प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को ब्राजील के राष्ट्रपति लुइज़ इनासियो दा सिल्वा को जी20 की अध्यक्षता की जिम्मेदारी सौंपी। इसके साथ ही प्रधानमंत्री मोदी ने नवंबर के अंत में जी20 सत्र का एक वर्चुअल सत्र प्रस्तावित किया है। उन्होंने कहा कि भारत के पास अभी नवंबर तक अध्यक्षता की ज़िम्मेदारी है और जो फ़ैसले लिए गए हैं उसपर हुए काम की समीक्षा के लिए वह वर्चुअल सत्र का प्रस्ताव रखते हैं।
इसके साथ ही पीएम ने जी20 शिखर सम्मेलन 2023 के समापन की घोषणा की है। इससे पहले 9 सितंबर को जी20 नेताओं का शिखर सम्मेलन शुरू होने पर जी20 ने स्थायी सदस्य के रूप में अफ्रीकी संघ का स्वागत किया। जी20 की अध्यक्षता करने वाले भारत ने इस वर्ष 'एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य' इस वर्ष के शिखर सम्मेलन का थीम रखा है।
इससे पहले जी20 शिखर सम्मेलन में नई दिल्ली घोषणा को सफलतापूर्वक अपनाने के बाद इसके नेता रविवार सुबह राजघाट पहुँचे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राजघाट पर जी20 नेताओं और प्रतिनिधिमंडल प्रमुखों का स्वागत किया। वैश्विक नेताओं ने महात्मा गांधी स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित की।
जी20 बैठक ने शनिवार को 'नई दिल्ली घोषणा' को अपनाया है। इसे एक बड़ी उपलब्धि के रूप में देखा जा रहा है। खास तौर पर इसलिए कि यूक्रेन युद्ध के बाद से इस पर सहमति बनाना बेहद मुश्किल काम था। यूक्रेन में युद्ध के अलावा जलवायु परिवर्तन से निपटने पर मतभेद के कारण अंतरराष्ट्रीय समूहों के लिए आम सहमति तक पहुँचना आसान नहीं था। फिर भी इसमें कई अहम फ़ैसले लिए गए।
इसमें वैश्विक विश्वास की कमी को ख़त्म करने का आह्वान से लेकर जी20 में अफ्रीकी यूनियन तक को शामिल करने जैसे निर्णय लिए गए हैं। यह एक नई वैश्विक व्यवस्था को दिखाता है। विकासशील देशों को वैश्विक निर्णय लेने में अधिक भूमिका मिल रही है।
लीडर्स डिक्लेरेशन या शिखर सम्मेलन के साझा घोषणा-पत्र पर सहमति बनी। सभी देशों ने नई दिल्ली घोषणा पत्र को मंजूर कर लिया। दिल्ली घोषणापत्र को चीन और रूस के साथ सहमति में अपनाया गया। जी20 देशों ने यूक्रेन पर आक्रमण करने को लेकर रूस का नाम तो नहीं लिया, लेकिन क्षेत्रीय लाभ के लिए बल के प्रयोग की कड़ी आलोचना की।
इस बीच राजघाट जाने से पहले यूके के पीएम ऋषि सुनक और उनकी पत्नी अक्षता मूर्ति ने रविवार सुबह नई दिल्ली में अक्षरधाम मंदिर का दौरा किया।
अक्षता को पारंपरिक सलवार कुर्ता में देखा गया और मंदिर परिसर के अंदर उनकी और सुनक दोनों की नंगे पैर तस्वीरें खींची गईं। इससे पहले शुक्रवार को, सुनक ने एएनआई से बातचीत में खुद को 'हिंदू' होने पर गर्व होने की बात कही थी और कहा था कि वह राजधानी में रहने के दौरान मंदिर के दर्शन करना चाहते हैं। मंदिर और उसके आसपास व्यापक सुरक्षा व्यवस्था की गई थी।