बिहार के अररिया लोकसभा क्षेत्र से भाजपा सांसद प्रदीप सिंह ने मंगलवार को यह कहकर विवाद खड़ा कर दिया कि अगर लोग अररिया में रहना चाहते हैं तो उन्हें हिंदू बनना चाहिए। उनके शब्द हैं- “अगर लोग अररिया में रहना चाहते हैं तो उन्हें हिंदू बनना होगा। जब शादी करना हो तो जरूर जाति जान लेना चाहिए।” प्रदीप सिंह ने केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह के नेतृत्व में निकल रही हिन्दू स्वाभिमान यात्रा के दौरान अररिया में एक सभा को संबोधित करते हुए यह बात कही। इसके जवाब में आरजेडी नेता तेजस्वी यादव ने ईंट से ईंट बजाने की चेतावनी दी है।
सभा में भारी भीड़ थी। भीड़ ने गिरिराज सिंह और प्रदीप सिंह की बातों पर जमकर ताली बजाई। किसी भी समझदार शख्स ने वहां इनके बयानों पर आपत्ति दर्ज नहीं कराई।
गिरिराज सिंह की इस यात्रा का रूट सीमांचल इलाका है। यह मुस्लिम बहुल क्षेत्र है। भाजपा सांसद प्रदीप सिंह और गिरिराज की बयानबाजी तनाव बढ़ा सकती है। उनकी टिप्पणियाँ विशेष रूप से विवादास्पद हैं क्योंकि अररिया, सीमांचल क्षेत्र के अन्य जिलों जैसे कटिहार, पूर्णिया और किशनगंज के साथ एक बड़ी मुस्लिम आबादी रहती है। सीमांचल क्षेत्र अपनी धार्मिक विविधता के लिए जाना जाता है।
तेजस्वी यादव का जवाब- ईंट से ईंट बजा देंगे
आरजेडी नेता तेजस्वी यादव ने भाजपा सांसद के बयान का फौरन ही विरोध किया। उन्होंने सोशल मीडिया पर अपना वीडियो जारी किया। तेजस्वी यादव ने वीडियो बयान के साथ एक्स पर लिखा है- आज (22 अक्टूबर) भाजपा के एक सांसद ने बिहार में माहौल बिगाड़ने के लिए भड़काऊ बयान दिया और आज ही उस सांसद को नीतीश कुमार जी ने अतिरिक्त सुरक्षा मुहैया करा दी। इस देश की मिट्टी में सबकी महक और आज़ादी में सबका योगदान है। मैं हरेक व्यक्ति को भरोसा दिलाता हूँ कि जब तक मेरी साँस है मैं बिहार को सांप्रदायिकता की आग में झोंकने वाले हरेक व्यक्ति के सामने डट कर खड़ा रहूँगा और मुसलमानों की तरफ बुरी नजर से देखने वालों की ईंट से ईंट बजा देंगे। तेजस्वी का वीडियो बयान नीचे हैःबिहार में 13 नवंबर को उपचुनाव भी है। अगले साल विधानसभा चुनाव है। उससे ठीक पहले हिंदू स्वाभिमान यात्रा का समय इस आयोजन में एक राजनीतिक मकसद जोड़ रहा है। हालाँकि इस यात्रा को एक सांस्कृतिक-धार्मिक आंदोलन के रूप में भाजपा पेश कर रही है, लेकिन इसका विशेष रूप से मिलीजुली आबादी वाले जिलों में महत्वपूर्ण असर हो सकता है। यात्रा के दौरान हिंदू पहचान पर ध्यान केंद्रित करने को इन जिलों में हिंदू वोटों को मजबूत करने के प्रयास के रूप में देखा जा सकता है, जहां मुस्लिम समुदाय चुनावी परिदृश्य में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
गिरिराज सिंह अपने कट्टर बयानों के लिए जाने जाते हैं। वो कई बार मुसलमानों को और मुस्लिम नेताओं को पाकिस्तान जाने की सलाह दे चुके हैं। भाजपा सांसद प्रदीप सिंह का बयान बिहार में जहर घोल सकता है। जिसका राजनीतिक मकसद के अलावा और कोई वजह नजर नहीं आती लेकिन सोशल मीडिया पर लोग जमकर विरोध कर रहे हैं। अररिया के कांग्रेस विधायक अब्दुल रहमान से प्रदीप सिंह के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने की मांग की गई है। गिरिराज सिंह की हिन्दू स्वाभिमान यात्रा 18 अक्टूबर को शुरू हुई थी।
