सरकार के सात साल पूरे होने पर कांग्रेस : 'बेरोजगारी अपरंपार, अर्थव्यवस्था का बंटाधार'
नरेंद्र मोदी सरकार के सात साल पूरे होने पर जहाँ बीजेपी और सरकार के लोग तरह-तरह के दावे कर रहे हैं, मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस ने सरकार पर ज़ोरदार हमला बोलते हुए कहा है कि इस अवधि में देश चौपट हो गया है।
कांग्रेस ने रविवार को कहा कि इन सात सालों में अर्थव्यवस्था चौपट हो गई है, बेरोज़गारी व महंगाई बेतहाशा बढ़ी है, किसानों व मध्य वर्ग पर सरकार ने चोट की है और कोरोना महामारी से निपटने में बुरी तरह नाकाम रही है।
कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने एक बयान जारी कर कहा है, 'सात साल, सात अपराधिक भूल'। उन्होंने सात बिन्दुओं में केंद्र सरकार की नाकामियाँ गिनाई हैं।
'अर्थव्यवस्था' बनी 'गर्त व्यवस्था'
कांग्रेस की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि ग़लत फ़ैसले और नीतियों की वजह से सात साल में देश की अर्थव्यवस्था चौपट हो गई है। इसके मुताबिक़, 2014 में जब मोदी सरकार सत्ता में आई, तो उस समय औसत 8.1 प्रतिशत की जीडीपी वृद्धि दर थी, कोरोना महामारी से पहले ही मोदी सरकार के वित्तीय कुप्रबंधन के चलते जीडीपी की दर साल 2019-20 में गिरकर 4.2 प्रतिशत रह गई।
कांग्रेस ने यह भी कहा है कि 73 साल में पहली बार देश आर्थिक मंदी के दौर से गुजर रहा है। साल 2020-21 की पहली तिमाही में जीडीपी की दर गिरकर - 24.1 प्रतिशत हो गई। हाल में ही 2020-21 की दूसरी तिमाही में यह -7.5 प्रतिशत) है। अनुमानों में मुताबिक, साल 2020-21 में जीडीपी दर -8 प्रतिशत) रहेगी।
बेतहाशा बेरोजगारी, बनी महामारी
केंद्र सरकार ने यह भी कहा है कि मोदी सरकार हर वर्ष दो करोड़ रोज़गार देने का वादा कर सत्ता में आई थी, इसे हासिल करना और सात साल में 14 करोड़ रोजगार देना तो दूर की बात है, देश में पिछले 45 वर्षों में सबसे अधिक चौतरफा बेरोजगारी है।
प्रधानमंत्री मोदी विश्व में अपनी छवि चमकाने में इतने मशगूल हो गए कि देश की छवि को ही दाँव पर लगा दिया।
— Congress (@INCIndia) May 30, 2021
तमाम वैश्विक सूचकांक में भारत की स्थिति को शर्मनाक बनाने का श्रेय सिर्फ और सिर्फ प्रधानमंत्री मोदी को जाता है।#7yearsOfModiMadeDisaster pic.twitter.com/hjJz5eP2F1
सेंटर फॉर मॉनिटरिंग ऑफ इंडियन इकोनॉमी के ताज़े आँकड़ों के अनुसार, देश में बेरोज़गारी की दर दहाई का आँकड़ा पार कर 11.3 प्रतिशत तक पहुँच गई है।
सीएमआई के आँकड़ों के मुताबिक़, केवल कोरोना काल में ही 12.20 करोड़ लोगों की रोजी-रोटी छिन गई।
किसानों पर चोट
कांग्रेस के बयान में कहा गया है कि आज़ाद भारत की पहली सरकार है जो न सिर्फ़ किसानों से उनकी आजीविका छीन कर पूंजीपति दोस्तों का घर भरना चाहती है, बल्कि किसानों की प्रतिष्ठा भी धूमिल कर रही है। इसके अनुसार, सरकार कभी उन पर लाठी डंडे बरसाती है, कभी उन्हें आतंकवादी बताती है, कभी राहों में कील और काँटे बिछाती है।
कांग्रेस ने यह आरोप भी लगाया है कि 2014 में आते ही पहले अध्यादेश के माध्यम से किसानों की भूमि के 'उचित मुआवज़ा कानून 2013' को बदल कर किसानों की ज़मीन हड़पने की कोशिश की।
कांग्रेस ने कहा है कि मोदी सरकार के ये काम अपराध की श्रेण में आते हैं, इसके लिए उसे माफ़ नहीं किया जा सकता।
7 साल देश के खिलाफ साजिश के
— Congress (@INCIndia) May 30, 2021
7 साल बेलगाम संकट के
7 साल भाजपाई विनाश के
7 साल दम तोड़ते विश्वास के
ये गलतियाँ नहीं है, गुनाह है और गुनाह की माफ़ी नहीं होती।
माफ़ी प्रधानमंत्री मोदी को भी नहीं मिलेगी।#7yearsOfModiMadeDisaster pic.twitter.com/902RbVMGr1
कांग्रेस के बयान में कहा गया है कि विश्व बैंक की रिपोर्ट के मुताबिक़, भारत में यूपीए-कांग्रेस के 10 साल के कार्यकाल में 27 करोड़ लोग गरीबी रेखा से ऊपर उठ पाए।
लेकिन 'प्यू रिसर्च सेंट'र की रिपोर्ट के मुताबिक, अकेले 2020 में देश के 3.20 करोड़ लोग अब मध्यम वर्ग की श्रेणी से ही बाहर हो गए। इतना ही नहीं, 23 करोड़ भारतीय एक बार फिर गरीबी रेखा से नीचे की श्रेणी में शामिल हो गए। पार्टी ने कहा है कि मोदी सरकार ने गरीबी की बजाय गरीबों पर वार किया है।