प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के 74वें सम्मेलन को संबोधित करते हुए विकास का मुद्दा ज़ोरशोर से उठाया है। उन्होंने अपने भाषण की शुुरुआत ही महात्मा गाँधी से की और कहा कि हम उनका 150वां जन्मदिन मना रहे हैं। गाँधी शांति, अहिंसा और विकास के रोल मॉडल थे। हर साल सितंबर में होने वाले महासभा के इस सम्मेलन में सभी सदस्य देशों के प्रतिनिधि भाग लेते हैं। नरेंद्र मोदी ने 2014 में प्रधानमंत्री बनने के बाद पहली बार इसमें भाग लिया था। उसके बाद से विदेश मंत्री सुषमा स्वराज इसमें भारत का प्रतिनिधित्व करती रहीं।
'सबका साथ सबका विकास, सबका विश्वास'
नरेंद्र मोदी ने कहा कि अगले 5 साल में भारत में 6 लाख किलोमीटर सड़कें बनाएगी। साल 2022 तक सरकार दो करोड़ घर और बनाएगी और ये घर ग़रीबों को दिए जाएँगे। उन्होंने यह भी कहा कि भारत बहुत ही जल्द सिंगल यूज प्लास्टिक का प्रयोग बंद कर देगा। इसी तरह नरेंद्र मोदी ने करोड़ों लोगों को मुफ़्त में गैस कनेक्शन देने और शौचालय बनवाने का भी दावा दुहराया।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोेदी ने ज़ोर देकर कहा कि उनकी सरकार ये काम किसी दया भाव से नहीं कर रही है और न ही यह देश तक सीमित है। यह उनकी ज़िम्मेदारी है और वह यह देखेंगे कि ये चीजें दूसरे देशोें को भी मिलें। मोदी ने यूएनजीए के इस सम्मेलन में भी नारा दिया, 'सबका साथ सबका विकास, सबका विश्वास।'
विदेश सचिव विजय गोखले ने पहले ही यह कह दिया था कि कश्मीर का विशेष दर्जा ख़त्म करने के मुद्दे को संयुक्त राष्ट्र महासभा के सम्मेलन में नहीं उठाया जाएगा क्योंकि यह भारत का अंदरूनी मामला है। इसी तरह आतंकवाद एक अहम मुद्दा तो है, पर भारत इस पर बहुत ज़ोर नहीं देगा। इसके बजाय विकास और जलवायु परिवर्तन जैसे मुद्दों पर ध्यान देगा और प्रधानमंत्री इन मुद्दों पर ही ज्यादा बोलेंगे।
बता दें कि पाकिस्तान ने कश्मीर मसले का अंतरराष्ट्रीयकरण करने के लिए उसके विशेष दर्जे को ख़त्म करने के मुद्दे को तेज़ी से अंतरराष्ट्रीय मंचों से उठाया है। समझा जाता है कि भारतीय प्रधानमंत्री के बाद पाकिस्तानी प्रधानमंत्री इमरान ख़ान महासभा को संबोधित करेंगे और वह यहाँ भी इस मुद्दे को ज़ोरशोर से उठाएँगे।