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एमपीः दलित अत्याचारों की गूंज, सरकारी श्मशान घाट पर अंतिम संस्कार से रोका, गिरफ्तार

एमपीः दलित अत्याचारों की गूंज, सरकारी श्मशान घाट पर अंतिम संस्कार से रोका, गिरफ्तार

मध्य प्रदेश में दलितों पर अत्याचार की घटनाएं बढ़ रही हैं। कटनी के जीआरपी थाने में महिला और उनके बेटे की पिटाई के बाद सरकारी श्मशान घाट पर दलित को अंतिम संस्कार से रोका गया। कटनी की घटना पर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी पीड़ित परिवार की महिलाओं के साथ धरने पर बैठ गए। सरकार को कार्रवाई करना पड़ा। भाजपा शासित एमपी में इससे पहले एक आदिवासी के सिर पर पेशाब करने की घटना भी हो चुकी है।

मध्य प्रदेश में दलितों पर अत्याचार की वारदातों ने सरकार की नींद उड़ा रखी है। एक के बाद एक सामने आ रहे मसलों पर विपक्ष सरकार की जोरदार घेराबंदी कर रहा है। कटनी जीआरपी थाने में दलित समाज की महिला और उसके पोते की बेरहमी से पिटाई मामले में 6 पुलिस वालों पर एक्शन के अलावा रतलाम में एक दलित परिवार को मृत महिला का सरकारी श्मशान घाट पर अंतिम संस्कार नहीं करने देने के मामले पर भी सरकार को आड़े हाथों लिया जा रहा है। इस मामले में एक गिरफ्तारी हुई है।

बता दें, मध्य प्रदेश में बीते 48 घंटों में दलितों पर अत्याचार की दो वारदातों पर जमकर रार हुई। कटनी जीआरपी थाने में दलित समाज की महिला और उसके पोते की बर्बरतापूर्वक पिटाई से जुड़ा वीडियो वायरल होने के बाद कांग्रेस ने सरकार को जमकर घेरा। मप्र कांग्रेस के अध्यक्ष जीतू पटवारी गुरूवार को पीड़ित परिवार को साथ लेकर कटनी थाने में आमरण अनशन पर बैठने का एलान कर डट गये। पटवारी और कांग्रेस का रूख देखकर सरकार को आरोपी पुलिस वालों पर कार्रवाई करना पड़ी।

जीतू पटवारी गुरुवार देर शाम तब थाने से उठे जब 6 पुलिस वालों के सस्पेंशन का आदेश उन्हें दिखाया गया।

जीतू पटवारी ने अनशन समाप्त करते हुए कहा, ‘कांग्रेस को सफलता मिल गई है। दोषियों पर एफआईआर कर ली गई है। पुलिस वालों पर आरंभिक कार्रवाई हुई है। हम इस मसले को छोड़ेंगे नहीं। कोर्ट जायेंगे और दोषी पुलिस वालों को सख्त सजा दिलायेंगे।’

लगे हाथों पटवारी ने राज्य की सरकारी मशीनरी को चेताया और कहा, ‘मशीनरी और पुलिस वाले भाजपा कार्यकर्ता के तौर पर काम नहीं करें। कांग्रेस ऐसे अधिकारियों-कर्मचारियों और पुलिस वालों को छोड़ेगी नहीं।’

यहां यह बता दें, कटनी जीआरपी थाने से जुड़ा एक वीडियो बुधवार को वायरल हुआ था। वीडियो वायरल होने के बाद पूर्व मुख्यमंत्री कमल नाथ ने उसे एक्स किया तो हड़कंप मच गया।

नाथ ने कहा, ‘दलित-आदिवासियों की पैरोकार बनने वाली भारतीय जनता पार्टी शासित मध्य प्रदेश में दलितों पर अत्याचार के ये हालात हैं। अत्याचार की पराकाष्ठा हो रही है।’ नाथ के एक्स के बाद राजनीति शुरू हो गई। सरकार ने सफाई दी। उधर एसआरपी कटनी ने एक्स कर कहा, ‘वायरल वीडियो 10 महीने पुराना (अक्टूबर 2023 का) है। जांच करवा रहे हैं। वीडियो में नजर आ रहे पुलिस वालों को लाइन हाजिर किया गया है।’

दरअसल वायरल वीडियो में थाना इंचार्ज और पांच मातहत मिलकर एक महिला और उसे पोते की बेरहमी से पिटाई करते नजर आये थे। महिला के पुत्र निगरानीशुदा बदमाश और 10 हजार रुपयों के इनामी आरोपी दीपक वंशकार की धरपकड़ के लिए महिला और उसके पोते को थाने लाया गया था। बाद में दोनों की जमकर पिटाई उड़ाई गई थी।

कटनी के अलावा अन्य मामला रतलाम जिले में जावरा के पुलिस थाना रिंगनोद की असावती चौकी अंतर्गत ग्राम कुम्हारी का है। इस मामले का खुलासा भी सोशल मीडिया के जरिये हुआ।

पुलिस को सोशल मीडिया के माध्यम से जानकारी मिली कि दलित समाज की सुगन बाई नामक महिला की मृत्यु हो गई। जब अंतिम संस्कार के लिए गांव के शासकीय श्मशान घाट पर ले गए तो गांव के दबंगो ने अंतिम संस्कार नही होने दिया। इस जानकारी के सामने आते ही पुलिस हरकत में आई।

रिंगनोद थाना पुलिस टीम ने रात्रि में ही गांव जाकर पीड़ित परिवार से संवाद किया। पीड़ित परिवार को थाना रिंगनोद लाया गया। परिवार के सदस्य बद्रीलाल ने पुलिस को बताया कि 25 अगस्त 2024 को सुगन बाई की बीमार होने से मृत्यु हो गई थी। उस दिन तेज बारिश हो रही थी। समाज के श्मशान में पतरे का शेड नहीं था। शासकीय श्मशान में पतरे का शेड था। गांव के नाहुसिंह राजपूत ने शासकीय श्मशान में अंतिम संस्कार करने से मना कर दिया।

बद्रीलाल की रिपोर्ट पर आरोपी नागुसिंह के खिलाफ थाना रिंगनोद पुलिस ने धारा 301 बीएनएस 3(1) (जेडए) (ए) एससी-एसटी एक्ट के तहत केस दर्ज कर गिरफ्तार कर लिया।

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