मध्य प्रदेश में अब एक रंगीन मिजाज टॉप आईएएस अफ़सर का सेक्स वीडियो वायरल हुआ है। अपर मुख्य सचिव स्तर के इस अधिकारी के वायरल हुए सेक्स वीडियो से पूरी ब्यूरोक्रेसी जबरदस्त सकते में है। राज्य के इतिहास में यह पहला मौक़ा है जब किसी आईएएस अफ़सर का सेक्स वीडियो वायरल हुआ है।
सोशल मीडिया में अफ़सर से जुड़ी अलग-अलग क्लिप्स वायरल हुईं हैं। एक क्लिप में अपने से आधी उम्र की युवती के साथ यह अधिकारी महोदय शराब का सेवन करते नज़र आ रहे हैं। अन्य क्लिप्स में उसी युवती के साथ यह अफ़सर ‘रति क्रीड़ा’ में मशगूल हैं। क्लिप्स में ये दोनों बेहद आपत्तिजनक मुद्रा में हैं।
ब्यूरोक्रेसी के उच्च पदस्थ सूत्रों के अनुसार, पूरा वीडियो दो घंटे का है। इस वीडियो की ‘प्रतियाँ’ सरकार से लेकर नौकरशाही के जिम्मेदार लोगों को भेजे जाने का दावा भी सूत्रों ने किया है। हालाँकि सरकार में बैठे ज़िम्मेदार लोग और टॉप नौकरशाह इस मुद्दे पर मीडिया से किसी भी तरह की बातचीत के लिए तैयार नहीं हैं।
वायरल वीडियो में ‘स्पष्ट’ नज़र आ रहे अफ़सर का रिटायरमेंट अगले बरस है। एक समय में वह मध्य प्रदेश के मुख्य सचिव पद की दौड़ में शामिल रहे। राज्य के बेहद अहम महकमे की ज़िम्मेदारी फिलहाल उनके पास है।
अफ़सर ‘महोदय’ के सेक्स वीडियो को लेकर जो ‘कहानी’ प्रशासनिक, राजनीतिक और मीडिया के गलियारों में चल रही है, उसके अनुसार युवती कुछ महीनों पहले किसी ‘काम’ के लिए इन अधिकारी महोदय के ‘संपर्क’ में आयी थी। ‘संपर्क’ में आने के बाद अधिकारी ने युवती से ‘मेलजोल’ बढ़ाया और मामला ‘अंतरंगता’ तक पहुँच गया।
वायरल वीडियो को देखने के बाद पहली ही नज़र में स्पष्ट हो जाता है कि बेहद इत्मिनान से किसी ने अफ़सर और युवती की ‘अंतरंगता’ समेत अन्य आपत्तिजनक दृश्यों को ‘फिल्माया’ है। शूटिंग के दौरान अधिकारी महोदय को तनिक भी इसकी भनक नहीं लगी। दरअसल वे क्लिप्स में ‘पूरे समय’ बिंदास नजर आ रहे हैं। वीडियो में कुछ जगहों पर युवती अलबत्ता इस तरह नज़र आ रही है जैसे कि उसे आभास हो कि वीडियो शूट हो रहा है।
इस प्रकरण पर सरकार में बैठे लोगों और ब्यूरोक्रेसी ने भले ही मुँह ‘सिल’ लिया हो, मगर पूरी आईएएस बिरादरी तथा अन्य हलकों में इस मसले को लेकर तरह-तरह की चर्चाएँ बनी हुई हैं। सूत्रों के दावों को मानें तो सेक्स वीडियो में नज़र आ रहे आला अफ़सर को उनके सीनियर ने वक़्त रहते आगाह किया था। सीनियर अधिकारी की ताक़ीद को उन्होंने गंभीरता से नहीं लिया और ‘फंस’ गये।
‘हम प्याला-हम निवालाओं’ की नींदें उड़ीं
