दमोह के गंगा-जमुना स्कूल पर बुलडोज़र क्यों चला?
ग़ैर मुस्लिम छात्राओं को कथित रूप से जबरन हिज़ाब पहनाने के आरोपों को लेकर चर्चाओं में आये मध्य प्रदेश के दमोह के गंगा-जमुना स्कूल पर शिवराज मामा का बुलडोजर चलने के बाद सियासत उफान पर है। पूर्व मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने कार्रवाई को अन्यायपूर्ण करार देते हुए, ‘लक्ष्य के तहत सबकुछ किए जाने का आरोप मढ़ा है।’
बता दें कि दमोह नगर पालिका के अतिक्रमण विरोधी दस्ते ने भारी पुलिस बल के साथ स्कूल पहुंचकर अतिक्रमणों को ढहाया है। मंगलवार देर शाम तक यह कार्रवाई होती रही और बुधवार को भी जारी रही। अमले ने अतिक्रमण माने गए स्कूल के निर्माणाधीन दूसरे तल के साथ-साथ स्कूल के अन्य अवैध करार क्षेत्रों पर भी हथौड़ों के साथ बुलडोज़र चलाया।
हिज़ाब मामला गर्माने के बाद से काफी संख्या में स्कूल के विद्यार्थी सरकारी कार्रवाई का विरोध कर रहे हैं। विद्यार्थियों का दावा है कि ‘आरोप गलत हैं।’ उन्होंने स्कूल के शिक्षकों, प्राचार्य एवं प्रबंधन के कामकाज और पढ़ाई बेहतर होने के दावे भी किए हैं।’
नगर पालिका अमले ने अतिक्रमण तोड़ा और बुलडोजर चलाया तब भी स्कूल में अध्ययनरत अनेक बच्चे बिलखते रहे। स्कूल भवन को नहीं तोड़ने की गुजारिश करते रहे। लेकिन अमला अपने काम में लगा रहा और चिन्हित किए गए हिस्सों को गिराकर ही दम लिया। स्कूल पर शिवराज सिंह का बुलडोज़र चलाने की कार्रवाई के बाद प्रदेश सरकार और प्रतिपक्ष आमने-सामने हैं।
मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष कमलनाथ ने गंगा-जमुना स्कूल पर बुलडोज़र चलाये जाने को अन्यायपूर्ण कार्रवाई निरूपित किया है।
कमलनाथ ने कहा है, ‘जांच पूरी होने के पहले ही बुलडोजर चला दिया जाना किसी भी सूरत में उचित नहीं है।’ कमलनाथ ने शिवराज सरकार और भाजपा को आड़े हाथों लिया और यह भी कहा, ‘ये (बुल्डोज़र) किस लक्ष्य से चलाया जा रहा है? क्या इसका सोर्स है? ये समझने वाली बात है!’ उन्होंने यह भी कहा, ‘ये किसी लक्ष्य से हो रहा है, ये समझना ज़रूरी है, ये पूरा मामला पेंचीदा है।’
गृहमंत्री सुबह बोले थे बुलडोज़र तो चलेगा
मध्य प्रदेश के गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा था, ‘गैर मुस्लिम बच्चियों को जबरिया हिज़ाब पहनाना भोलापन नहीं, बल्कि घोर निंदनीय कृत्य है।’
नरोत्तम मिश्रा ने फरार आरोपियों की गिरफ्तारी जल्दी कर लिए जाने का भरोसा दिलाते हुए कहा था कि धर्मांधता फैलाने का अनुचित कार्य और अतिक्रमण करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी व बुलडोज़र भी चलेगा।
स्कूल पर लग हैं ये आरोप
दमोह का गंगा-जमुना स्कूल पिछले कई दिनों से सुर्खियों में है। आरोप है कि स्कूल प्रबंधन गैर मुस्लिम छात्राओं को जबरन हिज़ाब पहनने के लिए मजबूर करता था, नमाज़ अता कराई जाती थी और कुरान की आयतें याद करके आने के लिए होमवर्क बतौर दी जाती थी।
स्कूल पुराना है। कक्षा 1 से 12 तक की कक्षाओं वाले इस स्कूल में सैकड़ों विद्यार्थी अध्ययनरत हैं। मुस्लिम धर्मावलंबियों के अलावा काफी बड़ी संख्या में गैर मुस्लिम छात्र-छात्राओं की भी है।
उधर गंगा-जमुना स्कूल पर लगे आरोप सार्वजनिक होने के बाद से सियासत जोरों पर है। बजरंग दल, विश्व हिन्दू परिषद और अन्य हिन्दूवादी संगठन आक्रोशित हैं। मध्य प्रदेश की शिवराज सिंह चौहान सरकार ने पूरे मामले को संज्ञान में लेते हुए स्कूल प्रबंधन के खिलाफ मुक़दमा कायम करवाया है।
सीएम बोले थे धर्मांधता नहीं चलने दी जाएगी
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है, ‘इस तरह की कट्टरता को चलने नहीं दिया जायेगा।’ भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष वी.डी. शर्मा और भाजपा के अनुषांगिक संगठन भी खासे नाराज़ हैं। शर्मा ने धर्मांधता फैलाने के आरोपों का सामना कर रहे स्कूल पर टेरर फडिंग जैसे आरोप भी लगाए हैं। सभी आरोपों की जांच चल रही है। मुकदमा कायम करने के बाद स्कूल के प्राचार्य और दो टीचरों को गिरफ्तार किया गया है। तीनों को 24 जून तक न्यायिक हिरासत में भेजा गया है। कुछ आरोपी अभी फरार हैं।
आरोप-प्रत्यारोप और पुलिस कार्रवाई के बीच दमोह नगर पालिका ने स्कूल संचालक के नाम नोटिस जारी किया है। सोमवार को दिए गए नोटिस का जवाब तत्काल मांगा गया था। संचालक और स्कूल प्रबंधन से जुड़े अन्य कर्ताधर्ता अभी फरार हैं। पालिका सूत्रों का कहना है कि उन्हें किसी भी तरह की सफाई अथवा नोटिस का जवाब नहीं मिला है। इसी के बाद कार्रवाई की गई है।