आतंकवाद की अभियुक्त प्रज्ञा ठाकुर ने अब संसद में गोडसे को बताया देशभक्त
मालेगांव बम धमाकों की आरोपी और बीजेपी सांसद साध्वी प्रज्ञा ठाकुर ने एक बार फिर राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे को देशभक्त बताया है। प्रज्ञा ठाकुर ने संसद में चर्चा के दौरान गोडसे को देशभक्त बताया। प्रज्ञा ठाकुर को कुछ दिन पहले ही संसद की रक्षा समिति में जगह दी गई थी। प्रज्ञा ठाकुर इन दिनों जमानत पर हैं। सवाल यह है कि बीजेपी प्रज्ञा ठाकुर पर कब कार्रवाई करेगी। क्योंकि पिछली बार जब उन्होंने गोडसे को देशभक्त कहा था तो बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने कार्रवाई करने की बात कही थी लेकिन अब तक उनके ख़िलाफ़ कोई कार्रवाई नहीं हुई उल्टा उन्हें संसद की रक्षा समिति में जगह दे दी गई।
एसपीजी बिल पर चर्चा के दौरान डीएमके सांसद ए. राजा ने नाथूराम गोडसे के बयान का हवाला देते हुए कहा कि गोडसे ने महात्मा गाँधी की हत्या क्यों की, तभी प्रज्ञा ठाकुर ने उन्हें रोका और कहा कि आप एक देशभक्त का उदाहरण नहीं दे सकते। इस पर ए. राजा ने कहा कि गोड्से ने ख़ुद इस बात को कबूल किया था कि गाँधी की हत्या करने से 32 साल पहले से उसके मन में गाँधी के ख़िलाफ़ कुढ़न थी। ए. राजा ने कहा कि गोडसे ने गाँधी की हत्या इसलिए की क्योंकि वह एक ख़ास विचारधारा को मानने वाला था। इस पर विपक्षी दलों के सदस्यों ने साध्वी प्रज्ञा के बयान का जोरदार विरोध किया जबकि बीजेपी के सदस्यों ने प्रज्ञा से बैठने के लिए कहा।
प्रज्ञा के बयान पर बीजेपी प्रवक्ता जीवीएल नरसिम्हा राव ने न्यूज़ चैनल आज तक से कहा कि पार्टी इस मामले में ज़रूर कार्रवाई करेगी। गोडसे को देशभक्त बताने वाले बयान को लेकर जब साध्वी प्रज्ञा ठाकुर से पूछा गया तो उन्होंने कहा, 'पहले उसको पूरा सुनिए, मैं कल जवाब दूंगी।'
#WATCH BJP MP Pragya Singh Thakur on reports of her referring to Nathuram Godse as 'deshbhakt' in Lok Sabha: Pehle usko poora suniye, mai kal dungi jawab. pic.twitter.com/4xieTz5HpH
— ANI (@ANI) November 27, 2019
कांग्रेस ने प्रज्ञा ठाकुर के बयान पर तीखी प्रतिक्रिया जताई है। कांग्रेस ने ट्वीट कर कहा है कि प्रज्ञा ठाकुर का नाथूराम गोडसे को देशभक्त कहना बीजेपी की घृणा की कुत्सित राजनीति का सबसे सही उदाहरण है। पार्टी ने यह सवाल भी उठाया कि अब क्या प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इसकी निंदा करेंगे या इस पर भी चुप्पी साधे रखेंगे।
Repeatedly referring to Nathuram Godse as a "deshbhakt" is a perfect representation of BJP's deplorable hate politics.
— Congress (@INCIndia) November 27, 2019
Will PM Modi condemn Pragya Thakur's remarks or continue to stay silent https://t.co/VRj21CHGSg
मालेगांव बम धमाकों के अलावा साध्वी प्रज्ञा ठाकुर अजमेर स्थित ख्वाजा मोईनुद्दीन चिश्ती की दरगाह में हुए बम धमाके और संघ प्रचारक सुनील जोशी हत्याकांड में भी अभियुक्त रही हैं।
मोदी ने कहा था, माफ़ नहीं कर पाऊंगा
साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर अपने विवादित बयानों को लेकर चर्चा में रही हैं। लोकसभा चुनाव के दौरान जब साध्वी प्रज्ञा ने गोडसे को देशभक्त बताया था तो उनके इस बयान पर खूब हंगामा हुआ था। बीजेपी ने ख़ुद को साध्वी के बयान से अलग कर लिया था। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा था कि प्रज्ञा का बयान घृणा के लायक है और वह इसके लिए उन्हें कभी माफ़ नहीं कर पायेंगे। प्रज्ञा सिंह भोपाल से सांसद हैं और उन्होंने लोकसभा चुनाव में मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह को शिकस्त दी थी।
करकरे पर दिया था बयान
साध्वी प्रज्ञा ने मुंबई हमले में शहीद हुए पूर्व एटीएस प्रमुख हेमंत करकरे के बारे में कहा था कि करकरे को संन्यासियों का शाप लगा था। प्रज्ञा ने कहा था, 'मैंने कहा तेरा (हेमंत करकरे) सर्वनाश होगा। ठीक सवा महीने में सूतक लगता है। जिस दिन मैं गई थी, उस दिन उसे सूतक लग गया था और ठीक सवा महीने में जिस दिन आतंकवादियों ने इसको मारा और उसका अंत हो गया।' करकरे मुंबई में 26 नवंबर 2008 को हुए आतंकवादी हमले में आतंकवादियों से बहादुरी से लड़ते हुए शहीद हो गये थे।
हेमंत करकरे ने मालेगाँव बम धमाकों के मामले में सबूत इकट्ठे किए थे और इसके बाद साध्वी प्रज्ञा के ख़िलाफ़ मुक़दमा चलाया गया था। साध्वी प्रज्ञा मालेगाँव बम धमाकों के मामले में लंबे समय तक जेल में रह चुकी हैं। हालाँकि इस बयान पर बवाल होने के बाद साध्वी प्रज्ञा ने अपना बयान वापस ले लिया था।
'बाबरी मसजिद तोड़ने पर गर्व'
साध्वी ने लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान बाबरी मसजिद ध्वंस में अपनी भूमिका पर गर्व करते हुए बयान दिया था, ‘मैं ढाँचे को तोड़ने के लिए इसकी सबसे ज़्यादा ऊँचाई पर चढ़ी थी। मुझे इस बात पर गर्व है कि भगवान ने मुझे यह मौक़ा दिया और इस काम को करने के लिए ताक़त दी, तभी मैं यह काम कर पाई। हमने देश पर लगे कलंक को ख़त्म कर दिया। अब हम वहीं राम मंदिर बनाएँगे।’