स्पीकर पर अब कल चुनाव होगा, कांग्रेस के के. सुरेश ने नामांकन किया
सत्ता पक्ष से ओम बिड़ला का नाम स्पीकर के प्रत्याशी के तौर पर सामने आने के बाद विपक्षी गठबंधन ने अपना प्रत्याशी कांग्रेस सांसद के. सुरेश को बनाया है। के. सुरेश ने अपना नामांकन दाखिल कर दिया है। इससे पहले राहुल गांधी के बयान से साफ हो गया था कि विपक्ष प्रत्याशी उतारेगा। स्पीकर पद के लिए चुनाव बुधवार 26 जून को है।
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कांग्रेस के केसी वेणुगोपाल, डीएमके के टीआर बालू ने स्पीकर पद के लिए एनडीए उम्मीदवार का समर्थन करने से इनकार करते हुए राजनाथ सिंह के कार्यालय से बाहर निकल गए। इसके बाद के. सुरेश नामांकन के लिए चले गए।
राहुल गांधी ने इस मुद्दे पर इस घटनाक्रम के पहले कहा था- “कल राजनाथ सिंह जी ने मल्लिकार्जुन ख़ड़गे जी को फ़ोन किया और कहा कि आप हमारे स्पीकर पद के उम्मीदवार का समर्थन कीजिए।... हम स्पीकर का समर्थन करने को तैयार हैं, पर संसदीय परंपरा के अनुसार उपसभापति विपक्ष का होना चाहिए, UPA में भी यही हुआ था। राजनाथ सिंह जी ने कहा कि वह दोबारा फ़ोन करेंगे लेकिन अभी तक फ़ोन नहीं आया। नीयत साफ़ नहीं है, नरेंद्र मोदी कोई कंस्ट्रक्टिव कोऑपरेशन नहीं चाहते हैं।”
इस मुद्दे पर सपा प्रमुख और सांसद अखिलेश यादव का कहना है, ''जल्द ही सब कुछ सामने आ जाएगा...विपक्ष की मांग थी कि (लोकसभा का) उपाध्यक्ष विपक्ष का हो...हमारी पार्टी की भी यही राय है'' ...।"
इंडिया गठबंधन के पास सदन में 230 सांसद हैं। भाजपा के पास 240 सांसद हैं। लेकिन भाजपा को जेडीयू और टीडीपी का समर्थन हासिल है। उम्मीद है कि एनडीए के स्पीकर प्रत्याशी ओम बिड़ला फिर से स्पीकर चुन लिए जाएंगे।
भाजपा तोड़ रही संसदीय मर्यादा
उपसभापति यानी डिप्टी स्पीकर का पद विपक्ष को मिलता रहा है। यूपीए सरकार में कांग्रेस ने हमेशा यह पद विपक्ष को दिया। भाजपा ने 2014 में अपनी सहयोगी पार्टी अन्नाद्रमुक के एम थंबी दुरई को उपाध्यक्ष नियुक्त किया था। तब भी उसने विपक्ष को यह पद नहीं दिया। 2019 से यह पद खाली रहा। अब 2024 में वो फिर से इस पद के लिए पैंतरेबाजी कर रही है। विपक्ष ने पेशकश की थी कि स्पीकर का चुनाव आम राय से हो और डिप्टी स्पीकर विपक्ष से बने लेकिन भाजपा ने यह मांग स्वीकार नहीं की।