दावा किया जा रहा है कि यह (अफ़सर और युवती की अंतरंगता वाली फ़िल्म) तो ‘ट्रेलर’ है। पूरी ‘फिल्म’ का ‘प्रदर्शन’ अभी शेष है। दावे के अनुसार, पूरी फ़िल्म मध्य प्रदेश के कुछ और टॉप ब्यूरोक्रेट्स की ‘पोल’ खोल देगी। शायद यही वजह है कि सेक्स वीडियो वायरल होने के बाद से वायरल वीडियो के ‘पात्र नौकरशाह’ के ‘हम प्याला-हम निवाला’ माने जाने वाले कई ब्यूरोक्रेट्स की नींदें उड़ी हुई हैं।
जल्द हो सकता है एक्शन
सरकार और नौकरशाही ख़ामोश ज़रूर है, मगर ऐसे संकेत हैं कि सेक्स वीडियो में नज़र आ रहे अपर मुख्य सचिव स्तर के अधिकारी का विभाग बदलने की कार्रवाई आजकल में हो जायेगी। आगे का ‘एक्शन’ वीडियो की विधिवत जाँच के बाद होने के संकेत सूत्र दे रहे हैं।
रंगे हाथों पकड़े गये थे रिटायर्ड अफ़सर
मध्य प्रदेश में क़रीब डेढ़ दशक पहले नौकरशाही की रंगीन मिजाजी का एक ऐसा ही सनसनीखेज मामला उजागर हुआ था। तब एक रिटायर्ड अफ़सर के भोपाल स्थित निजी घर पर पुलिस ने रेड की थी। पड़ोसियों की शिकायत पर पुलिस की रेड में कुछ युवक और युवतियाँ आपत्तिजनक हालात में पकड़े गये थे। हबीबगंज पुलिस ने बाकायदा प्रकरण पंजीबद्ध करते हुए सेवानिवृत्त अधिकारी को गिरफ़्तार किया था।
जाँच में सामने आया था कि रिटायर्ड अफ़सर को ‘लाइव सेक्स’ देखने का शौक है। इसी शौक के चलते वह अपने घर में युवक-युवतियों को ‘अंतरंगता’ का मौका देते थे। यह मामला देश भर में मीडिया की सुर्खियाँ बना था। यद्यपि रिटायर्ड अफ़सर साक्ष्यों के अभाव में बाद में कोर्ट से बरी हो गए थे।
बीजेपी नेता के वीडियो से मचा था हड़कंप
मध्य प्रदेश में कुछ दिन पहले एक बीजेपी नेता का अश्लील वीडियो वायरल हुआ था। राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की पृष्ठ भूमि से आने वाले इस नेता का नाम प्रदीप जोशी है। वह बीजेपी की उज्जैन संभागीय इकाई के संगठन मंत्री थे। एक युवक के साथ बेहद अश्लील मुद्राओं वाले वीडियो और व्हाट्सएप पर अश्लील चैटिंग वायरल होने के बाद मध्य प्रदेश बीजेपी ने उनकी पद से छुट्टी कर दी थी। पार्टी ने उनके ख़िलाफ़ जाँच भी बैठा दी थी।
शिवराज के मंत्री भी फंसे थे
मध्य प्रदेश में साल 2013 में शिवराज सरकार के वरिष्ठ मंत्री राघवजी भाई अपने नौकर के साथ अप्राकृतिक सैक्स संबंधों को लेकर फंस गए थे। अपने नौकर के साथ 80 बरस के राघवजी द्वारा अप्राकृतिक सैक्स संबंधों का वीडियो वायरल हुआ था। ‘शिकार’ नौकर की शिकायत पर भोपाल पुलिस ने राघवजी भाई पर भादवि की धारा 377 और 506 समेत तमाम धाराओं में मुक़दमा दर्ज किया था। दिलचस्प बात यह रही थी कि भोपाल के उसी थाने में राघवजी भाई के विरुद्ध प्रकरण दर्ज हुआ था और उसी लॉकअप में वह बंद रहे थे, जिसका उन्होंने कभी मंत्री रहते हुए लोकार्पण किया था।