महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के सांसद बेटे श्रीकांत शिंदे की एक तसवीर इस समय महाराष्ट्र में जमकर वायरल हो रही है। इसमें श्रीकांत शिंदे अपने मुख्यमंत्री पिता की कुर्सी पर बैठे हुए नज़र आ रहे हैं। इस तरह की तसवीर को शरद पवार की पार्टी के प्रवक्ता रविकांत वारपे ने सोशल मीडिया हैंडल पर शेयर किया है और श्रीकांत शिंदे को सुपर सीएम की उपाधि दे डाली है। एनसीपी ने श्रीकांत शिंदे पर निशाना साधते हुए कहा है कि अपने पिता की गैर हाजिरी में श्रीकांत शिंदे मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बैठकर सरकारी अधिकारियों के साथ मीटिंग कर रहे हैं। हालांकि इसी बीच श्रीकांत शिंदे ने सफाई दी है कि उन्हें इस बात की जानकारी नहीं थी कि जिस कुर्सी पर वह बैठे हुए हैं उसके पीछे मुख्यमंत्री कार्यालय का बोर्ड रखा हुआ है।
दरअसल, शुक्रवार को शिवसेना के बागी सांसद श्रीकांत शिंदे की एक तसवीर सोशल मीडिया पर उस समय जमकर वायरल होने लगी जब उस तसवीर को एनसीपी प्रवक्ता ने अपने सोशल मीडिया हैंडल से शेयर कर दिया। एनसीपी प्रवक्ता रविकांत वारपे ने जैसे ही श्रीकांत शिंदे की इस तसवीर को अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर शेयर किया वैसे ही महाराष्ट्र की राजनीति में ये ख़बर तेजी से फैलने लगी कि मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की गैर हाजिरी में उनके सांसद बेटे सरकार चला रहे हैं।
उस तसवीर में ऐसा लग रहा है कि श्रीकांत शिंदे मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बैठे हुए हैं, क्योंकि कुर्सी के पीछे महाराष्ट्र शासन मुख्यमंत्री का बोर्ड लगा हुआ दिख रहा है। रविकांत वारपे ने श्रीकांत शिंदे पर निशाना साधते हुए कहा कि श्रीकांत शिंदे आपको सुपर सीएम बनने की बहुत-बहुत शुभकामनाएं। मुख्यमंत्री की गैर हाजिरी में उनके बेटे ने मुख्यमंत्री पद का कार्यभार संभाल लिया है। वारपे ने आगे लिखा कि लोकशाही का गला घोंटने का काम शुरू हो गया है। यह कौन सा राजधर्म है? यह कौन सा धर्मवीर है?
श्रीकांत शिंदे पर निशाना साधते हुए महाराष्ट्र कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले ने कहा कि महाराष्ट्र की राजनीति में यह पहली बार देखने को मिल रहा है कि जब मुख्यमंत्री की अनुपस्थिति में राज्य की सरकार उनका कोई परिवार वाला चला रहा है। पटोले का कहना है कि महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को खुद साफ़ करना चाहिए कि क्या उनकी अनुपस्थिति में राज्य का कार्यभार उनके बेटे श्रीकांत शिंदे ने संभाल लिया है।
इस बीच अपने ऊपर लगे आरोपों पर श्रीकांत शिंदे ने भी सफाई दी है। श्रीकांत शिंदे का कहना है कि कुर्सी के मुद्दे को लेकर मुझ पर आज जो टीका टिप्पणी की गई है वह हास्यास्पद है।
श्रीकांत शिंदे का कहना है कि जिस कुर्सी पर मैं बैठा हुआ हूं उसे मुख्यमंत्री की कुर्सी कहा जा रहा है जबकि मैं उन लोगों को बता देना चाहता हूं कि जहां पर मैं बैठा हुआ था वह मेरा निजी घर है। शिंदे का कहना है कि जिस कुर्सी पर मैं बैठकर कामकाज कर रहा था दरअसल उस कुर्सी के पीछे मुख्यमंत्री कार्यालय का एक लोगो रखा हुआ था, जिसे खुद मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान इस्तेमाल करते हैं। लेकिन वह एक टेंपरेरी लोगो है जिसको लेकर आज मेरे ऊपर टिप्पणी हो रही है।
शिंदे का कहना है कि महाराष्ट्र की नई सरकार काफी तेजी से महाराष्ट्र को विकास के रास्ते पर लेकर चल रही है और विपक्षी पार्टियों के पास कोई मुद्दा नहीं है इसलिए विपक्ष के नेता सिर्फ सस्ती लोकप्रियता हासिल करने के लिए इस तरह की झूठी जानकारी जनता के सामने पेश कर रहे हैं। शिंदे का कहना है कि मैं खुद एक सांसद हूं और मुझे किस कुर्सी पर बैठना चाहिए यह अच्छी तरह से मालूम है। मुझे विपक्ष के लोगों से सीखने की जरूरत नहीं है।