बिहार में जेडीयू ने जब हिन्दू जागरण यात्रा शुरू हुई थी तो विरोध किया था। लेकिन खुद नीतीश कुमार या उनकी सरकार ने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी। आपत्तिजनक बयानों के बाद उल्टा बाजपा सांसद प्रदीप सिंह की सुरक्षा बढ़ा दी गई है। जेडीयू के गुलाम गौस और नीरज कुमार ने गिरिराज की हिन्दू जागरण यात्रा को संकेतों में "विभाजनकारी" बताया था। गौस और नीरज जेडीयू के एमएलसी हैं। दोनों जेडीयू नेताओं ने कहा कि “उनकी सरकार हमेशा सांप्रदायिक सद्भाव के लिए खड़ी रही है। नीतीश कुमार ने मंदिरों की बाड़ लगाने के लिए उसी उत्साह से काम किया है, जिस उत्साह से उन्होंने कब्रिस्तानों की बाड़ लगाने के लिए काम किया है। हमारी सरकार धार्मिक सौहार्द के लिए खड़ी है।” जेडीयू नेता विजय चौधरी ने इन दोनों से पहले हिन्दू जागरण यात्रा का विरोध किया था। चौधरी ने कहा कि सिर्फ विकास की बात होना चाहिए।
एलजेपी (रामविलास पासवान) सांसद अरुण भारती ने इसका विरोध करते हुए कहा था- बीजेपी की मान्यता है कि हिंदुओं को एक रखा जाये लेकिन हिंदुओं में तमाम कुरीतियां हैं। जाति और धर्म के नाम पर लोगों को बांटा जा रहा है। बीजेपी को जाति व्यवस्था के बारे में भी सोचना चाहिए। उन्हें जोड़ना चाहिए। हिंदू धर्म में जो लोग हाशिये पर हैं, उनकी मदद करना चाहिए। एससी-एसटी पर जो अत्याचार होता है, बीजेपी उसको रोकने में मदद करे। इतने विरोध बयानों के बावजूद नीतीश सरकार ने सांसद के आपत्तिजनक बयानों पर कोई कार्रवाई नहीं की है।
चुनावी जोड़तोड़
सीमांचल इलाका जेडीयू के लिए महत्वपूर्ण है। जबकि भाजपा इसे साम्प्रदायिक आधार पर बांटकर अपनी जमीन तलाशने की कोशिश में जुटी हुई है। 2024 का लोकसभा चुनाव दोनों के लिए खास नहीं रहा था। एनडीए ने लोकसभा 2024 में पूर्णिया, कटिहार और किशनगंज गंवा दिया था, जबकि अररिया सीट बरकरार रखी थी। पूर्णिया में जहां निर्दलीय पप्पू यादव ने जेडीयू के संतोष कुमार कुशवाह को हराया, वहीं कटिहार में कांग्रेस के तारिक अनवर ने जेडीयू के दुलार चंद्र गोस्वामी को हराया। किशनगंज में जेडीयू नेता मुजाहिद आलम को कांग्रेस उम्मीदवार मोहम्मद जावेद ने हराया था।
भाजपा ने खुलकर इस साम्प्रदायिक यात्रा का बचाव किया। भाजपा प्रवक्ता मनोज शर्मा ने दावा किया कि गिरिराज सिंह एक "सामाजिक मुद्दे" पर काम कर रहे हैं और उनकी यात्रा से किसी को नुकसान नहीं होगा। सिंह ने यह मुद्दा उठाया है कि कैसे पूर्वाचल में हिंदुओं का आत्मविश्वास कम है और उनमें गर्व की भावना जगाने की जरूरत है। उनका ध्यान सीमांचल बेल्ट पर भी है जहां हिंदू या तो अल्पसंख्यक हैं (किशनगंज) या खतरा महसूस करते हैं। केंद्रीय मंत्री गिरिराज ने कहा- “मुझे हैरानी है कि कुछ लोगों को मेरे यात्रा करने से दिक्कत क्यों है। जब (आरेजडी नेता) तेजस्वी यादव ने यात्रा की तो किसी ने शिकायत नहीं की। जब (जन सुराज पार्टी के संस्थापक) प्रशांत किशोर ने यात्रा निकाली तो किसी ने विरोध नहीं किया। मैंने कई बार कहा है कि हिंदुओं को एकजुट होने की जरूरत है। बंटोगे तो कटोगे।”