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बंगाल : छिटपुट हिंसा, आरोपों के बीच 79% मतदान

बंगाल : छिटपुट हिंसा, आरोपों के बीच 79% मतदान

छिटपुट हिंसा, आरोप-प्रत्यारोप, इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन में गड़बड़ी के आरोपों और घात-प्रतिघात के बीच शनिवार को पश्चिम बंगाल में भारी मतदान हुआ। पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव 2021 के आठ चरणों में फैले चुनाव के पहले चरण में 30 सीटों के लिए मतदान हुआ। 

छिटपुट हिंसा, आरोप-प्रत्यारोप, इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन में गड़बड़ी के आरोपों और घात-प्रतिघात के बीच शनिवार को पश्चिम बंगाल में भारी मतदान हुआ। पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव 2021 के आठ चरणों में फैले चुनाव के पहले चरण में 30 सीटों के लिए मतदान हुआ। तृणमूल कांग्रेस से हाल फ़िलहाल बीजेपी में शामिल हुए शुभेंदु अधिकारी के भाई ने टीएमसी पर हमले का आरोप लगाया तो मुख्यमंत्री ने नरेंद्र मोदी पर चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन का आरोप जड़ दिया। इन सबके बीच पश्चिम बंगाल में शाम चार बजे तक 79.79 प्रतिशत मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। 

भारी मतदान

दिलचस्प बात यह है कि तमाम आरोप-प्रत्यारोप और गड़बड़ी के आरोपों के बीच पश्चिम बंगाल में भारी मतदान हुआ है। सुबह सात बजे मतदान शुरू होने के पहले लोग अपने-अपने घर से निकल कर चुनाव बूथ पर पहुँच चुके थे। 

जैसे-जैसे दिन चढ़ता गया, मतदान में तेजी आती गई। दोपहर बाद एक बजे 50 प्रतिशत लोगों ने अपने मताधिकार का प्रयोग कर लिया था, तीन बजे तक मतदान प्रतिशत 60 प्रतिशत हो चुका था। सबसे ज़्यादा मतदान झाड़ग्राम में हुआ। वहाँ तीन बजे तक 70 प्रतिशत लोगों ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया था। 

चुनाव आयोग के ओर से जारी आँकड़ों के मुताबिक़, पश्चिम बंगाल में पहले चरण के चुनाव में 79.79% मतदाताओं ने तो असम में 72.06% मतदाताओं ने अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया है।

वार-पलटवार

वार-पलटवार की शुरुआत मतदान शुरू होने के साथ ही हो गई जब पश्चिम बंगाल बीजेपी के अध्यक्ष दिलीप घोष ने कहा कि ममता बनर्जी अपने टूटे पैर दिखा कर वोटों की भीख माँग रही हैं।

टीएमसी के राज्यसभा सदस्य डेरेक ओ ब्रायन ने पलटवार करते हुए कहा कि ‘बंगाल की बेटी बंगाल के गद्दारों को हराएगी।’ उनका इशारा शुभेंदु अधिकारी के परिवार की ओर था, जिन्होंने टीएमसी छोड़ बीजेपी का दामन थाम लिया है।

ईवीएम पर सवाल

तृणमूल कांग्रेस ने ईवीएम में गड़बड़ी करने का आरोप लगाते हुए सवाल किया कि कुछ ही मिनटों में वोटों का प्रतिशत एकदम से कैसे बदल गया। 

टीएमसी ने यह भी कहा कि कुछ जगहों से शिकायतें आ रही हैं कि टीएमसी का बटन दबाने पर भी वोट बीजेपी को ही जाता है।

बीजेपी ने इस पर क़रारा हमला करते हुए कहा कि टीएमसी चुनाव हार रही है, इसलिए इस तरह के बेबुनियाद आरोप लगा रही है। 

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आरोप-प्रत्यारोप

बीजेपी ने कई जगहों पर टीएमसी कार्यकर्ताओं के पोलिंग बूथ में घुस जाने, नारेबाजी करने और वोटरों को डराने-धमकाने का आरोप भी लगाया है। उसने कहा है कि पश्चिमी मेदिनीपुर और पूर्व मेदिनीपुर में ऐसा हुआ है। 

टीएमसी ने इसी तरह आरोप लगाया कि गड़बेता में बीजेपी कार्यकर्ताओं ने टीएमसी कार्यकर्ताओं से मारपीट की है। उसने कहा है कि सुरक्षा बलों ने कुछ नहीं किया। 

झड़प-लाठीचार्ज

पश्चिम मिदनापुर ज़िले के मोहनपुर में एक मतदान केंद्र पर बीजेपी और टीएमसी के कार्यकर्ताओं के बीच झड़प हुई। लोगों को तितर-बितर करने के लिए सुरक्षा बलों ने लाठीचार्ज किया। 

