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आंध्र प्रदेश में नायडू लाए 'बुलडोजर राज', जगन की पार्टी का दफ्तर गिराया

आंध्र प्रदेश में नायडू लाए 'बुलडोजर राज', जगन की पार्टी का दफ्तर गिराया

अभी तक बुलडोजर की राजनीति उत्तर भारत में हो रही थी। लेकिन अब दक्षिण भारत में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने वही राजनीति शुरू कर दी है। भाजपा शासित यूपी, एमपी, राजस्थान, हरियाणा में राजनीतिक विरोध की वजह से कई बिल्डिंगों को बिना मुकदमा चलाए पिछले दिनों गिरवा दिया गया। आंध्र में भी शनिवार को जगन मोहन रेड्डी के नए बन रहे दफ्तर को गिरा दिया गया। 

आंध्र प्रदेश में गुंटूर जिले के ताडेपल्ली में वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के निर्माणाधीन केंद्रीय दफ्तर को शनिवार तड़के कई बुलडोजर लगाकर ध्वस्त कर दिया गया। मंगलागिरी-ताडेपल्ली नगर निगम (एमटीएमसी) के अधिकारियों ने बुलडोजर का इस्तेमाल सुबह 5:30 बजे के आसपास शुरू किया। नगर निगम ने कहा कि यह अवैध निर्माण है, इसलिए इसको गिराया जा रहा है।

वाईएसआरसीपी ने नगर निगम की शुरुआती कार्रवाइयों को चुनौती देते हुए पिछले दिन हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था। वाईएसआरसी के प्रवक्ता ने दावा किया कि अदालत ने किसी भी विध्वंस गतिविधि को रोकने का आदेश दिया था। वाईएसआरसीपी के वकील ने सीआरडीए कमिश्नर के आदेश को अवैध बताया। वकील ने आरोप लगाया कि अदालत के आदेश की अवहेलना की गई थी।  सीआरडीए का दावा है कि कई अनियमितताएं थीं, इसलिए तोड़फोड़ की गई।

आंध्र प्रदेश में इतिहास दोहराया जा रहा है। जून 2019 में जब वाईएसआरसीपी प्रमुख जगमोहन रेड्डी ने सत्ता संभाली तो उन्होंने भी इसी तरह चंद्रबाबू नायडू पर कार्रवाई की थी। जगन ने प्रजा वेदिका को गिराने का आदेश दिया था। गुंटूर जिले में कृष्णा नदी के किनारे तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) की सरकार के समय अमरावती में यह कन्वेंशन हॉल बनाया गया था। 

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आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू

जगन की सरकार ने इसे अवैध करार दिया था। उस समय चंद्रबाबू नायडू ने बहुत शोर मचाया था कि उनके साथ राजनीतिक बदला लिया जा रहा है। वही बात अब जगनमोहन रेड्डी कह रहे हैं कि टीडीपी सरकार उनके साथ बदले की भावना से काम कर रही है।

जगन की पार्टी के दफ्तर को गिराए जाने का औचित्य बताते हुए सरकार और उस इलाके के नगर निगम अधिकारियों ने कहा- वाईएसआरसीपी पार्टी का दफ्तर सिंचाई विभाग की जमीन पर बनाया जा रहा था। वाईएसआरसीपी की पिछली सरकार के तहत, यह भूमि, जिसका इस्तेमाल कृषि कार्य के लिए किया जा रहा था, को पट्टे पर लिया गया था। जिसके बदले मामूली रकम चुकाई गई थी।

यह भी आरोप है कि इसका निर्माण सीआरडीए और एमटीएमसी से मंजूरी लिए बिना किया गया जा रहा था।

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पूर्व मुख्यमंत्री जगनमोहन रेड्डी

पूर्व मुख्यमंत्री और वाईएसआरसीपी अध्यक्ष वाई.एस. जगन मोहन रेड्डी ने टीडीपी के नेतृत्व वाली सरकार की कार्रवाई की निंदा की है। 'एक्स' पर अपने पोस्ट में उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने राजनीतिक प्रतिशोध का सहारा लिया है। उन्होंने कहा कि एक तानाशाह ने हाईकोर्ट के आदेशों की अनदेखी करते हुए वाईएसआरसीपी के केंद्रीय कार्यालय को बुलडोजर से ध्वस्त कर दिया।

जगन मोहन रेड्डी ने कहा कि इन कृत्यों के माध्यम से, नायडू यह संदेश दे रहे हैं कि उनका शासन अगले पांच वर्षों के लिए कैसा रहने वाला है। हालांकि, वाईएसआरसीपी प्रमुख ने कहा कि पार्टी अब इन धमकियों और राजनीतिक प्रतिशोध के सामने नहीं झुकेगी। उन्होंने लोगों की ओर से लड़ने की कसम खाई और देश की सभी लोकतांत्रिक ताकतों से चंद्रबाबू नायडू के इन कृत्यों की निंदा करने की अपील की।

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