आईएनएक्स मामला: चिदंबरम की सीबीआई हिरासत 4 दिन बढ़ी
आईएनएक्स मीडिया मामले में गिरफ़्तार पूर्व वित्त मंत्री पी. चिदंबरम की सीबीआई हिरासत चार दिन और बढ़ा दी गई है। अब कोर्ट में उन्हें 30 अगस्त को पेश किया जाएगा। यानी सीबीआई को अब चिदंबरम से पूछताछ के लिए चार दिन का समय और मिल गया है।सीबीआई ने पाँच दिन की हिरासत माँगी थी। इससे पहले पिछले हफ़्ते भी सीबीआई ने पाँच दिन की हिरासत माँगी थी लेकिन विशेष अदालत ने चिदंबरम को चार दिन की हिरासत में भेज दिया था। यह अवधि आज ख़त्म हो रही थी। इस मामले में चिदंबरम को सुप्रीम कोर्ट से भी राहत नहीं मिली है।
Special CBI court extends CBI remand of Former Union Minister P. Chidambaram by 4 days in connection with INX Media case. He will be produced before the court on 30th August. pic.twitter.com/sY9HxU69fi
— ANI (@ANI) August 26, 2019
गिरफ़्तारी से पहले ही राहत के लिए दायर की गई चिदंबरम की याचिका को सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को खारिज कर दिया है। यह याचिका दिल्ली हाईकोर्ट के द्वारा अंतरिम जमानत रद्द होने के फ़ैसले के खिलाफ दायर की गई थी। फ़िलहाल सीबीआई कोर्ट के फ़ैसले के बाद चिदंबरम सीबीआई की हिरासत में हैं। बता दें कि आईएनएक्स मामले में दो एजेंसियाँ सीबीआई और ईडी यानी एनफ़ोर्समेंट डायरेक्टरेट चिदंबरम की गिरफ़्तारी में जुटी रही थीं। चिदंबरम ने गिरफ़्तारी से बचने के लिए पहले दिल्ली हाई कोर्ट में अग्रिम ज़मानत के लिए याचिका लगाई और जब यह ख़ारिज हो गई तब सुप्रीम कोर्ट में। सुप्रीम कोर्ट से भी तत्काल राहत नहीं मिलने पर सीबीआई ने उन्हें गिरफ़्तार कर लिया था, लेकिन ईडी गिरफ़्तार नहीं कर पाई थी। ईडी के मामले में गिरफ़्तारी पर मंगलवार को सुनवाई होनी है।
पिछली सुनवाई में भी सीबीआई ने 5 दिन की हिरासत माँगी थी। तब उसे 4 दिन की हिरासत मिली थी। अदालत ने कहा कि तथ्यों को देखते हुए चार दिनों की हिरासत वाजिब है। इसके साथ ही कोर्ट ने कहा था कि हर दो दिन पर चिदंबरम के स्वास्थ्य की जाँच की जाएगी और उनके परिवार वालों को रोज़ाना आधे घंटे तक उनसे मुलाक़ात करने की छूट मिलेगी। सीबीआई ने चिदंबरम को 5 दिनों की पुलिस हिरासत में भेजने की माँग करते हुए तर्क दिया था कि चिदंबरम उनसे पूछताछ में सहयोग नहीं कर रहे हैं। वह पूछे गए सवालों के जवाब नहीं दे रहे हैं। उन्होंने ज़रूरी काग़जात भी पेश नहीं किए हैं।
चिदंबरम के ख़िलाफ़ यह कार्रवाई आईएनएक्स मीडिया मामले में की जा रही है। आरोप है कि 2007 में जब पी. चिदंबरम वित्त मंत्री थे तब नियमों को ताक पर रखकर आईएनएक्स मीडिया को विदेशी निवेश की मंज़ूरी दिलायी गयी थी। यह भी आरोप है कि कार्ति चिदंबरम ने अपने पिता पी. चिदंबरम के ज़रिए आईएनएक्स मीडिया को विदेशी निवेश प्रमोशन बोर्ड से विदेशी निवेश की मंज़ूरी दिलाई थी। हालाँकि चिदंबरम सीबीआई के इन आरोपों को ख़ारिज़ करते रहे हैं। वह कहते रहे हैं कि इन कंपनियों के विदेशी निवेश के प्रस्तावों को मंज़ूरी देने में कोई भी गड़बड़ी नहीं की गयी है।