इसी ज़िले के सालबोनी में एक मतदान केंद्र पर सीपीआईएम और बीजेपी समर्थकों के बीच झड़प हुई,  जिसमें दो लोग घायल हो गए। दोनों पार्टी के एक-एक कार्यकर्ता घायल हुए हैं।

हिंसा का आरोप बीजेपी ने भी लगाया है। शुभेंदु अधिकारी के भाई सौम्येंदु अधिकारी ने कहा है कि उनके एक दूसरे भाई दिव्येंदु अधिकारी की गाड़ी पर तृणमूल कांग्रेस के लोगों ने हमला किया, तोड़फोड़ की। उनके निशाने पर दिव्येंदु थे, लेकिन वे उस समय गाड़ी में नहीं थे। ड्राइवर को चोटें आई हैं। 

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चुनाव आयोग से शिकायतें

तीनों प्रमुक दलों, टीएमसी, बीजेपी और सीपीआईएम चुनाव आयोग से मुलाकात कर एक दूसरे पर गंभीर आरोप लगाए और कार्रवाई करने की माँग की। 

बीजेपी ने इस मामले की शिकायत चुनाव आयोग से की है। उनका एक प्रतिनिधिमंडल बीजेपी के पश्चिम बंगाल प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय की अगुआई में चुनाव आयोग से मिल आया और टीएमसी पर हिंसा करने का आरोप लगाते हुए उसपर कड़ी कार्रवाई करने की माँग की है।

टीएमसी के वरिष्ठ नेता सुदीप बंद्योपाध्याय की अगुआई में एक प्रतिनिधिमंडल ने चुनाव आयोग से मिल कर हिंसा और ईवीएम से छेड़छाड़ के आरोप लगाए हैं। 

उन्होंने आयोग से विधानसभा क्षेत्र में कहीं से भी मतदान एजेंटों की नियुक्ति से संबंधित अधिसूचना को वापस लेने की माँग की। पहले केवल बूथ क्षेत्रों के निवासियों के लिए था।

दूसरी ओर सीपीआईएम ने चुनाव आयोग से अपनी शिकायत में टीएमसी और बीजेपी, इन दोनों पर हिंसा करने का आरोप लगाते हुए कार्रवाई की माँग की है। 

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'मोदी ने किया चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन'

ममता बनर्जी ने कहा कि नरेंद्र मोदी ने बांग्लादेश जाकर पश्चिम बंगाल की बात ऐसे समय की है जब यहाँ चुनाव हो रहे हैं, यह चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन है। मोदी ने बांग्लादेश के ओराकांदी में मातुआ मंदिर जाकर दर्शन किया और वहाँ मौजूद मातुआ समुदाय के लोगों को संबोधित किया।यह अहम इसलिए है कि मातुआ समुदाय  के लोगों की तादाद पश्चिम बंगाल में दो करोड़ से ज़्यादा है औ वे 60-70 विधानसभी सीटों पर चुनाव नतीजा प्रभावित कर सकते हैं।

सीआरपीएफ़ पर आरोप

तृणमूल कांग्रेस ने केंद्रीय रिज़र्व पुलिस बल यानी सीआरपीएफ़ पर भेदभाव करने और बीजेपी के पक्ष में मतदान कराने का आरोप लगाया है। उसने एक सूची जारी कर कहा है कि कम से कम आठ सीटों पर सीआरपीएफ़ ने बीजेपी के पक्ष में मतदान करवाया है। 

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टीएमसी के आरोप

इसी तरह तृणमूल कांग्रेस ने मतदाताओं में खाने-पीने की चीजें बाँटने और इस तरह उन्हें प्रभावित करने का आरोप बीजेपी पर लगाया है। उसने कहा है कि पूर्वी मेदिनीपुर ज़िले के रामनगर विधानसभा क्षेत्र के बूथ नंबर 16 के बाहर बीजेपी कार्यकर्ताओं ने खाने के टिफिन बाँटे। 

टीएमसी की ओर से बाँकुड़ा ज़िले के छातना विधानसभा क्षेत्र में अपनी पार्टी के पोलिंग एजेंट को बूथ में प्रवेश नहीं करने देने का भी आरोप लगाया है।

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ममता ने शुभेंदु के सहयोगी से माँगी मदद?

नंदीग्राम में बीजेपी नेता प्रलय पाल ने एक सनसनीखेज दावा करते हुए कहा कि टीएमसी सुप्रीमो ममता बनर्जी ने उन्हें फोन कर नंदीग्राम सीट से उन्हें जीतने में मदद करने को कहा है। 

प्रलय पाल ने ‘आजतक’ से कहा, “ममता बनर्जी नंदीग्राम से उम्मीदवार बन गई हैं, लेकिन हम बीजेपी के लोग हैं। हम देश के लिए मरने के लिए तैयार हैं।” 

शुभेंदु अधिकारी ने इस विवाद पर कहा कि ‘ममता अब दिवालिया हो गई हैं. वह मेरे कार्यकर्ताओं को फोन क्यों कर रही हैं।’

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