राजस्थान में एथलीटों के लिए सरकारी नौकरी में 2% कोटा
राजस्थान में एथलीट्स को सरकारी नौकरियों में 2 फीसदी आरक्षण की घोषणा मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने की है। नैनवा (बून्दी) में ब्लॉक स्तरीय राजीव गांधी ग्रामीण ओलम्पिक खेल कार्यक्रम के दौरान गहलोत ने यह घोषणा की। उन्होंने कहा कि 229 प्रतिभाशाली एथलीटों के लिए आउट-ऑफ-टर्न नौकरियां और कोचों और एथलीटों के लिए पेंशन का प्रावधान भी सरकार ने किया है। राजस्थान सरकार अंतरराष्ट्रीय स्पर्धाओं में पदक जीतने वाले एथलीटों के लिए अब 3 करोड़ रुपये तक की पुरस्कार राशि भी देगी। राजस्थान में खिलाड़ियों को सरकारी नौकरियों में वरीयता दी जाएगी।
Govt of Rajasthan announces 2% reservation in govt jobs for athletes; also announces provision of out-of-turn jobs for 229 talented athletes & pension for coaches and athletes. The Govt also raises the prize money for athletes winning medals in international events, up to Rs 3 Cr pic.twitter.com/5IexmUoMio
— ANI MP/CG/Rajasthan (@ANI_MP_CG_RJ) September 17, 2022
राजस्थान में हरियाणा की तर्ज पर खेलों को बढ़ावा दिया जा रहा है। कई इंटरनेशनल इवेंट्स में हरियाणा के खिलाड़ी देश के खिलाड़ी मेडल लेकर आए। राजस्थान के खिलाड़ी भी इंटरनेशनल इवेंट्स में चमके हैं, लेकिन वे अभी हरियाणा से पीछे हैं। इसलिए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अधिकारियों से खिलाड़ियों को बढ़ावा देने की योजनाएं बनाने को कहा है। जिन 229 एथलीटों को पुलिस में नौकरियां दी जा रही हैं, उसको लेकर राजस्थान में खिलाड़ी संगठन सरकार की काफी तारीफ भी कर रहे हैं।
राजस्थान के सभी जिलों में राजीव गांधी ग्रामीण ओलम्पिक खेल कार्यक्रम का आय़ोजन कई दिनों से चल रहा था। मुख्यमंत्री गहलोत ने पांच-छह जिलों में इस दौरान पहुंचने की कोशिश की और कई खिलाड़ियों का उनके इलाके के हिसाब से सम्मान भी किया। करीब दस लाख खिलाड़ियों ने ग्रामीण ओलिंपिक के लिए रजिस्ट्रेशन कराया है। यह बड़ा खेल इवेंट बन गया है, क्योंकि गांवों के खिलाड़ी इसमें हिस्सा ले रहे हैं।
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का कहना है कि राजस्थान में खेल प्रतिभाओं के विकास की अपार संभावनाएं हैं और राज्य सरकार खिलाड़ियों को संसाधन और सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध है।
दादा-दादी भी खेल रहे हैंः उन्होंने कहा कि खेलने के लिए उम्र की कोई सीमा नहीं होती। इसलिए, ग्रामीण ओलंपिक खेलों के लिए भी कोई आयु सीमा नहीं है। दादा-दादी भी मैदान में खेल रहे हैं। इससे राज्य में एक नई खेल संस्कृति का निर्माण हो रहा है। मुख्यमंत्री ने यह बात भरतपुर जिले के कुम्हेर के पाला गांव में ब्लॉक स्तरीय राजीव गांधी ग्रामीण ओलंपिक खेलों के समापन समारोह में कही।
गहलोत ने कहा कि राज्य सरकार राज्य में खिलाड़ियों को नए खेल स्टेडियम, संसाधन और अन्य खेल सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए जुटी हुई है। राजीव गांधी ग्रामीण ओलम्पिक खेल के जरिए सरकार प्रतिभाएं भी खोज रही है। यह हमारी जिम्मेदारी है कि हम अनुभवी खेल कोच से उच्च गुणवत्ता वाली ट्रेनिंग दिलाएं और राज्य में सर्वश्रेष्ठ खेल वातावरण बनाएं।
गहलोत ने कहा कि इन खेलों में आपसी भाईचारे और सामाजिक समरसता का माहौल बनाया गया है और यह क्षेत्र के सर्वांगीण विकास में अहम भूमिका निभाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्रामीण ओलंपिक में 30 लाख खिलाड़ियों ने पंजीकरण कराया है। इनमें से करीब 10 लाख महिला खिलाड़ी हैं।