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कोरोना: जानिए, 21 दिन के लॉकडाउन के दौरान क्या खुले रहेंगे और क्या बंद

कोरोना: जानिए, 21 दिन के लॉकडाउन के दौरान क्या खुले रहेंगे और क्या बंद

कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार रात पूरे देश मेें लॉकडाउन की घोषणा की। यह 21 दिनों तक के लिए होगा। अब सरकार ने ही इसकी सूचना जारी कर साफ़ कर दिया है कि क्या बंद रहेंगे और क्या खुले रहेंगे। 

कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार रात पूरे देश मेें लॉकडाउन की घोषणा की। यह 21 दिनों तक के लिए होगा। इससे पहले अलग-अलग समय पर अलग-अलग जगहों पर देश भर में लॉकडाउन की घोषणाएँ की जा रही थीं। इसको लेकर अस्पष्टता थी कि कौन सी सेवाएँ जारी रहेंगी और कौन सी नहीं। तो अब सरकार ने ही इसकी सूचना जारी कर साफ़ कर दिया है कि क्या बंद रहेंगे और क्या खुले रहेंगे-

क्या बंद रहेंगे

  • ट्रेन, बस और उड़ान सेवा सहित यातायात के सभी साधन।
  • रेलवे सेवाओं के निलंबन को 14 अप्रैल तक बढ़ाया गया।
  • कुछ अपवादों को छोड़कर सभी सरकारी कार्यालय। 
  • राज्य/केंद्र शासित प्रदेश सरकार और स्वायत्त निकायों के कार्यालय।
  • व्यवसायिक और निजी संस्थान। 
  • होटल या इससे जुड़े प्रतिष्ठान। 
  • सभी शैक्षणिक संस्थान।
  • पूजा के सभी स्थल, धार्मिक समागम। 
  • सभी तरह के सामाजिक, राजनीतिक, सांस्कृतिक, धार्मिक कार्यक्रम।
  • अंतिम संस्कार के दौरान 20 से अधिक लोगों की अनुमति नहीं है।

क्या खुले रहेंगे

  • पेट्रोल पंप, सीएनजी, एलपीजी, पीएनजी। 
  • बैंक, इंश्योरेंस कार्यालय, अख़बार और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया। 
  • आपदा प्रबंधन, बिजली से जुड़ी इकाइयाँ।
  • पुलिस, होमगार्ड, रक्षा और सशस्त्र बल।
  • बिजली, पानी और स्वच्छता।
  • अस्पताल, नर्सिंग होम, फ़ायर स्टेशन, एटीएम काम करना जारी रखेंगे।
  • उचित मूल्य की दुकानें और भोजन, किराने का सामान, फल, सब्जियाँ, डेयरी, मांस, मछली, पशु चारा की दुकानें। 
  • सेबी द्वारा अधिसूचित पूंजी और ऋण बाजार सेवाएँ।
  • दूरसंचार सेवाएँ (इंटरनेट, केबल, आईटी से जुड़ी आवश्यक सेवाएँ)।
  • ई-कॉमर्स के माध्यम से खाद्य, फ़ार्मास्यूटिकल्स, चिकित्सा उपकरणों की बिक्री।
  • कोल्ड स्टोरेज और वेयरहाउसिंग।
  • निजी सुरक्षा सेवाएँ।

सज़ा का प्रावधान

जो व्यक्ति 15 फ़रवरी के बाद भारत में आया है उसको क्वारेंटाइन में घर पर रहने का निर्देश दिया गया है। ऐसा नहीं करने पर कार्रवाई होगी और छह महीने तक जेल भी हो सकती है। अधिकारियों को ड्यूटी करने से रोकने पर एक साल से दो साल तक जेल या जुर्माना लगाया जाएगा। ग़लत दावों पर दो साल तक की जेल होगी और जुर्माना देना होगा।। ख़तरे का संकेत ग़लत देने पर एक साल तक जेल या इसके साथ जुर्माना भी लगेगा। 

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