महाराष्ट्र पंचायत चुनाव: बीजेपी का बड़ी जीत का दावा; उद्धव गुट को झटका!
महाराष्ट्र में हुए ग्राम पंचायत के चुनावों में बीजेपी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है। उद्धव ठाकरे की शिवसेना को इन चुनावों में बड़ा झटका लगा है। महाराष्ट्र के 34 जिलों में 3 दिन पहले ग्राम पंचायत के चुनाव हुए थे। इसके बाद चुनावी नतीजों में शिवसेना के उद्धव गुट को बड़ा झटका लगा है।
ग्राम पंचायत की 7751 सीटों पर हुए चुनाव में बीजेपी ने अकेले दम पर 3000 सीटों पर जीत का आंकड़ा पार कर लिया है जबकि उद्धव ठाकरे गुट को सिर्फ 705 सीटों पर जीत हासिल हुई है।
कांग्रेस ने उद्धव ठाकरे गुट को पछाड़ते हुए 980 सीटों पर कब्जा किया है जबकि शरद पवार की पार्टी एनसीपी ने 1550 सीटों पर जीत हासिल की है। कुछ सीटें छोटी पार्टियों और निर्दलीय उम्मीदवारों ने जीती हैं।
महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे की शिवसेना को लगातार झटके लग रहे हैं। ताजा मामले में महाराष्ट्र में हुए ग्राम पंचायत के चुनाव में उद्धव गुट को मुंह की खानी पड़ी है और उनकी पार्टी चौथे पायदान पर खिसक गई है।
महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री और बीजेपी नेता देवेंद्र फडणवीस ने दावा किया है कि ग्राम पंचायत के चुनावों में बीजेपी ने 3005 सीटें जीती हैं। फडणवीस ने दावा किया है कि एकनाथ शिंदे की बालासाहेबांची शिवसेना ने भी 801 सीटें जीती हैं। कुल मिलाकर बीजेपी और शिंदे गुट ने 3806 सीटें इस पंचायत चुनाव में जीती हैं।
हालांकि बीजेपी की जीत के दावों पर उद्धव गुट और एनसीपी ने सवाल उठाए हैं।
आमतौर पर ग्राम पंचायत चुनाव पार्टी के चुनाव चिन्ह के बगैर लड़े जाते हैं। ऐसे में सही आंकड़ा लगा पाना थोड़ा मुश्किल होता है। ग्राम पंचायत के चुनाव में ज्यादातर उम्मीदवार राजनीतिक दलों के समर्थित उम्मीदवार होते हैं और उसी के आधार पर पता चलता है कि किस पार्टी के समर्थित उम्मीदवारों ने कितनी सीटें जीती हैं।
अब तक 7751 सीटों में से 7669 सीटों के नतीजे घोषित हो चुके हैं।
ठाणे में भी जीती बीजेपी
ग्राम पंचायत के इन चुनावों में कांग्रेस, बीजेपी, एनसीपी, ठाकरे और शिंदे गुट की शिवसेना ने अपने दम पर चुनाव लड़ा था। यहां तक कि बीजेपी ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के गृह जिले ठाणे में भी चुनाव अपने दम पर ही लड़ा था और वहां पर बीजेपी ने भारी जीत हासिल की है। भिवंडी की 14 ग्राम पंचायतों में से बीजेपी ने 8 जगहों पर जीत हासिल की है।
ठाणे जिले में रविवार को 42 सीटों पर हुए चुनाव में कांग्रेस और एनसीपी को एक भी सीट हासिल नहीं हुई है जबकि एकनाथ शिंदे की पार्टी को 3 सीटों पर ही जीत हासिल हुई है। वहीं एकनाथ शिंदे के बेटे श्रीकांत शिंदे के लोकसभा क्षेत्र में भी बीजेपी ने अकेले ही चुनाव लड़ा था और वहां की 5 ग्राम पंचायत सीटों पर बीजेपी ने जीत हासिल की है।
शिंदे के गढ़ में बीजेपी का जीतना यह दर्शाता है कि बीजेपी ग्रामीण क्षेत्रों में धीरे-धीरे अपनी पकड़ बना रही है।
ग्राम पंचायत के चुनाव में सभी पार्टियां अपनी-अपनी जीत का दावा कर रही हैं। उद्धव बाला साहेब ठाकरे पार्टी के प्रमुख उद्धव ठाकरे का कहना है कि इन चुनावों में जो पार्टियां अपनी जीत का दावा कर रही हैं वह पूरी तरह से बेमानी है। क्योंकि इन चुनावों में सभी राजनीतिक दलों ने अपने-अपने उम्मीदवारों को समर्थन दिया था। ऐसे में यह पता लगा पाना मुश्किल है कि आखिर उनके द्वारा समर्थित उम्मीदवार ही चुनाव जीता है या नहीं।
शिवसेना प्रवक्ता और सांसद संजय राउत का कहना है कि बीजेपी बढ़ा चढ़ाकर जीत को प्रायोजित कर रही है। संजय राउत का कहना है कि हम पहले दिन से ही महाराष्ट्र में एक नंबर की पार्टी रहे हैं। अगर दूसरी पार्टियां अपनी-अपनी जीत का दावा कर रही हैं तो वह जीते गए उन उम्मीदवारों की सूची सार्वजनिक करें जिन्होंने जीत हासिल की है।
बीजेपी और शिंदे गुट को मिली बड़ी सफलता के बाद देवेंद्र फडणवीस और एकनाथ शिंदे के साथ समर्थित मंत्रियों और विधायकों ने नागपुर विधानसभा में ही ग्राम पंचायत चुनाव में मिली जीत का जश्न मनाया।
मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा कि महाराष्ट्र के ग्राम पंचायत चुनावों में मिली जीत बीजेपी और शिंदे गुट की महाराष्ट्र में चल रही सरकार के लिए एक बड़ी उपलब्धि है। शिंदे का कहना है कि महाराष्ट्र के गांवों में मिली जीत से शिवसेना और बीजेपी के कार्यकर्ताओं का हौसला बढ़ेगा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सपनों को साकार किया जा सकेगा।
बीजेपी के आंकड़े झूठे
वहीं, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी ने बीजेपी द्वारा जारी किए गए आंकड़ों को झूठा बताया है। एनसीपी प्रवक्ता महेश तपासे का कहना है कि बीजेपी पैसे के दम पर जीते गए उम्मीदवारों को खरीद रही है और उन्हें अपना बताकर पेश कर रही है। लेकिन हकीकत यह है कि महाराष्ट्र में हुए इन ग्राम पंचायत के चुनावों में महा विकास आघाडी की तीनों पार्टियों एनसीपी, कांग्रेस और शिवसेना ने बीजेपी और शिंदे गुट से ज्यादा सीटें जीती हैं।