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मोबाइल की ग्रीन लाइट को कांग्रेस ने बताया राहुल पर ख़तरा: गृह मंत्रालय

मोबाइल की ग्रीन लाइट को कांग्रेस ने बताया राहुल पर ख़तरा: गृह मंत्रालय

क्या राहुल गाँधी की जान को ख़तरा है? कांग्रेस का कहना है कि राहुल जब अमेठी में नामांकन भरने के बाद मीडिया से बातचीत कर रहे थे तो वे सात बार निशाने पर रहे। गृह मंत्रालय ने कहा है कि वीडियो में दीख रही 'ग्रीन लाइट' मोबाइल की है। 

कांग्रेस ने जिसे 'ग्रीन लेज़र' बताकर राहुल गाँधी की जान पर ख़तरे की आशंका जताई उसको गृह मंत्रालय ने कांग्रेस के ही एक फ़ोटोग्राफ़र के मोबाइल की 'ग्रीन लाइट' बताकर ख़ारिज़ कर दिया है। कांग्रेस ने कुछ देर पहले ही राहुल गाँधी की जान को ख़तरा बताया है। कांग्रेस का कहना है कि राहुल जब अमेठी में नामांकन भरने के बाद मीडिया से बातचीत कर रहे थे तो वे सात बार निशाने पर रहे। कांग्रेस का कहना है कि राहुल के सर पर सात बार 'ग्रीन लेज़र' लाइट दिखी जो संभवत: स्नाइपर की थी। पार्टी के वरिष्ठ नेताओं ने केंद्र सरकार को पत्र लिखकर इसकी जाँच करने और ख़तरे को टालने की माँग की। हालाँकि इस शिकायत पर गृह मंत्रालय ने कहा है कि हमें कांग्रेस से राहुल की सुरक्षा में चूक की शिकायत मिली है। एसपीजी के निदेशक ने सूचना दी है कि वीडियो क्लिपिंग में दिख रही 'ग्रीन लाइट' कांग्रेस के एक फ़ोटोग्राफ़र के एक मोबाइल फ़ोन की है। 

बता दें कि कांग्रेस के अहमद पटेल, जयराम रमेश और रणदीप सिंह सुरजेवाला ने गृहमंत्री राजनाथ सिंह को पत्र लिखकर माँग की है कि राहुल की सुरक्षा से जुड़े प्रोटोकॉल को कड़ाई से लागू किया जाए। कांग्रेस ने इसका वीडियो भी राजनाथ सिंह को भेजा है जिसमें यह दिख रहा है कि राहुल के सर पर ग्रीन लेज़र बार-बार अलग-अलग समय पर जलती दिखती है। 

कांग्रेस के पत्र में कहा गया है, 'पूर्व में सुरक्षा से जुड़े रहे अधिकारियों और अन्य लोगों द्वारा वीडियो की पड़ताल करने पर पता चला है कि ऐसी लेज़र लाइट स्नाइपर गन जैसे हथियार से निकलती है।'

कांग्रेस ने पत्र में इसका भी ज़िक्र किया है कि राहुल के पिता राजीव गाँधी और और दादी इंदिरा गाँधी की हत्या में भी उनकी सुरक्षा में भारी चूक हुई थी। यह बहुत ही गंभीर मामला है। 

कांग्रेस नेताओं ने साफ़ किया है कि इस तरह की चूक की संभावना भी कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गाँधी की सुरक्षा में भारी चूक है। उन्होंने कहा कि हम सब इससे स्तब्ध हैं कि कांग्रेस अध्यक्ष को किसी घातक हत्यारे द्वारा निशाना बनाये जाने की आशंका है।

'यूपी प्रशासन की भी चूक'

कांग्रेस नेताओं ने गृहमंत्री से अपील की है कि इस गंभीर सुरक्षा ख़तरे का तुरंत संज्ञान लें क्योंकि कांग्रेस अध्यक्ष की सुपक्षा में भारी चूक है। उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से भी ख़तरनाक चूक हुई है जो बाहरी सुरक्षा घेरे के लिए ज़िम्मेदार है। राजनाथ सिंह को लिखे गये इस पत्र में कहा गया है कि चुनाव अभियान के दौरान राहुल गाँधी पर गंभीर ख़तरा है। 

बता दें कि राहुल गाँधी ने बुधवार को अमेठी से अपना नामांकन पत्र दाखिल किया है। इस दौरान उनकी माँ सोनिया गाँधी, बहन प्रियंका गाँधी भी उनके साथ थीं। पर्चा दखिल करने से पहले राहुल ने रोड शो किया था। इसी दौरान राहुल मीडिया से भी रूबरू हुए थे। कांग्रेस के गढ़ में गाँधी का मुकाबला बीजेपी की केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी से है। राहुल ने केरल के वायनाड से भी नामांकन भरा है।

पिछले साल भी आया था सुरक्षा चूक का मामला

इससे पहले अप्रैल 2018 में कर्नाटक विधानसभा चुनावों के लिए कांग्रेस का प्रचार करने हुबली पहुँचे पार्टी अध्यक्ष राहुल गाँधी के प्लेन में उड़ान के दौरान ही अचानक ख़राबी आ गई थी। इस कारण विमान की लैंडिंग इतनी ख़राब रही कि अंदर बैठे राहुल समेत सभी यात्रियों की जान पर बन आई थी।

कांग्रेस ने इस संबंध में पुलिस में भी शिकायत दर्ज कराई थी। प्लेन में सवार लोगों की जान को ख़तरे में डालने के लिए 'जानबूझकर की गई छेड़छाड़' की आंशका जताते हुए इस शिकायत में कहा गया कि प्लेन में बेहद झटके लग रहे थे, जिसके बाद वह एक तरफ़ झुक गया और उसमें चरमराने की आवाज़ आने लगी थी। साथ ही यह भी बताया कि विमान का ऑटो पायलट सिस्टम भी काम नहीं कर रहा था।

पुलिस शिकायत में कहा गया था कि प्लेन तीसरी कोशिश में हुबली एयरपोर्ट पर उतर पाया। शिकायती चिट्ठी में लिखा गया है, 'मौसम के पूर्वानुमान और प्लेन में सवार यात्रियों के मुताबिक़, उस वक्त बाहर का मौसम बेहद साफ़ था, धूप खिली हुई थी और हवा की रफ़्तार भी सामान्य थी।'

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