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चेन्नई: ट्विटर पर शाह का विरोध, समर्थकों ने दिया जवाब

चेन्नई: ट्विटर पर शाह का विरोध, समर्थकों ने दिया जवाब

तमिलनाडु में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले वहां सियासी आधार बढ़ाने की कोशिश कर रही बीजेपी के लिए शनिवार का दिन ख़राब रहा। 

तमिलनाडु में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले वहां सियासी आधार बढ़ाने की कोशिश कर रही बीजेपी के लिए शनिवार का दिन ख़राब रहा। पार्टी नेता और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के चेन्नई पहुंचने से पहले ही ट्विटर पर #GoBackAmitShah ट्रेंड करने लगा। हालांकि इसके जवाब में बीजेपी समर्थकों ने #TNwelcomesChanakya ट्रेंड कराया। 

बहरहाल, अमित शाह ने अपने दौरे के दौरान करोड़ों रुपये के प्रोजेक्ट्स की नींव रखी और चेन्नई में वे समर्थकों का अभिवादन स्वीकार करने के लिए सड़क पर पैदल भी चले। इस दौरान पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव सीटी रवि और प्रदेश अध्यक्ष एल. मुरूगन भी उनके साथ मौजूद रहे। तमिलनाडु के मुख्यमंत्री ईके पलानिस्वामी और उप मुख्यमंत्री ओ. पन्नीरसेल्वम भी शाह से मिलने चेन्नई एयरपोर्ट पहुंचे। 

प्रकाश नाम के यूजर ने डीएमके नेता स्टालिन और अमित शाह का फ़ोटो ट्वीट कर स्टालिन को केयर करने वाला जबकि शाह को डराने वाला नेता बताया। 

एक ट्विटर यूजर ने व्यंग्य किया कि 15 लाख रुपये न देने पर किसी ने अमित शाह पर बैनर फेंक दिया। 

#TNwelcomesChanakya ट्रेंड कराने वाले बीजेपी समर्थकों ने कहा कि अमित शाह के राज्य में आने से अब यहां 200 फ़ीसदी कमल खिलेगा। 

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जब पिछले साल तमिलनाडु के दौरे पर गए थे, उनके साथ भी ऐसा ही हुआ था और ट्विटर पर #GoBackModi ट्रेंड कराया गया। 

 - Satya Hindi

एआईएडीएमके के साथ गठबंधन तय 

बीजेपी का चुनाव में सत्तारूढ़ एआईएडीएमके से गठबंधन होना तय माना जा रहा है। लेकिन हालिया दिनों में इन दोनों दलों के रिश्तों में खटास आई है। बीजेपी ने 6 नवंबर से वेत्री वेल यात्रा निकालने की योजना बनाई थी। लेकिन एआईएडीएमके की सरकार ने इसकी अनुमति नहीं दी और कोरोना को इसका कारण बताया। 

इसके अलावा बीजेपी ने एक वीडियो में नरेंद्र मोदी की तसवीर का इस्तेमाल एआईएडीएमके के संस्थापक एमजी रामचंद्रन की तसवीर के साथ किया तो एआईएडीएमके ने इसका विरोध किया। 

तमिलनाडु में राज्य के दो सियासी दिग्गजों की ग़ैर मौजूदगी में यह पहला विधानसभा चुनाव होगा। क्योंकि करूणानिधि और जे.जयललिता की मृत्यु हो चुकी है। दक्षिण में कर्नाटक में बीजेपी की सरकार है लेकिन वह एआईएडीएमके के सहारे यहां भी राज्य की सत्ता में हिस्सेदारी चाहती है और इसके लिए अपनी ताक़त बढ़ा रही है। एआईएडीएमके राज्य सभा में बीजेपी का समर्थन करती रही है। 2019 के लोकसभा चुनाव में इस गठबंधन को करारी हार मिली थी।  

संगठन को मजबूत करने में जुटी बीजेपी ने सिने अदाकारा रहीं खुशबू सुंदर को पार्टी में शामिल किया है। बीजेपी नेतृत्व को उम्मीद है कि खुशबू के आने से उसे फायदा मिलेगा।

शशिकला के आने से होगी उथल-पुथल

जयललिता की क़रीबी रहीं शशिकला इन दिनों जेल में हैं। वैसे, उनकी रिहाई जनवरी में तय है लेकिन आसार हैं कि इससे पहले भी वह बाहर आ सकती हैं। लेकिन सवाल यह है कि क्या एआईएडीएमके के नेता शशिकला को वापस पार्टी में शामिल करेंगे 

कहा जा रहा है कि पलानीसामी और पन्नीरसेलवम दोनों शशिकला के एआईएडीएमके में वापसी के सख़्त ख़िलाफ़ हैं। इन नेताओं को डर है कि अगर शशिकला को पार्टी में शामिल किया जाता है, तब वह सत्ता अपने हाथ में ले लेंगी। 

ऐसी स्थिति में क्या शशिकला अपने भतीजे टीटीवी दिनाकरन की पार्टी में शामिल होंगी। शशिकला तमिलनाडु की राजनीति में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती हैं क्योंकि वह चुनावी रणनीति बनाने में माहिर हैं। जयललिता के रहते हुए उम्मीदवारों के चयन में शशिकला की हमेशा बड़ी भूमिका रही।

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