सीएम योगी की भाषा का संज्ञान ले चुनाव आयोग: अखिलेश यादव
पश्चिमी उत्तर प्रदेश में होने जा रहे पहले और दूसरे चरण के मतदान से पहले चुनावी माहौल गर्मा गया है। बीजेपी के तमाम बड़े नेताओं के जवाब में समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव और राष्ट्रीय लोक दल के मुखिया जयंत चौधरी भी पश्चिमी उत्तर प्रदेश के इलाकों में घूम-घूम कर प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रहे हैं।
बुधवार को शामली में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में अखिलेश यादव ने कहा कि इतना विरोध किसी पार्टी के नेताओं का नहीं हुआ जितना बीजेपी के नेताओं का हो रहा है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के गर्मी शांत कर देने वाले बयान पर अखिलेश यादव ने कहा कि चुनाव आयोग को इस बात का संज्ञान लेना चाहिए कि एक मुख्यमंत्री की भाषा ऐसी नहीं हो सकती। उन्होंने कहा कि अगर गर्म खून हमारे अंदर ना बहे तो हम जिंदा नहीं रह पाएंगे।
कुछ दिन पहले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा था कि जो गर्मी अभी कैराना और कुछ क्षेत्रों में दिखाई दे रही है वह 10 मार्च के बाद शांत हो जाएगी। उन्होंने कहा कि वह मई और जून में भी शिमला बना देते हैं।
अखिलेश ने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ कई जगहों से टिकट मांग रहे थे लेकिन उन्हें मनपसंद सीट से टिकट नहीं मिला और वापस उन्हें घर भेज दिया गया है।
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने योगी आदित्यनाथ को पैदल चलाया और जो लोग पैदल चल रहे हैं वे बेदल हैं। उन्होंने कहा कि जो लोग पलायन का मुद्दा उठा रहे हैं उन लोगों का राजनीतिक पलायन उत्तर प्रदेश से होने जा रहा है।
सपा मुखिया ने कहा कि सपा सरकार बनने पर कानून व्यवस्था को बेहतर बनाया जाएगा। उन्होंने जनता से सपा-रालोद गठबंधन के प्रत्याशियों को जीत दिलाने का आह्वान किया।
योगी आदित्यनाथ के गर्मी वाले बयान के जवाब में जयंत चौधरी ने एक जनसभा में कहा था कि ईवीएम की मशीन को इतना भर कर दो कि भारतीय जनता पार्टी के नेताओं को जो चर्बी चढ़ गई है वह उतर जाए।