल्य स्थिरीकरण निधि के तहत टमाटर की खरीद शुरू कर दी है और उपभोक्ताओं को अत्यधिक रियायती दर पर टमाटर उपलब्ध करा रही है। चौबे ने कहा कि राष्ट्रीय सहकारी उपभोक्ता महासंघ यानी एनसीसीएफ और राष्ट्रीय कृषि सहकारी विपणन महासंघ यानी नेफेड लगातार आंध्र प्रदेश, कर्नाटक और महाराष्ट्र की मंडियों से टमाटर खरीद रहे हैं और उपभोक्ताओं को प्रमुख उपभोक्ता केंद्रों पर सस्ती कीमतों पर उपलब्ध करा रहे हैं।

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