+
18वीं लोकसभा का पहला सत्र 24 जून से, स्पीकर का चुनाव मुख्य मुद्दा

18वीं लोकसभा का पहला सत्र 24 जून से, स्पीकर का चुनाव मुख्य मुद्दा

18वीं लोकसभा का पहला सत्र 24 जून को शुरू होगा। इसकी घोषणा संसदीय कार्य मंत्री किरण रिजिजू ने बुधवार को की। इस दौरान लोकसभा स्पीकर को चुना जाएगा। स्पीकर या तो पुरानी परंपराओं के मुताबिक आम राय से चुना जाएगा या फिर विपक्ष अगर अपना प्रत्याशी खड़ा करता है तो सदन में चुनाव भी हो सकता है।

18वीं लोकसभा का पहला संसद सत्र 24 जून से शुरू होगा। संसदीय कार्य मंत्री किरण रिजिजू ने बुधवार को इसकी घोषणा की। नरेंद्र मोदी और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाली राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) सरकार 24 जून से शुरू होकर 3 जुलाई तक चलने वाले विशेष संसद सत्र के दौरान लोकसभा अध्यक्ष का चयन करेगी।

सत्र के पहले तीन दिन महत्वपूर्ण हैं। नवनिर्वाचित सांसद शपथ लेंगे या लोकसभा की अपनी सदस्यता की पुष्टि करेंगे। उसके बाद सदन के स्पीकर का चुनाव होगा। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू 27 जून को लोकसभा और राज्यसभा की संयुक्त बैठक को संबोधित करेंगी और अगले पांच वर्षों के लिए नई सरकार के रोडमैप की रूपरेखा पेश करेंगी।

किरण रिजिजू ने बुधवार को एक्स पर कहा कि "नवनिर्वाचित सांसदों की शपथ/प्रतिज्ञा, अध्यक्ष का चुनाव, राष्ट्रपति के अभिभाषण और उस पर चर्चा के लिए 18वीं लोकसभा का पहला सत्र 24 जून से 3 जुलाई तक बुलाया जा रहा है। राज्यसभा का 264वां सत्र 27 जून से शुरू होगा और 3 जुलाई को समाप्त होगा।

लोकसभा स्पीकर को लेकर अभी स्थिति साफ नहीं है। टीडीपी या जेडीयू ने अभी तक कोई सार्वजनिक मांग नहीं रखी है। समझा जाता है कि आंध्र प्रदेश की भाजपा सांसद और पूर्व मंत्री डी. पुरुंदेश्वरी को लोकसभा अध्यक्ष आम राय से चुन लिया जाएगा। क्योंकि पुरुंदेश्वरी चंद्रबाबू नायडू की पत्नी भुवनेश्वरी की सगी बहन हैं। ऐसे में टीडीपी विरोध नहीं करेगी। इसी तरह दक्षिण भारत से स्पीकर बनाने पर शायद इंडिया गठबंधन भी विरोध न करे। लेकिन राजनीति में आखिरी क्षणों में कुछ भी हो सकता है।

18वीं लोकसभा में इंडिया गठबंधन की पार्टियों की संख्या बढ़ने के साथ, लोकसभा को दस साल बाद विपक्ष का नेता (एलओपी) मिलना तय है। विपक्षी नेताओं को भी उम्मीद है कि जल्द ही एक उपाध्यक्ष चुना जाएगा। यह पद जो पिछले पांच वर्षों से खाली था।

हाल ही में हुए लोकसभा चुनाव 2024 में, बीजेपी ने 240 सीटें जीतीं, जबकि उसके एनडीए सहयोगी 53 और सीटें हासिल करने में कामयाब रहे। उसी गठबंधन की पार्टियों के दम पर मोदी सरकार टिकी हुई है, जिसमें टीडीपी और जेडीयू प्रमुख हैं। विपक्षी गुट इंडिया ने लोकसभा चुनाव में 234 सीटें हासिल कीं हैं।

सत्य हिंदी ऐप डाउनलोड करें