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बुर्का पहन संदिग्ध महिला के घुसने से शाहीन बाग़ में हंगामा, पुलिस पकड़ ले गई

बुर्का पहन संदिग्ध महिला के घुसने से शाहीन बाग़ में हंगामा, पुलिस पकड़ ले गई

शाहीन बाग़ में बुधवार को उस वक़्त हंगामा हो गया जब एक बुर्का पहनी महिला प्रदर्शनकारियों के बीच बैठी संदिग्ध पाई गई। हंगामा होने पर पुलिस मौक़े पर पहुँची और उसे पकड़ कर ले गई।

शाहीन बाग़ में बुधवार को उस वक़्त हंगामा हो गया जब प्रदर्शनकारियों के बीच बुर्का पहनकर बैठी एक महिला संदिग्ध पाई गई। हंगामा होने पर पुलिस मौक़े पर पहुँची और उसे पकड़ कर ले गई। शाहीन बाग़ का प्रदर्शन इस मामले में काफ़ी संवेदनशील रहा है क्योंकि प्रदर्शन की जगह पर हाल के दिनों में गोली चलने की कई घटनाएँ हुई हैं। 

इसी बीच बुर्का में महिला के संदिग्ध रूप से पकड़े जाने के बाद स्थिति काफ़ी असहज हो गई। 'एनडीटीवी' की रिपोर्ट के अनुसार महिला की पहचान गुंजा कपूर के रूप में हुई है। हालाँकि, ख़बर लिखे जाने तक पुलिस से इस बारे में कोई सफ़ाई नहीं आई है। रिपोर्टों में कहा गया है कि महिला पर संदेह तब हुआ जब वह अपने आसपास लोगों से लगातार कई सवाल पूछती रही। इस पर कुछ प्रदर्शनकारियों ने उनकी जाँच की और उनके पास से एक कैमरा पाए जाने का दावा किया। इसके बाद वहाँ पर हंगामा हो गया। 

रिपोर्ट के अनुसार गुंजा कपूर ख़ुद को एक यू-ट्यूब चैनल 'राइट नैरेटिव' चलाने वाली बताती हैं और दावा करती हैं कि ट्विटर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बीजेपी नेता तेजस्वी सूर्या उन्हें फ़ॉलो करते हैं। 

इस हंगामे का वीडियो यह सोशल मीडिया पर भी वायरल हो गया। इसमें दिखता है कि महिला प्रदर्शनकारियों से घिरी हुई हैं और पुलिस उन्हें शांत करने का प्रयास कर रही है। लोगों ने इसे ट्विटर पर शेयर किया। 

ट्विटर पर लोगों ने सवाल किए हैं। ज़ेबा वारसी ने एक वीडियो शेयर करते हुए लिखा है, 'क्या! आप बुर्का क्यों पहने हुए थीं, गुंजा कपूर उम्मीद है कि आप अच्छी होंगी। लगता है कि शाहीन बाग़ की महिलाओं आपको बचा रही हैं।'

बता दें कि नागरिकता क़ानून के ख़िलाफ़ शाहीन बाग़ में चल रहे प्रदर्शन के बीच जामिया क्षेत्र में एक के बाद एक गोली चलाने की कई घटनाएँ सामने आ रही हैं। नागरिकता संशोधन क़ानून के ख़िलाफ़ दिल्ली के शाहीन बाग़ में चल रहे धरने में शनिवार को पहुँचे एक शख़्स ने फ़ायरिंग कर दी थी। हमलावर ने हिरासत में लिए जाते वक्त कहा, ‘हमारे देश में सिर्फ़ हिन्दुओं की चलेगी।’

कुछ दिन पहले ही जामिया मिल्लिया इसलामिया के पास एक नाबालिग शख़्स ने गोली चला दी थी। इसे लेकर ख़ासा हंगामा हुआ था। इस शख़्स ने सरेआम रिवॉल्वर लहराते हुए ‘ये लो आज़ादी’ कहते हुए गोली चलाई थी और ‘दिल्ली पुलिस जिंदाबाद’ के नारे भी लगाए थे।

ऐसी घटनाएँ तब हो रही हैं जब दिल्ली चुनाव के बीच ही नेताओं के साम्प्रदायिक ध्रुवीकरण के बयान आ रहे हैं। हाल ही बीजेपी नेता व केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर और सांसद प्रवेश वर्मा आपत्तिजनक बयान दिया था। ठाकुर ने '...गोली मारो सालों को' का नारा लगवाया था, जबकि प्रवेश वर्मा ने नागरिकता क़ानून के ख़िलाफ़ प्रदर्शन करने वालों के बारे में कहा था कि 'ये लोग घरों में घुसेंगे और बहन व बेटियों का रेप करेंगे।' इसके बाद चुनाव आयोग ने मामूली कार्रवाई भी की थी। 

यह सब तब हो रहा है जब नागरिकता क़ानून के ख़िलाफ़ देश भर में प्रदर्शन चल रहा है और शाहीन बाग़ इसका नेतृत्व करता नज़र आ रहा है। शाहीन बाग़ के लगातार प्रदर्शन जारी रहने से सरकार के लिए भी असहज स्थिति बन रही है। 

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