खाप पंचायतें अपने कट्टर फ़ैसलों के लिए जानी जाती हैं, ये तो आज तक सभी ने सुना था। लेकिन राजस्थान के सीकर जिले की एक स्थानीय खाप पंचायत ने हाल में कुछ ऐसा किया है, जिससे पता चलता है कि इनमें शामिल लोग बेहद वहशी और क्रूर किस्म के हैं।
शुद्धिकरण के नाम पर हैवानियत
सीकर में सांसी समुदाय से संबंध रखने वाली एक महिला और एक पुरूष को वहां की स्थानीय खाप पंचायत ने सैकड़ों लोगों के सामने कपड़े उतारकर नहाने को मजबूर किया। ये रिश्ते में चाची और भतीजे हैं। कहा गया है कि खाप पंचायत ने ऐसा इन दोनों के शुद्धिकरण के नाम पर किया। ख़बरों के मुताबिक़, चाची और भतीजे के बीच अवैध संबंध थे। महिला और पुरूष पर 31 हज़ार और 22 हज़ार का जुर्माना भी लगाया गया।
सोला गांव में यह घटना 21 अगस्त को हुई है। सीकर पुलिस का कहना है कि खाप पंचायत के ख़िलाफ़ लगे इन आरोपों का सिद्ध होना बाक़ी है, हालांकि इस मामले में 9 लोगों के ख़िलाफ़ मुक़दमा दर्ज कर लिया गया है। पुलिस ने कहा है कि वह ग्रामीणों के बयान दर्ज कर रही है और उनके द्वारा घटना के बनाए वीडियो और फ़ोटो को जब्त करने की कोशिश कर रही है।
इसे लेकर सांसी समुदाय के कुछ लोगों ने सीकर जिला पुलिस को ज्ञापन भी दिया है और समाज के कुछ पंचों के ख़िलाफ़ सख़्त से सख़्त कार्रवाई की मांग की है। घटना के दौरान वहां बड़ी संख्या में स्थानीय ग्रामीण मौजूद थे, वे लोग वीडियो बनाते रहे और किसी ने भी इस वहशी फ़ैसले का विरोध नहीं किया।
महानगरों में बैठकर ऐसा लगता है कि देश बहुत आधुनिक हो गया है लेकिन गांवों, छोटे कस्बों में अभी भी खाप पंचायतों का वजूद जिंदा है और आपको जानकर हैरानी होगी कि बड़े-बड़े नेता इन खाप पंचायतों को संस्कृति को जिंदा रखने के लिए बेहद ज़रूरी बताते हैं। खाप पंचायतों के बेहूदा फ़ैसलों को सुप्रीम कोर्ट तक ले जाया चुका है लेकिन इनके आगे किसी की नहीं चलती।
ये लोग अपने मन की अदालत चलाना चाहते हैं और जो मर्जी सजा जिसे दे दें, वह उसे माननी ही होगी। वरना उसका सामाजिक बहिष्कार कर दिया जाएगा।
ये खाप पंचायतें एक ही गोत्र में विवाह करने के ख़िलाफ़ फतवे देती हैं। इनकी वजह से ऑनर किलिंग की वारदात होना आम बात है। इनके ख़ौफ़ के कारण सैकड़ों प्रेमी जोड़े आत्महत्या कर चुके हैं। इन्होंने ऐसा माहौल बनाया हुआ है कि जो इनकी बात नहीं मानेगा, उसका ये हुक्का-पानी बंद कर देंगे और सामाजिक बहिष्कार करवा देंगे।