पिछले 8 वर्षों में लोकतंत्र को मज़बूत बनाया: टोक्यो में पीएम मोदी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जापान में प्रवासी भारतीयों को संबोधित करते हुए कहा कि बीजेपी सरकार ने पिछले आठ वर्षों में भारतीय लोकतंत्र को मज़बूत और लचीला बनाया है। क्वाड शिखर सम्मेलन के लिए टोक्यो में पहुँचे प्रधानमंत्री मोदी ने कहा है कि यह प्रगति के सबसे मजबूत स्तंभों में से एक के रूप में कार्य कर रहा है।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, 'हम एक ऐसी प्रणाली बनाने की दिशा में काम कर रहे हैं जो न केवल समावेशी है बल्कि प्रत्येक नागरिक की आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए एक लीक-प्रूफ शासन देता है। आज भारत में सही मायने में जनता के नेतृत्व वाली सरकार है। यह भारत में लोकतंत्र को मजबूत करने का एक प्रमुख कारण बन गया है।'
Grateful to the Indian community in Japan for their warm reception. Addressing a programme in Tokyo. https://t.co/IQrbSvVrns
— Narendra Modi (@narendramodi) May 23, 2022
वैसे, प्रधानमंत्री का यह बयान तब आया है जब भारत में लोकतंत्र की स्थिति को लेकर अंतरराष्ट्रीय संगठनों की रिपोर्टों में चिंताएँ जताई गई हैं। इसी साल आई ईआईयू डेमोक्रेसी इंडेक्स-2021 में भारत 46वें स्थान पर है। पिछले साल स्वीडन के वेराइटीज़ ऑफ डेमोक्रेसीज़ (वी-डेम) इंस्टीच्यूट ने भारत में लोकतंत्र की स्थिति पर चिंता जताते हुए कहा था कि लोकतंत्र कमज़ोर हुआ है। वी- डेम इंस्टीच्यूट की डेमोक्रेसी रिपोर्ट 2021 में कहा गया कि भारत में 'चुनावी अधिनायकवाद' का उदय हो रहा है, यह सेंशरशिप के मामले में पाकिस्तान के बराबर और नेपाल व बांग्लादेश से बदतर है।
इसके पहले अमेरिकी थिंकटैंक फ्रीडम हाउस की रिपोर्ट में कहा गया था कि दुनिया का सबसे बड़ा लोकतांत्रिक देश अधिनायकवाद में धंसता जा रहा है। इसके लिए दिल्ली दंगों और मुसलमानों के ख़िलाफ़ भीड़ की हिंसा का हवाला दिया गया था।
बहरहाल, टोक्यो की अपनी दो दिवसीय यात्रा के पहले दिन भारतीय समुदाय को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को कहा कि भारत और जापान 'स्वाभाविक साझेदार' हैं और जापानी निवेश ने भारत की विकास यात्रा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। उन्होंने आगे कहा कि जापान के साथ भारत के संबंध आध्यात्मिकता, सहयोग और अपनेपन के हैं।
प्रधानमंत्री मोदी अपने जापानी समकक्ष फुमियो किशिदा के निमंत्रण पर क्वाड नेताओं के एक शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए दो दिवसीय यात्रा पर जापान में हैं। वह शिखर सम्मेलन से इतर क्वाड नेताओं के साथ अलग-अलग द्विपक्षीय बैठकें भी करेंगे।
अपने संबोधन में उन्होंने आगे कहा कि भारत ने हमेशा हर समस्या का समाधान खोजा है, चाहे वह कितनी भी बड़ी क्यों न हो। उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस महामारी के दौरान जब अनिश्चितता का माहौल था, भारत ने अपने करोड़ों नागरिकों को 'मेड इन इंडिया' टीकों की आपूर्ति की और इसे 100 से अधिक देशों में भी भेजा।
प्रधानमंत्री ने वर्षों तक जापान में बसे रहने के बावजूद भारतीय संस्कृति और भाषा के प्रति समर्पण के लिए भारतीय प्रवासियों की सराहना की। इसके साथ ही प्रधानमंत्री मोदी ने इंडो-पैसिफिक इकोनॉमिक फ्रेमवर्क (आईपीईएफ) के शुभारंभ के कार्यक्रम में भाग लिया। पीएम ने कहा है कि यह इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में विकास को आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
Took part in the programme to launch of the Indo-Pacific Economic Framework (IPEF), which will play a key role in furthering growth in the Indo-Pacific region. pic.twitter.com/IbJ372I7SX
— Narendra Modi (@narendramodi) May 23, 2022
इससे पहले दिन में सोमवार को एक प्रमुख जापानी समाचार पत्र में प्रकाशित एक ऑप-एड में मोदी ने कहा कि भारत और जापान एक खुले, मुक्त और समावेशी हिंद-प्रशांत क्षेत्र के निर्माण में योगदान देंगे, जो सुरक्षित समुद्रों से जुड़ा हो, व्यापार और निवेश द्वारा परिभाषित हो।
24 मई को टोक्यो में क्वाड शिखर सम्मेलन में मोदी के अलावा अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन, जापानी प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा और ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीस शामिल होंगे।