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कांग्रेस को रायबरेली में झटका, विधायक अदिति सिंह बीजेपी में 

कांग्रेस को रायबरेली में झटका, विधायक अदिति सिंह बीजेपी में 

सोनिया गांधी के निर्वाचन क्षेत्र रायबरेली की कांग्रेस नेता अदिति सिंह ने पार्टी क्यों छोड़ी और क्यों बीजेपी में शामिल हो गईं

उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 के पहले कांग्रेस को राज्य में एक झटका लगा है। सोनिया गांधी के निर्वाचन क्षेत्र रायबरेली की कांग्रेस नेता अदिति सिंह ने पार्टी छोड़ दी है और बीजेपी में शामिल हो गई हैं। वे रायबरेली सदर से विधायक हैं। 

अदिति सिंह के बीजेपी में शामिल होने का महत्व इससे समझा जा सकता है  कि उनके पिता अखिलेश सिंह रायबरेली सदर से ही पाँच बार विधायक चुने गए थे और वह गांधी परिवार के बेहद करीब माने जाते थे। स्वयं अदिति सिंह प्रियंका गांधी की नज़दीक समझी जाती थीं। 

मुख्य मंत्री योग आदित्यनाथ से 2019 में मुलाक़ात के बाद अदिति सिंह गांधी परिवार से दूर होने लगी थीं, पर वह पार्टी में बनी हुई थीं। 

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कांग्रेस की आलोचना

लेकिन वह बीच बीच में कांग्रेस की आलोचना करती रहती थीं और उन्होंने कई बार केंद्रीय नेतृत्व पर भी सवाल उठाया था। उन्होंने कृषि क़ानूनों पर पार्टी की नीति व फैसले के ख़िलाफ थीं। उन्होंने कृषि क़ानूनों का विरोध करने को लेकर महासचिव प्रियंका गांधी की भी आलोचना की थी। 

अदिति सिंह ने कहा, 

जब कृषि क़ानून संसद में पेश किए गए थे तो प्रियंका गांधी को उससे विरोध था, अब जब इन क़ानूनों को वापस लिया गया है तो भी उन्हें समस्या है। आखिर वे चाहती क्या हैं? वे सिर्फ मुद्दे का राजनीतिकरण कर रही हैं, उनके पास मुद्दे बचे नहीं हैं।


अदिति सिंह, विधायक, रायबरेली सदर

उन्होंने  लखीमपुर खीरी की वारदात के मुद्दे पर भी प्रियंका गांधी की आलोचना कर दी। अदिति सिंह ने कहा कि लखीमपुर खीरी में मामले की जाँच चल रही है, सुप्रीम कोर्ट ने इसका संज्ञान लिया है, यदि प्रियंका गांधी संस्थानों पर यकीन नहीं करेंगी तो किस पर यकीन करेंगी? 

पर्यवेक्षकों का कहना है कि कांग्रेस पार्टी से मनमुटाव और दूरी की वजहों से अदिति सिंह असुरक्षित महसूस कर रही थीं। कुछ महीने बाद ही राज्य में विधानसभा चुनाव हैं। ऐसे में वह अपनी राजनीतिक स्थिति मजबूत करने और चुनाव जीतने के मकसद से बीजेपी में शामिल हो गई हैं। बीजेपी में जाने से उन्हें कम से कम टिकट तो मिल ही जाएगा और वह चुनाव में प्रासंगिक बनी रहेंगी।

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