देश के कई हिस्सों में कोरोना की दूसरी लहर शुरू हो गयी है। यानी कुछ हिस्सों में संक्रमण की गति उतनी तेज़ नहीं है जितनी महाराष्ट्र जैसे राज्यों में है। महाराष्ट्र में क़रीब 30 हज़ार संक्रमण के मामले आ रहे हैं, लेकिन यह एकमात्र राज्य नहीं है जहाँ स्थिति ख़राब है। दूसरे कई राज्यों में भी संक्रमण तेज़ी से फैलने लगा है। छत्तीसगढ़, कर्नाटक, पंजाब जैसे राज्यों में भी स्थिति गंभीर बनी हुई है। दिल्ली में तो एयरपोर्ट पर रैंडम टेस्टिंग शुरू की गई है।
देश में किस तरह कुछ राज्यों में काफ़ी ज़्यादा कोरोना संक्रमण फैला हुआ है, इसका पता इससे ही चलता है कि केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बुधवार को कहा है कि आठ राज्यों में ही संक्रमण के सक्रिए मामले देश के कुल सक्रिए मामलों का 84.73 फ़ीसदी है। इन राज्यों में शामिल हैं- महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़, कर्नाटक, केरल, तमिलनाडु, गुजरात, पंजाब और मध्य प्रदेश। दिल्ली में भी स्थिति ख़राब होने लगी है।
दिल्ली हवाई अड्डे पर रैंडम टेस्टिंग
दिल्ली हवाई अड्डे पर आज से कोरोना की रैंडम टेस्टिंग शुरू की गई है। ऐसा इसलिए कि राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना को फैलने से रोका जा सके। ऐसी रैंडम टेस्टिंग जल्द ही शहर में बस स्टेशनों और रेलवे स्टेशनों पर भी की जाएगी। बता दें कि दिल्ली में एक दिन पहले ही 995 संक्रमण के मामले आए हैं। शहर में अब तक 6 लाख 60 हज़ार से ज़्यादा संक्रमण के मामले आ चुके हैं।
'युवाओं से ज़्यादा फैल रहा संक्रमण'
एम्स के निदेशक डॉ. रणदीप गुलेरिया का कहना है कि दिल्ली में कोरोना मामलों में वृद्धि मुख्य रूप से युवाओं के कारण हो रहा है। उन युवाओं की वजह से जिनमें 'अपेक्षाकृत मामूली लक्षण' दिखते हैं। उन्होंने कहा है कि ऐसे में सतर्क रहने की ज़रूरत है। उन्होंने चेताया कि संक्रमण बुजुर्गों में फैल सकता है और गंभीर स्थिति हो सकती है। जहाँ कुछ राज्य लॉकडाउन लगाने के विकल्प पर विचार कर रहे हैं, वहीं गुलेरिया ने कहा है कि एक शहर के भीतर अधिक कंटेनमेंट ज़ोन बनाना कोरोना को फैलने से रोकने के लिए बेहतर रणनीति होगी।
वैसे, पूरे देश में बुधवार को 53 हज़ार से ज़्यादा संक्रमण के मामले आए हैं। इस तरह अब तक कुल संक्रमण के मामले 1 करोड़ 21 लाख से ज़्यादा हो चुके हैं। एक दिन में 354 लोगों की मौत हुई है जो 16 दिसंबर के बाद सबसे ज़्यादा आँकड़ा है। इनमें से 140 मौतें तो महाराष्ट्र में ही हुईं। देश भर में अब तक 1 लाख 62 हज़ार लोगों की मौत हो चुकी है।
महाराष्ट्र ही देश में कोरोना से सबसे ज़्यादा प्रभावित राज्य है। मंगलवार को महाराष्ट्र में 27 हज़ार से ज़्यादा कोरोना के नये मामले सामने आए।
रविवार को राज्य में एक दिन में 40 हज़ार से ज़्यादा संक्रमण के मामले आए थे। सोमवार को 31 हज़ार से ज़्यादा मामले आए। क़रीब हफ़्ते भर से राज्य में हर रोज़ 30 हज़ार से ज़्यादा मामले आ रहे थे। इस बीच राज्य में 28 मार्च से ही रात का कर्फ्यू लगा दिया गया है। सार्वजनिक सभाओं पर भी प्रतिबंध लगाया जा चुका है। अब लॉकडाउन लगाए जाने की चर्चा भी चल रही है।
पूर्व प्रधानमंत्री देवेगौड़ा कोरोना संक्रमित
पूर्व प्रधानमंत्री और जनता दल (सेकुलर) के नेता एचडी देवेगौड़ा और उनकी पत्नी चेनम्मा कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं। देवेगौड़ा ने ट्वीट किया, 'मेरी पत्नी चेन्नम्मा और मैं कोरोना टेस्ट में पॉजिटिव पाए गए हैं। हम परिवार के अन्य सदस्यों से ख़ुद को अलग कर रहे हैं। मैं उन सभी से अनुरोध करता हूँ जो पिछले कुछ दिनों में हमारे संपर्क में आए, वे खुद की जाँच करवाएँ। मैं पार्टी कार्यकर्ताओं और शुभचिंतकों से अनुरोध करता हूँ कि वे घबराएँ नहीं।'
हालात बद से बदतर होते जा रहे: केंद्र
केंद्र सरकार ने एक दिन पहले ही चेताया है कि देश में कोरोना के हालात बद से बदतर होते जा रहे हैं। यह तब है जब कोरोना का टीकाकरण अभियान जोर शोर से चलाया जा रहा है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने मंगलवार को कहा कि पिछले कुछ हफ़्तों में हालात ख़राब ही होते गए हैं और यह बड़ी चिंता की बात है। इसने आरटी-पीसीआर टेस्ट पर ध्यान केंद्रित करने के साथ परीक्षण को तेज़ करने, शीघ्रता से संपर्क को आइसोलेट करने, स्वास्थ्य सेवाओं को मज़बूत करने और स्वास्थ्य संसाधनों को व्यवस्थित करने के लिए निर्देश दिया।
वैक्सीन एडमिनिस्ट्रेशन पर राष्ट्रीय विशेषज्ञ समिति के अध्यक्ष वीके पॉल ने मंत्रालय की ब्रीफिंग में कहा, 'ट्रेंड दिखाते हैं कि वायरस अभी भी बहुत सक्रिय है और हमारे रक्षा कवच को भेद रहा है। जब हम सोचते हैं कि हम इसे नियंत्रित कर सकते हैं, यह फिर से तेज़ी से फैलने लगता है।' हालाँकि उन्होंने इस बात से इनकार किया कि नये स्ट्रेन यानी नये क़िस्म के कोरोना का संक्रमण की इस तेज़ी में कोई भूमिका है।
राज्यों में कोरोना की स्थिति को लेकर भी स्वास्थ्य विभाग ने टिप्पणी की। वीके पॉल ने कहा, 'पंजाब न तो पर्याप्त संख्या में परीक्षण कर रहा है, न ही संक्रमित लोगों को ठीक से आइसोलेट यानी अलग कर रहा है। महाराष्ट्र में 3.37 लाख सक्रिय मामले हैं। फरवरी में 32 मौत से बढ़कर अब 118 हो गई है। कर्नाटक में परीक्षण और आइसोलेशन में सुधार की ज़रूरत है।'