बांग्लादेश में धार्मिक अल्पसंख्यकों की सुरक्षा हो: कांग्रेस
बांग्लादेश में शेख हसीना के देश छोड़कर भागने और इसी बीच अल्पसंख्यकों के ख़िलाफ़ हो रही हिंसा को लेकर भारत की कांग्रेस पार्टी ने चिंता जताई है। इसने मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार से स्थिति से निपटने के लिए सख्त कदम उठाने का आह्वान किया है। कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा है कि कांग्रेस वहां अल्पसंख्यकों और उनकी संपत्तियों तथा पूजा स्थलों पर लक्षित हमलों की खबरों पर अपनी चिंता व्यक्त करती है।
जयराम रमेश ने कहा कि बांग्लादेश के भीतर कुछ प्रभावशाली आवाजें उस देश की बहु-धार्मिक विरासत के संरक्षण की मांग कर रही हैं और इसका संज्ञान लिया जाना चाहिए। उन्होंने कहा, 'भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस को उम्मीद है कि बांग्लादेश की अंतरिम सरकार अल्पसंख्यक समुदायों में विश्वास पैदा करने के लिए सशक्त कदम उठाएगी और यह सुनिश्चित करेगी कि वे सुरक्षा, सम्मान और सद्भावना के माहौल में अपना जीवन व्यतीत करते रहेंगे।'
While noting that there have been influential voices within Bangladesh calling for the preservation of the country’s multi-religious heritage, the Indian National Congress expresses its concern at reports of targeted attacks on minorities there and their properties and places of…
— Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) August 10, 2024
कांग्रेस के संचार प्रमुख जयराम रमेश ने बांग्लादेश में कानून और व्यवस्था बनाए रखने का आह्वान ऐसे समय में किया है जब अंतरिम प्रशासन के शपथ ग्रहण के बावजूद अल्पसंख्यक समुदायों पर कथित हमले जारी हैं। बांग्लादेश में अवामी लीग के कार्यकर्ताओं, पेशेवर पत्रकारों और कमज़ोर धार्मिक और जातीय समुदायों के ख़िलाफ़ भी हिंसा लगारार हो रही है।
कांग्रेस का यह बयान बीजेपी द्वारा बांग्लादेश में हिंदुओं के खिलाफ कथित हिंसा पर उसकी कथित चुप्पी को लेकर हमला किए जाने के एक दिन बाद आया है। शुक्रवार को लोकसभा में भाजपा सांसद अनुराग ठाकुर ने सवाल किया था कि विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने डॉ. यूनुस को बधाई देते हुए अपनी पोस्ट में इस बारे में क्यों नहीं कहा। अनुराग ठाकुर ने कहा कि राहुल गांधी ग़ज़ा के बारे में बात कर सकते हैं, लेकिन बांग्लादेश में हिंदुओं पर हमलों के बारे में चुप रहते हैं।
अक्टूबर 2023 में राहुल ने ग़ज़ा में हिंसा के खिलाफ बात की थी और इजराइली सेना द्वारा नागरिकों पर किए जा रहे हमले को रोकने का आह्वान किया था। उसी अवसर पर उन्होंने 7 अक्टूबर को हमास द्वारा इजराइली नागरिकों की हत्या की भी निंदा की थी।
कांग्रेस ने इससे पहले डॉ. यूनुस को बधाई दी थी, जिन्होंने गुरुवार को कार्यभार संभाला था। एक संदेश में जयराम रमेश ने कहा था कि पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह डॉ. यूनुस के काम के बहुत बड़े प्रशंसक रहे हैं। इस बीच, कॉमनवेल्थ जर्नलिस्ट्स एसोसिएशन ने डॉ. यूनुस से बांग्लादेश में पत्रकारों और मीडिया घरानों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए तेजी से कार्रवाई करने का आग्रह किया है।
बांग्लादेश में अंतरिम सरकार के शपथ ग्रहण से पहले मोहम्मद यूनुस ने बांग्लादेश पहुँचने पर कहा था कि पहले देश में हिंसा रोकनी होगी और ऐसा नहीं होता है तो फिर मुझे यहाँ से जाना होगा।
यूनुस ने हिंसा में शामिल लोगों को संबोधित करते हुए कहा था, 'अगर आप मुझ पर भरोसा करते हैं, तो सुनिश्चित करें कि देश में कहीं भी हमला न हो। सबसे पहले आस-पास हिंसा और अल्पसंख्यकों पर हमले बंद करने होंगे। किसी पर भी हमला नहीं कर सकते। मेरी बात सुननी पड़ेगी। मेरी बात नहीं सुनते हैं तो फिर मेरी यहाँ कोई ज़रूरत नहीं है और बेहतर होगा कि मैं वापस चला जाऊँ।'
यूनुस ने नागरिकों से विरोध प्रदर्शनों के दौरान पैदा होने वाली अराजकता से बचने का आह्वान किया था। शपथ ग्रहण से पहले उन्होंने कहा था, 'बांग्लादेश एक बहुत ही खूबसूरत देश हो सकता है और हम इसे एक खूबसूरत देश बना सकते हैं।' उन्होंने अबू सईद को भी श्रद्धांजलि दी, जो भेदभाव विरोधी छात्र आंदोलन के दौरान पुलिस की गोलीबारी में मारे गए पहले लोगों में से एक थे।
हिंदुओं पर हिंसा के विरोध में ढाका में प्रदर्शन
बांग्लादेश में हिंदुओं के ख़िलाफ़ हिंसा के विरोध में ढाका में प्रदर्शन हुआ है। इस प्रदर्शन में सैकड़ों लोग शामिल हुए। हाल में मुस्लिम पड़ोसियों द्वारा हिंदू मंदिर और ऐसे ही धार्मिक स्थलों की सुरक्षा किए जाने की ख़बरें और तस्वीरें आती रही हैं।
बांग्लादेश की राजधानी ढाका में शुक्रवार को सैकड़ों लोगों ने देश के अल्पसंख्यक हिंदुओं को निशाना बनाकर की जा रही हिंसा के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया।