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आप विधायक अमानतुल्लाह खान की रिहाई का आदेश, ईडी को डबल झटका

आप विधायक अमानतुल्लाह खान की रिहाई का आदेश, ईडी को डबल झटका

दिल्ली की अदालत ने आम आदमी पार्टी के विधायक अमानतुल्लाह खान की रिहाई का आदेश दिया है। अदालत ने ईडी की चार्जशीट का संज्ञान लेने से मना कर दिया। ईडी को इस केस में डबल झटका लगा है। इससे पहले आप प्रमुख केजरीवाल, पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया, पूर्व मंत्री सत्येंद्र जैन अलग-अलग मामलों में जेल से जमानत पर बाहर आ चुके हैं। जानिए पूरा मामलाः

दिल्ली की एक अदालत ने गुरुवार को दिल्ली वक्फ बोर्ड मामले में कथित अनियमितताओं से संबंधित मनी लॉन्ड्रिंग मामले में आम आदमी पार्टी के विधायक अमानतुल्ला खान को रिहा करने का आदेश दिया। अदालत ने अमानतुल्लाह खान के खिलाफ दायर आरोप पत्र पर संज्ञान लेने से भी इंकार कर दिया। अदालत ने अमानतुल्लाह खान की पत्नी मरियम सिद्दीकी को आरोप मुक्त कर दिया, क्योंकि उनके खिलाफ कोई केस नहीं बनता है। इस तरह ईडी को इस केस में डबल झटका लगा है। 

विशेष जज जितेंद्र सिंह ने कहा कि हालांकि अमानतुल्ला खान के खिलाफ आगे बढ़ने के लिए पर्याप्त सबूत थे, लेकिन उनके खिलाफ मुकदमा चलाने की कोई मंजूरी नहीं थी। जज ने कहा, "इसलिए, इस पर संज्ञान लेना अस्वीकार किया जाता है।"

अदालत ने निर्देश दिया कि अमानतुल्ला खान को एक लाख रुपये के जमानत बांड और इतनी ही राशि की जमानत पर तुरंत न्यायिक हिरासत से रिहा किया जाए।

  • प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने 29 अक्टूबर को 110 पेज की पहली अनुपूरक अभियोजन शिकायत (ईडी के आरोप पत्र के बराबर) दायर की थी, जिसमें दावा किया गया था कि अमानतुल्ला खान ने कथित तौर पर दिल्ली वक्फ बोर्ड में भ्रष्टाचार के माध्यम से कमाए गए धन को सफेद किया था।  

आरोप पत्र में मरियम सिद्दीकी का भी नाम था, जिन्हें मामले में ईडी ने आरोपी के रूप में गिरफ्तार नहीं किया था। अदालत ने कहा कि मरियम के खिलाफ आगे बढ़ने के लिए कोई सबूत नहीं है और उन्हें आरोपमुक्त कर दिया गया।

अमानतुल्लाह खान के वकील रजत भारद्वाज ने कहा, “अदालत ने अमानतुल्लाह खान के खिलाफ संज्ञान लेने से इनकार कर दिया है क्योंकि उनके खिलाफ कोई मंजूरी नहीं थी, और अदालत ने उन्हें जमानत के साथ रिहा करने का निर्देश दिया है।” आरोपी नंबर सात मरियम सिद्दीकी के खिलाफ भी कोई सबूत नहीं है, इसलिए उनेके खिलाफ कोई समन जारी नहीं किया गया है।”

मनी लॉन्ड्रिंग मामला 2016 और 2021 के बीच खान के अध्यक्ष रहने के दौरान दिल्ली वक्फ बोर्ड में कथित अनियमितताओं से संबंधित है। ईडी के अनुसार, खान ने अवैध रूप से बोर्ड में सदस्यों को नियुक्त किया, जिससे सरकारी खजाने को कथित नुकसान हुआ। एजेंसी ने यह भी आरोप लगाया कि खान के एजेंटों ने विभिन्न संपत्तियों में ₹36 करोड़ की हेराफेरी की।

ईडी ने दो एफआईआर के आधार पर मामला दर्ज किया। सीबीआई की एक एफआईआर में वक्फ बोर्ड में नियुक्तियों में अनियमितता का आरोप लगाया गया है, जबकि दिल्ली की भ्रष्टाचार निरोधक शाखा की एक अन्य एफआईआर में खान द्वारा आय से अधिक संपत्ति जमा करने का आरोप लगाया गया है। 

इसी केस में अमानतुल्लाह के अलावा चार लोग, जीशान हैदर, दाउद नासिर, कौसर इमाम सिद्दीकी और जावेद इमाम सिद्दीकी भी फिलहाल न्यायिक हिरासत में हैं। अमानतुल्लाह खान को 2 सितंबर को ईडी द्वारा उनके ओखला आवास पर छापेमारी के बाद गिरफ्तार किया गया था।

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