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बांग्लादेशः छात्र नेता तय कर रहे हैं अंतरिम सरकार, यूनुस होंगे सलाहकार, खालिदा रिहा

बांग्लादेशः छात्र नेता तय कर रहे हैं अंतरिम सरकार, यूनुस होंगे सलाहकार, खालिदा रिहा

बांग्लादेश में अंतरिम सरकार को लेकर अभी कुछ साफ नहीं है। आंदोलनकारी छात्र नेताओं ने कमान अपने हाथ में ले रखी है। वे चाहते हैं कि नोबेल पुरस्कार से सम्मानित अर्थशास्त्री प्रोफेसर यूनुस का अंतरिम सरकार में पूरा दखल हो। दूसरी तरफ राष्ट्रपति ने पूर्व प्रधानमंत्री खालिदा जिया को रिहा करने का आदेश दिया है। खालिदा जिया की बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (बीएनपी) प्रमुख विपक्षी पार्टी है। शेख हसीना इस्तीफा देने के बाद भारत चली गईं और अब वो भारतीय सुरक्षा एजेंसियों के साए में दिल्ली में हैं।

बांग्लादेश के छात्र आंदोलनकारी नेताओं की कमेटी ने नोबेल पुरस्कार विजेता प्रोफेसर मुहम्मद यूनुस के नेतृत्व में एक अंतरिम सरकार की रूपरेखा की घोषणा की है। ढाका ट्रिब्यून के मुताबिक यह जानकारी मंगलवार सुबह 4:15 बजे छात्र आंदोलन के प्रमुख समन्वयक नाहिद इस्लाम, आसिफ महमूद और अबू बकर मजूमदार ने एक वीडियो संदेश में दी।

इससे पहले सोमवार रात नाहिद ने घोषणा की थी कि अगले 24 घंटों के भीतर अंतरिम सरकार की रूपरेखा तैयार की जाएगी। हालाँकि, चूँकि रात भर व्यापक हिंसा जारी रही, छात्र नेताओं ने जितनी जल्दी हो सके, यहाँ तक कि आधी रात में भी अपना रुख घोषित करने का निर्णय लिया। बांग्लादेश की संसद अभी भंग है। इसलिए अंतरिम सरकार ही सत्ता संभालेगी।

शेख हसीना के इस्तीफे के बाद राष्ट्रपति मोहम्मद शहाबुद्दीन ने सोमवार रात देश को चलाने के लिए अंतरिम सरकार बनाने को मंजूरी दे दी थी। राष्ट्रपति कार्यालय के प्रेस सचिव मुहम्मद शिप्लु ज़मान की प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार, सेना, नौसेना, वायु सेना के प्रमुखों, विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं और सिविल सोसाइटी के सदस्यों के साथ वर्तमान स्थिति पर चर्चा के बाद बंगभवन में एक बैठक के दौरान यह निर्णय लिया गया।

राष्ट्रपति ने बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी की प्रमुख और पूर्व प्रधानमंत्री खालिदा जिया की रिहाई का आदेश दिया है। पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना ने अपनी कट्टर प्रतिद्वंदी को 2018 में भ्रष्टाचार के मामले में जेल में डाल दिया था। राष्ट्रपति ने 78 साल की खालिदा जिया के अलावा राष्ट्रपति ने सभी प्रदर्शनकारी कैदियों की रिहाई का आदेश दिया।

सेना को हिंसा रोकने और कानून व्यवस्था बहाल करने का काम सौंपा गया है। सेना प्रमुख जनरल वेकर-उज़-ज़मान ने सेना मुख्यालय में कई राजनीतिक दल के नेताओं और नागरिक समाज के सदस्यों के साथ बैठक की। बैठक के बाद उन्होंने मीडिया को बताया कि अंतरिम सरकार के गठन का फैसला हो चुका है और राष्ट्रपति के साथ चर्चा के बाद यह जल्द ही प्रभावी होगी।

बैठक के बाद सेना प्रमुख ने कहा कि सभी हत्याओं और अन्याय के मामलों में इंसाफ होगा। उन्होंने सभी से हिंसा का रास्ता छोड़कर घर लौटने का आह्वान करते हुए कहा, ''सेना पर भरोसा रखें।'' सेना प्रमुख ने यह भी बताया कि वह जल्द ही छात्रों और शिक्षकों के प्रतिनिधियों से मिलेंगे।

उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि स्थिति जल्द ही सामान्य हो जाएगी और पार्टी संबद्धता से हटकर छात्रों सहित सभी वर्गों और व्यवसायों के लोगों से हर संभव सहयोग लिया जाएगा।

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