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पद्म श्री को लेकर शेरगिल-अदनान सामी में छिड़ा ट्विटर वॉर

पद्म श्री को लेकर शेरगिल-अदनान सामी में छिड़ा ट्विटर वॉर

अदनान सामी को पद्म श्री अवार्ड मिलने के बाद से ही सोशल मीडिया में हंगामा मचा हुआ है। आम लोग तो इसे लेकर कमेंट कर ही रहे हैं, राजनीतिक दल भी इसमें कूद पड़े हैं।

अदनान सामी को पद्म श्री अवार्ड मिलने के बाद से ही सोशल मीडिया में हंगामा मचा हुआ है। आम लोग तो इसे लेकर कमेंट कर ही रहे हैं, राजनीतिक दल भी इसमें कूद पड़े हैं। ट्विटर पर सामी को पद्म श्री मिलने के पक्ष और विरोध में लगातार बयानबाज़ी हो रही है। 

कांग्रेस के प्रवक्ता जयवीर शेरगिल सामी को पद्म श्री मिलने पर काफ़ी मुखर हैं और ट्विटर पर लगातार इसका विरोध कर रहे हैं। शेरगिल ने इस पर तंज किया और कहा कि सामी को यह पुरस्कार बीजेपी सरकार की चमचागिरी करने के कारण मिला है। शेरगिल ने ट्विटर पर वीडियो जारी कर सवाल उठाया था, ‘पाकिस्तान के ख़िलाफ़ लड़ने वाला भारत का सिपाही घुसपैठिया और पाक वायुसेना के अफ़सर के बेटे को सम्मान क्यों’ शेरगिल का मतलब मुहम्मद सना उल्लाह से था जिन्होंने कारगिल की लड़ाई लड़ी थी लेकिन एनआरसी में नाम न आने के कारण उन्हें डिटेंशन कैंप में भेज दिया गया था। शेरगिल ने यह भी सवाल उठाया था कि पद्म श्री के लिए समाज में योगदान ज़रूरी है या सरकार का गुणगान 

इसके बाद सामी ने भी शेरगिल के बयान पर जोरदार पलटवार किया और ट्वीट कर कहा, ‘ऐ बच्चे, क्या तुमने अपना दिमाग किसी ‘क्लियरेंस सेल’ या सेकेंड हैंड नॉवल्टी स्टोर से ख़रीदा है क्या उन्होंने बर्कले में तुम्हें यह सिखाया कि किसी बेटे को उसके माता-पिता के काम के कारण जिम्मेदार ठहराया जाना चाहिए या उसे सजा दी जानी चाहिए’ सामी ने आगे लिखा कि क्या तुम वकील हो और तुमने क़ानून के स्कूल में यही सीखा है’

इसके बाद दोनों में ट्विटर वॉर शुरू हो गया। जयवीर ने एक और ट्वीट कर सामी को जवाब दिया और कहा, ‘अंकल, मैं आपकी भाषा में जवाब दे सकता हूं लेकिन भारतीय संस्कृति हमें अपने दुश्मनों की भी इज्जत करना सिखाती है और आप तो अभी-अभी सीमा पार करके यहां आए हैं और मुझे लगता है कि अभी आप सीख ही रहे हैं।’

लेकिन सामी भी चुप नहीं बैठे और उन्होंने एक और ट्वीट दाग दिया। सामी ने लिखा, ‘अब आप मुझे अंकल न बोलें और भारतीय संस्कृति के बारे में फालतू बातें भी नहीं कहें। क्योंकि आपने चमचागिरी जैसे भद्दे शब्दों का इस्तेमाल करके बता दिया है कि आपको भारतीय संस्कृति की कितनी कम जानकारी है जबकि बड़ों का सम्मान करना भारतीय संस्कृति में सबसे अहम है।’

इसके बाद जयवीर शेरगिल का जवाब आया और उन्होंने ट्वीट कर कहा, ‘मुझे ऐसे आदमी से भारतीय संस्कृति के बारे में भाषण की ज़रूरत नहीं है जिन्होंने ट्विटर पर तालियां बटोरने के लिए अपने पिता से ही किनारा कर लिया हो।’ शेरगिल ने ट्वीट में आगे पूछा, ‘आप बस इतना बता दीजिये कि पिछले पाँच साल में आपने भारत के लिये क्या पाँच काम किये’

अदनान सामी मूल रूप से पाकिस्तानी नागरिक थे और 2016 में उन्हें भारत की नागरिकता दी गई थी। अदनान सामी के पिता अरशद सामी पाकिस्तान की एयर फ़ोर्स में थे और 1965 में भारत के ख़िलाफ़ जंग लड़ चुके थे।

हालांकि कांग्रेस में भी अदनान सामी को पद्म श्री दिये जाने को लेकर नेताओं की अलग-अलग राय है। वरिष्ठ कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने सामी को पद्म श्री मिलने पर बधाई दी है। इससे पहले कांग्रेस नेता संजय निरूपम ने कहा था कि सामी को पद्म श्री देने के फ़ैसले से लोगों को झटका लगा है। 

अपने-अपने तर्क

सामी को पद्म श्री देने का विरोध करने वाले लोगों का कहना है कि एक ओर नागरिकता संशोधन क़ानून, नेशनल रजिस्टर ऑफ़ सिटीजंस के जरिये मुसलमानों को देश से बाहर करने की कोशिश की जा रही है जबकि पाकिस्तान से यहां आए मुसलमानों को पद्म श्री पुरस्कार दिया जा रहा है। जबकि सामी को पद्म श्री देने का स्वागत करने वाले ख़ेमे का कहना है कि सामी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बीजेपी का सपोर्ट करते हैं, इसलिए कुछ लोग उन्हें पद्म श्री देने का विरोध कर रहे हैं। 

‘130 करोड़ भारतीयों का अपमान’ 

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) ने अदनान सामी को पद्म श्री पुरस्कार दिये जाने को 130 करोड़ भारतीयों का अपमान बताया है। महाराष्ट्र के अल्पसंख्यक विकास मंत्री और पार्टी के प्रवक्ता नवाब मलिक ने कहा है कि अब कोई भी पाकिस्तानी नागरिक ‘जय मोदी’ का नारा लगाकर भारत की नागरिकता हासिल कर सकता है। महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना ने भी इस फ़ैसले पर सवाल उठाया है। मनसे नेता अमेय खोपकर ने ट्वीट कर कहा है कि सामी मूल रूप से भारतीय नहीं हैं और एमएनस उन्हें पद्म श्री देने की निंदा करती है और इसे वापस लिया जाना चाहिए।

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