जम्मू कश्मीर: 15 अगस्त से पहले बड़ा आतंकी हमला टला, पाक आतंकी ढेर
गणतंत्र दिवस से पहले जम्मू कश्मीर में एक बड़ा आतंकवादी हमला टल गया। सुरक्षा बलों ने शुक्रवार को 15 घंटे तक चले संघर्ष के बाद एक पाकिस्तानी आतंकवादी को ढेर कर दिया। श्रीनगर और जम्मू नेशनल हाइवे पर हुई इस मुठभेड़ के बाद आतंकवादी के पास से बड़ी मात्रा में असलहा बरामद किया गया है।
सुरक्षा बलों ने कहा है कि मुठभेड़ स्थल से रॉकेट लांचर सहित भारी मात्रा में हथियार मिले हैं। कश्मीर ज़ोन पुलिस ने ट्वीट किया, 'आईजीपी कश्मीर ने कहा है कि लंबे समय के बाद विदेशी आतंकवादियों ने आरपीजी का इस्तेमाल किया। एके 47 राइफल के अलावा, रॉकेट लॉन्चर और ग्रेनेड (सेल) बरामद किए गए। एक बड़ी घटना टल गई। सीआरपीएफ़, सेना और पुलिस को बधाई।'
#KulgamEncounterUpdate: After a long time foreign #terrorists used RPG. Besides AK 47 rifle, Rocket launcher & grenades (cells) recovered. A major incident averted. #Congratulations to CRPF, Army & Police: IGP Kashmir@JmuKmrPolice pic.twitter.com/wf0zVXwHeG
— Kashmir Zone Police (@KashmirPolice) August 13, 2021
यह झड़प गुरुवार दोपहर कुलगाम ज़िले में श्रीनगर-जम्मू राष्ट्रीय राजमार्ग पर तब शुरू हुई थी जब बीएसएफ़ का काफिला गुजर रहा था। इस काफ़िले पर दो आतंकवादियों ने अंधाधुंध गोलीबारी शुरू कर दी। इसका बीएसएफ़ के जवानों ने जवाब दिया। दोनों तरफ़ से भीषण गोलीबारी रात भर चली। इस बीच मुठभेड़ में आज दोनों आतंकवादी मारे गए। इस मुठभेड़ में एक सुरक्षा बल और दो नागरिक घायल हो गए।
कश्मीर के पुलिस महानिरीक्षक विजय कुमार ने कहा कि एक बड़ी त्रासदी टल गई है। पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार विजय कुमार ने कहा कि वे स्वतंत्रता दिवस से पहले राष्ट्रीय राजमार्ग पर एक बड़े हमले की साज़िश रच रहे थे। उन्होंने कहा कि पुलिस के पास जानकारी थी कि 'आतंकवादी बारामूला-श्रीनगर रोड या काजीगुंड-पंथा चौक पर राष्ट्रीय राजमार्ग पर हमले की साज़िश रच रहे थे।'
उन्होंने संवाददाताओं से कहा, 'इसलिए, पुलिस और सुरक्षा बल तैयार थे। इससे पता चलता है कि सुरक्षा बलों की प्रतिक्रिया कितनी अच्छी रही है कि जवाबी कार्रवाई की गई और आतंकवादी को भागने नहीं दिया गया।' एक आतंकवादी की तुरंत पहचान हो गई थी और मुठभेड़ में वह मारा गया। दूसरा आतंकवादी बच निकला। विजय कुमार ने कहा कि कुलगाम मुठभेड़ में मारा गया आतंकवादी उस्मान एक पाकिस्तानी और शीर्ष जेएम कमांडर लंबू का क़रीबी सहयोगी था जो हाल ही में एक मुठभेड़ में मारा गया था।