गीता में जिहाद वाले बयान पर विवाद; शिवराज बोले- मैंने ऐसा नहीं कहा
कांग्रेस नेता और देश के पूर्व गृहमंत्री शिवराज पाटिल के गीता में जिहाद वाले बयान पर विवाद हो गया है। बीजेपी ने उन पर मुसलिम तुष्टिकरण की राजनीति करने का आरोप लगाया है तो शिवराज पाटिल ने इस पर सफाई दी है।
शिवराज पाटिल ने नई दिल्ली में कांग्रेस की वरिष्ठ नेता मोहसिना किदवई की एक किताब के विमोचन के मौके पर गुरुवार को कहा कि इस्लाम मजहब में जिहाद की बहुत चर्चा होती है। लेकिन महाभारत के अंदर गीता का जो भाग है उसके अंदर भी श्रीकृष्ण अर्जुन से जिहाद की बात ही कहते हैं।
पूर्व गृह मंत्री ने कहा कि जिहाद की बात तब आती है जब मन के अंदर अच्छे विचार होने के बाद भी और कोशिश करने के बाद भी अगर कोई नहीं समझता है तो कहा जाता है कि आपको अगर शक्ति का उपयोग करना है तो आपको करना चाहिए।
उन्होंने कहा कि हथियार लेकर समझाने की बात नहीं होनी चाहिए और मोहसिना किदवई ने अपनी किताब में यही लिखा है।
गलत ढंग से प्रचारित किया
हालांकि इस बयान पर विवाद बढ़ने के बाद उन्होंने न्यूज़ एजेंसी एएनआई से कहा कि उन्होंने ऐसा नहीं कहा था। पाटिल के मुताबिक, उन्होंने ऐसा कहा था कि जो श्रीकृष्ण ने अर्जुन से कहा था क्या आप उसे जिहाद कहेंगे। उन्होंने कहा कि उनकी बात को गलत ढंग से प्रचारित किया जा रहा है और वह इसके खिलाफ अदालत में मुकदमा करेंगे।
कांग्रेस हिंदू विरोधी: बीजेपी
शिवराज पाटिल के बयान पर बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता शहजाद पूनावाला ने कहा कि आज कांग्रेस और शिवराज पाटिल ने सारी हदें पार कर दी हैं। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के नेता ही हिंदुत्व को आईएसआईएस और बोको हरम से जोड़ चुके हैं।
पूनावाला ने कहा कि शिवराज पाटिल का यह बयान दिखाता है कि हिंदू नफरत और हिंदू विरोध में कांग्रेस किस स्तर पर उतर आई है और यह संयोग नहीं प्रयोग है।
शहजाद पूनावाला ने कहा कि गुजरात चुनाव से पहले वोट बैंक की राजनीति के चलते ऐसा बयान दिया गया है और गुजरात व भारत की जनता ऐसी हिंदू विरोधी पार्टियों को सबक सिखाएगी।
कांग्रेस के महासचिव जयराम रमेश ने कहा है कि शिवराज पाटिल ने कथित तौर पर भगवदगीता पर जो टिप्पणी की है, वह अस्वीकार्य है और उन्होंने इस पर सफाई दी है। उन्होंने कहा कि भगवदगीता भारतीय सभ्यता का एक प्रमुख आधारभूत स्तंभ है। रमेश ने जवाहर लाल नेहरू की डिस्कवरी ऑफ़ इंडिया (p110) का एक अंश भी ट्वीट किया है।
My senior colleague Shivraj Patil reportedly made some comments on Bhagavad Gita that’s unacceptable. Subsequently, he clarified. @INCIndia’s stand is clear. Bhagavad Gita is a key foundational pillar of Indian civilisation. Here’s an excerpt from Nehru’s Discovery of India(p110) pic.twitter.com/rarJub7xTy
— Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) October 21, 2022
शिवराज पाटिल साल 2004 से 2008 तक यूपीए की सरकार में गृह मंत्री थे और साल 1991 से 1996 तक लोकसभा के स्पीकर भी रहे। किताब के विमोचन के इस कार्यक्रम में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शशि थरूर, दिग्विजय सिंह, सुशील कुमार शिंदे के साथ ही जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला भी मौजूद थे।