अमित शाह की वीडियो क्लिप एक्स पर साझा करने पर कांग्रेस को नोटिस क्यों?
राज्यसभा में अमित शाह के जिस भाषण को लेकर दो दिनों से बवाल मचा है उसकी वीडियो क्लिप को एक्स पर साझा करने के लिए कांग्रेस और इसके नेताओं को नोटिस जारी किया गया है। यह नोटिस सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स ने भेजा है। एक मीडिया रिपोर्ट में विपक्षी नेताओं के हवाले से कहा गया है कि एक्स ने यह नोटिस गृह मंत्रालय के साइबर अपराध समन्वय केंद्र के नोटिस के बाद भेजा है।
यह नोटिस ऐसे समय में भेजा गया है जब डॉ. आंबेडकर पर अमित शाह के बयान पर बड़ा विवाद हो गया है। दरअसल, संविधान पर बहस के दौरान मंगलवार को संसद में अमित शाह ने कहा था, 'अभी एक फैशन हो गया है- आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर। इतना नाम अगर भगवान का लेते तो सात जन्मों तक स्वर्ग मिल जाता।' इसकी वीडियो क्लिप एक्स पर वायरल हुई।
आंबेडकर पर बयान देकर गृहमंत्री अमित शाह बुरे फँस गए हैं। कांग्रेस ने पहले माफी मांगने की मांग की, फिर उनका इस्तीफा मांगा और अब बर्खास्त किए जाने की मांग की है। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने बुधवार को इसको लेकर प्रेस कॉन्फ्रेंस की और कहा कि अगर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को दलित नेता पर भरोसा है तो उन्हें केंद्रीय मंत्रिमंडल से बर्खास्त कर देना चाहिए। उन्होंने कहा है कि अगर पीएम मोदी ने केंद्रीय गृह मंत्री को केंद्रीय मंत्रिमंडल से बर्खास्त नहीं किया तो लोग सड़कों पर उतर आएंगे।
अमित शाह के आंबेडकर पर दिए बयान की वीडियो क्लिप के साथ ही अन्य वीडियो क्लिप भी साझा की गईं। उनके बयान पर विवाद के बीच अमित शाह ने बुधवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कांग्रेस पर उनके बयान को तोड़-मरोड़कर पेश करने का आरोप लगाया।
संविधान पर बहस के दौरान राज्यसभा में दिए गए अपने बयान पर उठे विवाद पर प्रतिक्रिया देते हुए अमित शाह ने कहा, 'मेरे बयान को गलत तरीके से पेश किया गया। कांग्रेस फर्जी खबरें फैलाती है। मैं आंबेडकर जी के खिलाफ कभी नहीं बोल सकता।' उन्होंने कहा, 'कांग्रेस ने मेरी टिप्पणी को तोड़-मरोड़ कर जनता के सामने पेश किया। मैं सभी से आग्रह करता हूं कि मेरी पूरी टिप्पणी सुनें, इससे सब कुछ स्पष्ट हो जाएगा। मैं ऐसी पार्टी और समाज से आता हूं जो सपने में भी डॉ. बीआर आंबेडकर का अपमान नहीं कर सकता।'
गृहमंत्री अमित शाह ने कहा है कि कांग्रेस ने जिस तरह से तथ्यों को तोड़-मरोड़कर रखने का प्रयास किया है, ये अत्यंत निंदनीय है और मैं इसकी निंदा करना चाहता हूं।
इस बयान के बीच ही एक्स से नोटिस की यह ख़बर आई है। द हिंदू ने विपक्षी सूत्रों के हवाले से रिपोर्ट दी है कि एक्स द्वारा भेजे गए नोटिस में गृह मंत्रालय के साइबर अपराध समन्वय केंद्र से प्राप्त नोटिस का हवाला दिया गया है। इसमें उनके द्वारा साझा की गई सामग्री को हटाने के लिए कहा गया है, जो भारत के कानून का उल्लंघन है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि भेजे गए नोटिस के संबंध में एक्स या गृह मंत्रालय के साइबर अपराध समन्वय केंद्र से कोई पुष्टि नहीं हुई। कांग्रेस को भेजे अपने पत्र में एक्स ने यह भी कहा है कि वह इस प्लेटफॉर्म के माध्यम से अपने यूज़रों की अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता में दृढ़ता से विश्वास करता है।
बता दें कि कुछ कांग्रेस सांसदों और नेताओं ने मंगलवार को राज्यसभा में संविधान के 75 गौरवशाली वर्षों की यात्रा पर बहस में अमित शाह के जवाब की एक वीडियो क्लिप साझा की थी, जिसमें उन्होंने बी.आर. आंबेडकर के बारे में बात की और इसे लेकर विपक्ष पर हमला किया।
अमित शाह ने बुधवार आरोप लगाया कि कांग्रेस के नेता तथ्यों को तोड़-मरोड़ कर पेश कर रहे हैं। उन्होंने कहा, '...कांग्रेस आंबेडकर जी की विरोधी पार्टी है, कांग्रेस आरक्षण विरोधी और संविधान विरोधी पार्टी है। कांग्रेस ने सावरकर जी का भी अपमान किया, कांग्रेस ने आपातकाल लगाकर संविधान के सारे मूल्यों की धज्जियां उड़ा दीं, नारी सम्मान को भी वर्षों तक दरकिनार किया, न्यायपालिका का हमेशा अपमान किया, सेना के शहीदों का अपमान किया और भारत की भूमि तक को संविधान तोड़कर दूसरे देशों को देने की हिमाकत कांग्रेस के शासन में हुई।'