I.N.D.I.A की टेंशन दूर, खड़गे के डिनर में 17 दलों के 38 नेता पहुंचे
इंडिया गठबंधन के टूटने की खबरें ज्यादा तेजी से फैलीं लेकिन अब उसके जुड़ने की खबरें चर्चा-ए-आम नहीं हैं। बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने सबसे बुधवार को इंडिया गठबंधन के एकजुट होने का संकेत दिया और कहा कि कौन कह रहा है कि मैं बैठक में नहीं जाऊंगा। इसके बाद टीएमसी प्रमुख ममता बनर्जी ने भी कहा कि वो बैठक में जाने पर विचार कर रही हैं। यानी सभी नेताओं के सुर एक दिन में बदल गए। लेकिन इसका क्लाइमैक्स बुधवार शाम को दिखाई दिया जब इंडिया की कोऑर्डिनेशन कमेटी की बैठक में 17 दल के नेता पहुंचे। इसकी मेजबान कांग्रेस पार्टी थी। फिर रात में खड़गे ने डिनर दिया तो विपक्ष के 38 नेता उसमें मौजूद थे।
इंडिया में साफ-साफ संदेश देने के लिए कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी ने डिनर के दौरान विपक्षी दलों के संसदीय नेताओं से मुलाकात भी की। इतना ही नहीं कांग्रेस आलाकमान के निर्देश पर, तेलंगाना के मनोनीत मुख्यमंत्री ए रेवंत रेड्डी ने तमाम विपक्षी शासित गैर-कांग्रेसी मुख्यमंत्रियों से बात की और उन्हें गुरुवार को हैदराबाद में अपने शपथ ग्रहण समारोह में आमंत्रित किया।
हालांकि तृणमूल कांग्रेस और शिवसेना (यूबीटी) के नेता खड़गे के डिनर में शामिल नहीं थे लेकिन शिवसेना यूबीटी के संजय राउत ने दिन में ही खड़गे से मुलाकात कर स्थिति साफ कर दी थी। गठबंधन के तमाम नेताओं ने कहा कि बैठक सौहार्दपूर्ण थी और हमने ने अब हालिया कटुता को भूलकर आगे बढ़ने का संकल्प लिया है।
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक डीएमके, एनसीपी, आरजेडी, सपा, जेडीयू, आप, सीपीएम, सीपीआई, मुस्लिम लीग, एमडीएमके, आरएलडी, केरल कांग्रेस (एम), जेएमएम, नेशनल कॉन्फ्रेंस, आरएसपी और वीसीके सहित 17 पार्टियों के 38 नेता खड़गे के डिनर में मौजूद थे।
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने एक्स (ट्विटर) पर इस बारे में लिखा है- “लोकसभा और राज्यसभा के समान विचारधारा वाले दलों के नेताओं की एक संसदीय रणनीति बैठक 10, राजाजी मार्ग पर आयोजित की गई थी। हम सरकार को जवाबदेह बनाने के लिए इस सत्र के शेष भाग में लोगों के मुद्दों को संसद में उठाएंगे। खड़गे ने लिखा, सभी दलों के नेताओं के परामर्श से जल्द ही भारतीय दलों की बैठक की तारीख तय की जाएगी।
A Parliamentary strategy meeting of like-minded parties of Lok Sabha and Rajya Sabha floor leaders was held at 10, Rajaji Marg.
— Mallikarjun Kharge (@kharge) December 6, 2023
We will take up the issues of the people in the Parliament, in the remaining part of this session to make the government accountable.
A date for… pic.twitter.com/FTcpMHtwzQ
एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम में तृणमूल कांग्रेस ने साफ कर दिया है कि उसके राज्यसभा नेता डेरेक ओ ब्रायन तेलंगाना में रेड्डी के शपथ ग्रहण में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का प्रतिनिधित्व करेंगे। उन्होंने रात्रिभोज में टीएमसी की अनुपस्थिति को अधिक तवज्जो नहीं देते हुए कहा कि पार्टी व्यापक रणनीति से सहमत है, जिस पर पहले ही निर्णय लिया जा चुका है। एक नेता ने कहा, "चर्चा के लिए और कुछ नहीं था।"
आम आदमी पार्टी के राघव चड्ढा ने इस बैठक में कहा कि मुंबई के बाद इंडिया की एक और बैठक जल्द होनी चाहिए थी। उस बैठक को हुए लंबा समय हो गया। कुछ नेताओं ने अपने राज्य-स्तरीय मतभेदों को राष्ट्रीय स्तर पर लाने की पार्टियों की प्रवृत्ति का भी उल्लेख किया। हालाँकि गठबंधन की चौथी बैठक की तारीख और स्थान तय नहीं किया गया है। सभी दल सभी के लिए पारस्परिक रूप से सुविधाजनक तारीख पर यथाशीघ्र मिलने पर सहमत हुए। खड़गे और राहुल जल्द ही सभी नेताओं के पास पहुंचेंगे।
पार्टियों ने संसद में अपनी फ्लोर रणनीति का समन्वय करने का निर्णय लिया। विशेष रूप से तीन विधेयकों पर चर्चा के दौरान सभी एकजुट होकर आवाज उठाएंगे। इसमें आईपीसी, सीआरपीसी और सबूत अधिनियम, मुख्य चुनाव आयुक्त और अन्य चुनाव आयुक्तों की नियुक्ति, सेवा शर्तें और कार्यालय अवधि विधेयक और जम्मू और कश्मीर पुनर्गठन (संशोधन) विधेयक शामिल हैं।
कुल मिलाकर इंडिया के नेता एक बार फिर से एकजुट होते दिख रहे हैं। लेकिन बात जब लोकसभा चुनाव 2024 में सीट शेयरिंग की आएगी तब इस एकता की जरूरत ज्यादा रहेगी। उस समय अखिलेश और ममता बनर्जी का क्या रुख रहेगा, यह देखने वाला होगा। बहरहाल, बुधवार के घटनाक्रम से इंडिया गठबंधन का आत्मविश्वास बढ़ा है।