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मोहाली धमाका: रूस में बना लॉकेट लॉन्चर बरामद

मोहाली धमाका: रूस में बना लॉकेट लॉन्चर बरामद

रूस में बना यह रॉकेट लॉन्चर पंजाब कैसे पहुंच गया? खुफिया दफ्तर पर हुए धमाके में क्या पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई का हाथ है? 

मोहाली में खुफिया विभाग के दफ्तर में हुए धमाके के मामले में पुलिस को दफ्तर के नजदीक ही एक रॉकेट लॉन्चर मिला है। यह रॉकेट लॉन्चर खुफिया विभाग के दफ्तर से 1 किलोमीटर की दूरी पर मिला है। 

पुलिस ने इस मामले में निशान सिंह नाम के एक शख्स को गिरफ्तार किया है और उससे लगातार पूछताछ की जा रही है। निशान सिंह पंजाब के फरीदकोट जिले का रहने वाला है। 

पुलिस ने निशान सिंह के अलावा भी कुछ लोगों को हिरासत में लिया है और उनसे लगातार पूछताछ की जा रही है।

सवाल ये है कि रूस में बना यह रॉकेट लॉन्चर पंजाब कैसे पहुंच गया। क्या इसे अफगानिस्तान या पाकिस्तान के रास्ते पंजाब में लाया गया है और अगर ऐसा हुआ है तो निश्चित रूप से यह बड़ी चिंता की बात है।

यह कहा जा रहा है कि पंजाब में आतंकवाद के दौर में भी आरपीजी का इस्तेमाल नहीं हुआ था। जम्मू-कश्मीर में आतंकी आरपीजी का इस्तेमाल करते हैं या पाकिस्तान और अफगानिस्तान में यह हथियार आतंकियों के पास दिखता रहा है। लेकिन पंजाब के अंदर आरपीजी कैसे पहुंचा, यह एक बड़ा सवाल बन गया है।

आईएसआई पर शक

इसके बाद पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई पर इस मामले में शक और गहरा गया है। क्योंकि पंजाब पुलिस को आतंकवादी हरिंदर सिंह रिंदा पर शक है। रिंदा इन दिनों पाकिस्तान में ही है।

कुछ दिन पहले ही हरियाणा के करनाल में बब्बर खालसा इंटरनेशनल से जुड़े चार आतंकवादियों को पकड़ा गया था। पुलिस को इनके पास से भारी मात्रा में विस्फोटक बरामद हुआ था। तब यह बात सामने आई थी कि रिंदा ने पाकिस्तान से इन आतंकवादियों को ड्रोन के जरिए विस्फोटकों और हथियारों की सप्लाई की थी। 

मोहाली धमाके की सीसीटीवी कैमरा फुटेज भी सामने आ गई है। इस फुटेज में पुलिस के दफ्तर में आरपीजी फेंकने वाले हमलावरों की गाड़ी दिख रही है।

पंजाब में बीते कुछ दिनों में कई ऐसी घटनाएं हुई हैं जिससे ऐसा लगता है कि आतंकी एक बार फिर सिर उठा रहे हैं। पुलिस का कहना है कि उसे इस मामले में कुछ सुराग मिले हैं और जल्द ही इसे सुलझा लिया जाएगा।

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